प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और आरएसएस का जुड़ाव वर्षों पुराना रहा है. संघ के 100 साल पूरा होने पर जब प्रधानमंत्री नागपुर स्थित आरएसएस के मुख्यालय में पहुंचे तो उन्होंने स्वयंसेवकों के निस्वार्थ सेवा भाव की जमकर तारीफ की. संघ के संस्थापक डॉ. हेडगेवार और गुरुजी गोलवलकर को पुष्पांजलि अर्पित कर उनके योगदान को याद किया.
पीएम ने कहा कि संघ का 100 साल पहले बोया गया पेड़ अब वटवृक्ष बन गया है. यह साधारण वटवृक्ष नहीं है और अब यह भारत का अक्षय वट वृक्ष बन चुका है जो भारतीय संस्कृति और राष्ट्रीय चेतना को ऊर्जावान बना रहा है. राष्ट्र यज्ञ के इस पावन अनुष्ठान में मुझे आज यहां आने का सौभाग्य मिला. आज चैत्र शुक्ल प्रतिपदा का ये दिन बहुत विशेष है. आज से नवरात्र का पवित्र पर्व शुरू हो रहा है. देश के अलग-अलग कोनों में आज गुड़ी पड़वा, उगादी और नवरेह त्योहार भी मनाया जा रहा है.
आज भगवान झूलेलाल जी और गुरु अंगद देव जी का अवतरण दिवस भी है. इसी साल आरएसएस की गौरवशाली यात्रा का 100 वर्ष पूरे हो रहे हैं. आज इस अवसर पर मुझे स्मृति मंदिर जाकर पूज्य डॉ. साहब और पूज्य गुरुजी को श्रद्धांजिल अर्पित करने का सौभाग्य मिला है.
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आंबेडकर को श्रद्धांजलि अर्पित की
प्रधानमंत्री मोदी ने नागपुर के दीक्षाभूमि में डॉ. बीआर आंबेडकर को श्रद्धांजलि अर्पित की. यह वही जगह है जहां आंबेडकर ने 1956 में अपने अनुयायियों के साथ बौद्ध धर्म अपनाया था. स्मारक पर विजिटर्स डायरी में लिखे संदेश में मोदी ने कहा कि 'विकसित और समावेशी भारत' बनाना बाबासाहेब को सच्ची श्रद्धांजलि होगी.
मोदी ने दीक्षाभूमि पहुंचने से पहले नागपुर में डॉ. हेडगेवार स्मृति मंदिर में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) के संस्थापक हेडगेवार और दूसरे सरसंघचालक (मुख्य) गोलवलकर को भी श्रद्धांजलि अर्पित की. महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस और केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी भी मौजूद रहे.
'यह मेरे लिए गर्व का विषय'
अपने संदेश में मोदी ने हिंदी में लिखा, 'यह मेरे लिए गर्व का विषय है कि मुझे नागपुर में डॉ. बाबासाहेब आंबेडकर के पांच 'पंचतीर्थ' में से एक दीक्षाभूमि आने का अवसर मिला. यहां की पवित्र वायु में बाबासाहेब के सामाजिक समरसता, समानता और न्याय के सिद्धांत महसूस होते हैं.'
उन्होंने आगे कहा, "दीक्षाभूमि लोगों को समान अधिकारों और गरीब, पिछड़े और जरूरतमंदों के लिए न्याय की व्यवस्था के साथ आगे बढ़ने के लिए प्रेरित करती है. मुझे पूरा विश्वास है कि इस अमृत काल में हम बाबासाहेब आंबेडकर के मूल्यों और शिक्षाओं के साथ देश को प्रगति की नई ऊंचाइयों तक ले जाएंगे. एक विकसित और समावेशी भारत बनाना बाबासाहेब को सच्ची श्रद्धांजलि होगी.'
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वहीं, पीएम मोदी ने अपने अपने भाषण की शुरुआत मराठी में की. उन्होंने कहा कि आज से नवरात्र का पवित्र पर्व शुरू हो रहा है और मैं देशवासियों को इसकी बधाई दी. इस दौरान मोदी माधव नेत्रालय भी गए. उन्होंने कहा कि एक ऐसा संस्थान है जो लाखों लोगों की सेवा अनेक वर्षे से कर रहा है. लोगों के जीवन मे रोशनी लाने का काम माधव नेत्रालय कर रहा है.
इन बातों का भी किया जिक्र
पीएम मोदी ने कहा कि लाल किले से मैंने सब के प्रयास की बात की थी. स्वास्थ्य की अच्छी सुविधा मिले, गरीब को अच्छा इलाज मिले, कोई भी इलाज से वंचित ना रहे और ये सरकार की नीति है. आयुष्यमान भारत के कारण आज करोड़ों लोगों को मुफ्त इलाज मिल रहा है.