मुंबई में प्रचंड बारिश का असर अब ट्रेनों के परिचालन पर हो रहा है. महालक्ष्मी एक्सप्रेस बदलापुर और वांगनी स्टेशन के बीच करीब 2 फीट पानी में फंसी हुई है. इस ट्रेन में लगभग 1,050 यात्री सवार थे. एनडीआरएफ की टीम ने महालक्ष्मी एक्सप्रेस से 600 से ज्यादा यात्रियों को निकालकर सुरक्षित स्थान पर पहुंचा दिया है. जिसमें 9 गर्भवती महिलाओं को भी रेस्क्यू किया गया है. वहीं 37 डॉक्टरों की टीम भी मौके पर पहुंच गई है. ये ट्रेन मुंबई के छत्रपति शिवाजी टर्मिनल से रात 8 बजकर 20 मिनट पर खुलती है.
लगभग 11 घंटे के सफर के बाद ये ट्रेन अगले दिन सुबह 7.25 मिनट पर कोल्हापुर पहुंचती है. 26 जुलाई की रात को ये ट्रेन मुंबई से तय समय पर खुली थी. इस बीच मुंबई और आस-पास के इलाकों में मूसलाधार बारिश हो रही थी. 53 किलोमीटर की दूरी तय कर ये ट्रेन कल्याण जंक्शन पर 17 मिनट की देरी से रात 9 बजकर 37 मिनट पर पहुंची.
#UPDATE Mahalaxmi Express rescue operation: According to CPRO, Central Railway, 700 passengers are on-board the train. NDRF team and Navy chopper are conducting rescue operation. pic.twitter.com/SoOzBbcfWV
— ANI (@ANI) July 27, 2019
इस समय तक बारिश तेज हो चुकी थी. ट्रेन की पटरियां पानी में डूबने लगी थीं. फिर भी ट्रेन जैसे-तैसे 22 किलोमीटर की दूरी तयकर वांगनी स्टेशन पहुंची. लेकिन इस दूरी को तय करने में पूरी रात गुजर गई. लगभग 9 घंटों में 77 किलोमीटर की दूरी तय कर ट्रेन वांगनी स्टेशन के पास पहुंचकर थम गई. वांगनी स्टेशन पहुंचते-पहुंचते सुबह के लगभग साढ़े पांच बज चुके थे. पटरी पर पानी बढ़ते-बढ़ते ट्रेन की सीढ़ियों तक पानी पहुंच चुका था. साढ़े पांच बजे सुबह से ये ट्रेन यहां पर खड़ी है. इसके बाद इस ट्रेन को आगे की यात्रा के लिए टर्मिनेट कर दिया गया है.
रेलवे ने एक बयान जारी कर बताया कि उल्हास नदी में उफान की वजह से पानी नदी के तट से निकलकर बाहर के इलाकों में फैल गया. इसकी वजह से ट्रेन की पटरियां जलमग्न हो गईं. जहां ट्रेन खड़ी है वो बदलापुर एरिया में आता है. हालांकि ट्रेन में फंसे यात्रियों के रेस्क्यू में रेलवे और स्थानीय प्रशासन बेहद तेजी दिखाई.
ताजा अपडेट के मुताबिक अबतक 1,050 लोगों का रेस्क्यू कर लिया गया है. इसमें 9 गर्भवती महिलाएं भी शामिल हैं. महिला डॉक्टरों समेत कुल 37 डॉक्टरों की टीम को वहां भेजा गया है. ट्रेन से नजदीकी दूरी तक एंबुलेंस भेज दिया गया है. रेस्क्यू किए गए पैसेंजरों को सुरक्षित स्थान पर भेजा जा रहा है.