महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री अजित पवार को मनाने की कोशिशें जारी हैं. राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) के वरिष्ठ नेता छगन भुजबल सोमवार सुबह अजित पवार से मुलाकात करने पहुंचे. हालांकि, यह मुलाकात बेनतीजा रही और अजित पवार नहीं माने.
इससे पहले एनसीपी नेता दिलीप वालसे पाटील, सुनील तटकरे और हसन मुश्रीफ ने अजित से मुलाकात की थी. इस मुलाकात से पहले एनसीपी के प्रदेश अध्यक्ष जयंत पाटील ने अजित पवार से वापस लौटने की अपील की थी.
एनसीपी का दावा- हमारे पास 53 विधायक
शरद पवार खेमे का कहना है कि उन्हें 54 में 53 विधायकों का समर्थन मिल गया है. गुरुग्राम से 4 विधायकों को मुंबई ले जाया गया है. एनसीपी का आरोप है कि ये सभी विधायक बीजेपी के कब्जे में थे. जो 4 विधायक शरद पवार खेमे से बाहर बताए जा रहे थे उनके नाम हैं-अनिल पाटील, बाबा साहेब पाटील, दौलत दरोडा और नरहरि जिरवार.
एक विधायक अन्ना बनसोडे लापता बताए जा रहे थे जिन्हें उनके परिवार ने पिंपरी चिंचवाड़ से खोज निकाला है. एनसीपी का कहना है कि बससोडे भी काफी जल्द पार्टी से जुड़ेंगे. अब शरद पवार खेमे से सिर्फ अजित पवार बाहर बताए जा रहे हैं. शिवसेना और कांग्रेस विधायकों की कुल संख्या 165 है.
अलग-अलग होटल में रूके शिवसेना-एनसीपी-कांग्रेस विधायक
उधर कांग्रेस, एनसीपी और शिवसेना अपने-अपने विधायकों को होटलों में ठहराने की व्यवस्था की है, ताकि बीजेपी और एनसीपी का बागी गुट उनकी एकता में सेंध न लगा पाए. शिवसेना ने अपने विधयकों को होटल ललित में, कांग्रेस ने जेडबल्यू मैरिअट में और एनसीपी ने रेनेसां में ठहराया है.
शिवसेना नेता सुभाष देसाई शिवसैनिक विधायकों से संपर्क बनाए हुए हैं. होटल की घेराबंदी की गई है और वहां से किसी विधायक को बाहर जाने की अनुमति नहीं है. शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे के निर्देश पर विधायकों की सुरक्षा की जिम्मेदारी मिलिंद नार्वेकर संभाल रहे हैं. उद्धव के उत्तराधिकारी आदित्य ठाकरे भी विधायकों से मिलकर उनका मनोबल बढ़ाने में जुटे हैं.(एजेंसी से इनपुट)