महाराष्ट्र की महाविकास आघाड़ी सरकार ने फडणवीस के कार्यकाल में हुई फोन टैपिंग की जांच के लिए हाई लेवल कमेटी बनाई है. दरअसल, कांग्रेस नेता नाना पटोले ने विधानसभा सत्र के दौरान आरोप लगाए गए थे कि देवेंद्र फडणवीस के नेतृत्व वाली एनडीए सरकार में उनके फोन टैप किए गए थे. इन आरोपों पर गृहमंत्री दिलीप वलसे पाटिल ने जांच के आदेश दिए थे.
अब इस मामले में सरकार ने जांच के लिए हाई लेवल कमेटी बनाई है. इस कमेटी की अध्यक्षता महाराष्ट्र डीजी करेंगे, जबकि CID कमिश्नर, स्पेशल ब्रांच एडिशनल कमिश्नर भी इसके सदस्य होंगे.
इन आधारों पर जांच करेगी कमेटी
- कमेटी जांच करेगी कि क्या 2015 से 2019 के बीच नेताओं के फोन गलत राजनीतिक उद्देश्य के चलते टैप किए गए थे, अगर ऐसा हुआ था, तो इसके जिम्मेदारों को सजा दिलाई जाए.
- कमेटी इस मामले में अपनी पूरी रिपोर्ट 3 महीने में पेश करेगी.
पटोले ने लगाए थे आरोप
नाना पटोले ने फोन टैपिंग का मुद्दा उठाते हुए कहा था, 2016-17 में विधायक-सांसदों के फोन टैप किए जाते थे. उन्होंने कहा, मेरा नंबर अमजद खान के नाम से टैप किया गया. वह ड्रग पेडलर था. यह व्यक्तिगत स्वतंत्रता पर हमला है. पटोले ने सवाल उठाया था, फोन टैपिंग किसके आदेश पर की जाती रही है ? उन्होंने इस मामले में जांच की मांग की थी. पटोले 2017 तक भाजपा सांसद थे, बाद में वे कांग्रेस में शामिल हो गए.
गृह मंत्री ने दिया था कमेटी बनाने का भरोसा
सत्र में गृह मंत्री दिलीप वलसे पाटिल ने कहा था कि इस मामले में जांच के लिए एक उच्च स्तरीय कमेटी बनाई जाएगी. दोषियों पर कार्रवाई होगी. इतना ही नहीं, उन्होंने कहा था कि मामले की पूरी रिपोर्ट वे सदन में रखेंगे.