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मराठा आरक्षण: हिंसा के बीच मराठवाड़ा के 5 जिलों में सरकारी बस सेवा बंद

Maratha quota agitation: मराठा आरक्षण की आग ने महाराष्ट्र के कई जिलों को अपनी चपेट में ले लिया है. बढ़ती हिंसा की वारदातों को देखते हुए 5 जिलों में सरकारी बस सेवा बंद कर दी गई है. इन पांच जिलों के नाम परभणी, धाराशिव, लातूर, जालना और नांदेड़ है.

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महाराष्ट्र के कई जिलों में मराठा आरक्षण को लेकर हिंसा जारी है. (File Photo)
महाराष्ट्र के कई जिलों में मराठा आरक्षण को लेकर हिंसा जारी है. (File Photo)

महाराष्ट्र के कई शहरों में मराठा आरक्षण के मुद्दे पर हिंसा जारी है. इस बीच मराठवाड़ा के पांच जिलों में महाराष्ट्र राज्य सड़क परिवहन निगम (MSRTC) की बसों की सेवाएं पूरी तरह से बंद कर दी गई हैं. MSRTC से जुड़े एक अधिकारी ने बताया कि परभणी, धाराशिव, लातूर, जालना और नांदेड़ जिलों में बस सेवाएं पिछले तीन-चार दिनों से पूरी तरह से निलंबित हैं, जबकि बीड, छत्रपति संभाजीनगर और सोलापुर जिलों में कुछ हद तक प्रभावित हुई हैं.

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अधिकारियों के मुताबिक महाराष्ट्र में MSRTC के 250 बस डिपो में से 36 आंदोलन के कारण बंद हैं. अधिकारी ने बताया कि 85 से अधिक एमएसआरटीसी बसें क्षतिग्रस्त हो गईं हैं. सबसे अधिक 70 बसें बीड जिले में जलाई गई हैं. बता दें कि यह आंदोलन 25 अक्टूबर को मनोज जारांगे भूख हड़ताल शुरू के बाद तेज हो गया है. 

अधिकारियों का कहना है कि बसों को नुकसान पहुंचाने और अन्य संपत्तियों पर हमलों के कारण अब तक एमएसआरटीसी को 4 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है. इसके अलावा, सेवाएं बंद होने से निगम को प्रतिदिन 2 से 2.5 करोड़ रुपये का नुकसान हो रहा है. निगम के पास लगभग 15,000 बसों का बेड़ा है और हर दिन लगभग 60 लाख यात्रियों को यात्रा कराता है.

महाराष्ट्र के कई शहरों में हो रहे प्रदर्शन

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बता दें कि मराठा आरक्षण के मुद्दे पर एक तरफ महाराष्ट्र के कई शहरों में प्रदर्शन देखने को मिल रहे हैं तो वहीं दूसरी तरफ शिंदे सरकार ने भी इसे लेकर कदम उठाने शुरू कर दिए हैं. इस मुद्दे पर राय लेने के लिए सरकार ने एक एडवाइजरी कमेटी गठित कर दी गई है, जिसके चीफ जस्टिस दिलीप भोसले होंगे. सलाहकार समिति में न्यायमूर्ति संदीप शिंदे और न्यायमूर्ति मारुति गायकवाड़ भी होंगे, जो मराठा आरक्षण के संबंध में कानूनी मामले में सरकार का मार्गदर्शन करेंगे.

कैबिनेट से मिली अंतरिम रिपोर्ट को मंजूरी

आरक्षण को लेकर शिंदे समिति की अंतरिम रिपोर्ट को कैबिनेट ने मंजूरी दे दी है. इसमें कहा गया है कि जिन लोगों ने कुनबी जाति का होने का प्रमाण पत्र जमा कर दिया है, उन्हें कुनबी जाति प्रमाण पत्र देने की कार्रवाई शुरू की जाएगी. शिंदे समिति की अंतरिम रिपोर्ट के मुताबिक मराठवाड़ा क्षेत्र के लगभग 11,353 मराठों को अब महाराष्ट्र कैबिनेट से रिपोर्ट की मंजूरी के बाद कुनबी जाति प्रमाण पत्र मिलेगा. इसके अलावा यह भी बताया गया है कि पिछड़ा आयोग मराठा समुदाय की सामाजिक और शैक्षिक प्रगति की जांच के लिए नए अनुभवजन्य डेटा एकत्रित करेगा.

एक दिन पहले फूंका था MLA का बंगला

एक दिन पहले ही मराठा आरक्षण की मांग को लेकर आंदोलनकारियों ने बीड जिले के माजलगांव में अजित पवार गुट के एनसीपी विधायक प्रकाश सोलंके का बंगला भी फूंक दिया था. इस दौरान बंगले में खड़ीं 8 से 10 टू-व्हीलर भी जलकर खाक हो गईं थीं. घटना के समय पुलिस बल मौके पर मौजूद था, लेकिन पथराव और उसके बाद आक्रामक भीड़ के कारण पुलिस बल कम पड़ गया. इस घटना पर विधायक प्रकाश सोलंके का भी बयान आया था. सोलंके ने कहा था कि जिस वक्त हमला हुआ वह अपने बीड वाले घर के अंदर ही थे.

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