सलमान खान हिट एंड रन मामले में एक सनसनीखेज खुलासा हुआ है. एक आरटीआई के जवाब में कहा गया है कि न तो महाराष्ट्र सरकार के कानून और न ही गृह विभाग को यह जानकारी है कि 2002 के दुर्घटना मामले में अभी तक कितना खर्च हुआ है. यही नहीं, इस हिट एंड रन मामले में अन्य दूसरी जानकारी से जुड़ी फाइल भी सरकार के पास नहीं है, क्योंकि सभी फाइलें दो साल पहले ही जलकर खाक हो गई हैं.
आरटीआई कार्यकर्ता मंसूर दर्वेश को केस के बारे में जानकारी दिए जाने से इनकार करते हुए सरकारी विभाग ने लिखा है कि 2002 के सलमान खान हिट एंड मामले में कई दस्तावेज 2012 में मंत्रालय में हुई आगजनी के दौरान खत्म हो गए, लिहाजा जानकारी नहीं दी जा सकती है.
मंसूर ने सरकार के दोनों विभाग से आरटीआई दायर कर पूछा था कि अभिनेता के मामले में राज्य सरकार की ओर से केस लड़ने के लिए अभी तक कितने काउंसल, एडवोकेट, सॉलिसिटर, लीगल एडवाइजर और पब्लिक प्रोसिक्यूटर की नियुक्ति की गई है. मंसूर ने इन सभी के नाम के साथ ही मामले में सजा सुनाए जाने के दिन यानी 6 मई तक कुल खर्च का ब्योरा भी मांगा था.
आरटीआई के जवाब में गृह विभाग ने लिखा है, '21 जून 2012 को हुई आगजनी में कई दस्तावेज और रिकॉर्ड खाक हो गए, जिनमें इस केस से संबंधित कागजात भी थे. ऐसे में आजगजनी के दिन तक की जानकारी साझा नहीं की जा सकती है.'
बता दें कि 28 सितंबर 2002 की रात सलमान खान की लैंड क्रूजर एसयूवी बांद्रा में फुटपाथ पर सो रहे लोगों पर चढ़ गई थी. हादसे में चार लोग घायल हो गए थे, जबकि एक अन्य की मौत हो गई थी. मामले में 12 साल बाद बीते 6 मई को मुंबई की सेशन अदालत ने सलामन को सभी आरोपों में दोषी माना है. अदालत ने अभिनेता को पांच साल कैद की सजा सुनाई है, लेकिन फिलहाल मामला हाई कोर्ट में है और सजा पर रोक लगा दी गई है. सलमान खान अभी जमानत पर रिहा हैं.