महाराष्ट्र के कैबिनेट मंत्री नवाब मलिक (Maharashtra cabinet minister Nawab Malik) से बॉम्बे हाईकोर्ट (Bombay high court ) ने कहा है कि वह एनसीबी डायरेक्टर समीर वानखेड़े ( Sameer Wankhede) के पिता द्वारा दायर मानहानि केस के बारे में जवाब दें.
समीर वानखेड़े के पिता ध्यानदेव काचरुजी वानखेड़े (Dhyandev Kachruji Wankhede) ने नवाब मलिक और उनकी पार्टी के सदस्यों पर मानहानि का केस किया है. ध्यानदेव ने ₹ 1.25 करोड़ का मानहानि का केस दायर किया है. समीर वानखेड़े के पिता का कहना है कि उन्होंने लिखकर, बोलकर कई चीजें मीडिया में प्रकाशित करवाई हैं. जिससे उनके परिवार की मानहानि हुई है.
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अखबार में मिल जाती है सारी जानकारी
सोमवार को जब इस केस की सुनवाई हुई तो जस्टिस जमदार ने टिप्पणी करते हुए कहा, आज कल केस के बारे में सारी जानकारी अखबार में मिल जाती है. वहीं इस मामले में ध्यानदेव काचरुजी वानखेड़े की ओर से पेश अधिवक्ता अरशद शेख ने कहा, ' हर दिन कोई न कोई या अन्य ट्वीट कर देता है या कुछ भी पोस्ट कर देता है, यही कारण है कि आज हम कोर्ट के सामने मानहानि के केस के साथ पेश हुए हैं'. अरशद शेख ने आगे कहा कि वह चाहते हैं उन्हें इस मामले में अंतरिम राहत मिले.
मलिक ट्वीट कर सकते हैं तो जवाब भी दें
वहीं जस्टिस जमदार ने इस मामले में ने नवाब मलिक की ओर से पेश वकील अतुल दामले से पूछा, क्या नवाब मलिक ने इस मामले में कोई जवाब दिया है. इस पर अतुल दामले ने कहा कि उन्हें इस मामले में नोटिस महज दो दिन पहले ही मिला है, इसका जवाब देने के लिए उन्हें और समय चाहिए. इस पर जस्टिस जमदार मलिक के बार-बार ट्विटर पर पोस्ट करने पर टिप्पणी की, उन्होंने कहा, ' जब आप ट्विटर पर जवाब दे सकते हैं तो बेहतर है, कल (मंगलवार) तक जवाब दें.'
10 नवम्बर को होगी अगली सुनवाई
इसके बाद अरशद शेख ने अतुल दामले के जवाब में कहा, वह समझते हैं कि जवाब देने के लिए समय चाहिए, लेकिन मेरा प्रस्ताव है कि वह अपने मुवक्किल (नवाब मलिक) को ये समझा दें कि वे कोई ट्वीट या इंटरव्यू वानखेड़े के परिवार को लेकर कम से कम दो दिन तक न करें. हालांकि इस बारे में दामले ने कोई जवाब नहीं दिया, इस पर कोर्ट ने कहा कि इस मामले में जवाब दाखिल करें. अब इस मामले की सुनवाई 10 नवम्बर को होगी.