अभिनेता शाहरुख खान के बेटे आर्यन खान की गिरफ्तारी के बाद चर्चा में आए एनसीबी के तत्कालीन जोनल डायरेक्टर समीर वानखेडे़ को बॉम्बे हाईकोर्ट से राहत मिल गई है. उनकी याचिका पर हाईकोर्ट ने 22 मई तक किसी भी सख्त कार्रवाई और गिरफ्तारी पर रोक लगा दी है. दरअसल, सीबीआई ने वानखेड़े को 18 मई यानी गुरुवार को पूछताछ के लिए बुलाया गया था. पूछताछ के लिए पेश होने का समन मिलने के बाद गिरफ्तारी के डर से उन्होंने दिल्ली हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी. यहां सीबीआई ने हाई कोर्ट में कहा था कि हम उन्हें गिरफ्तार नहीं कर रहे हैं, अगर उन्हें पेश नहीं होना था तो हमें बता सकते थे.
सुनवाई करते हुए दिल्ली हाईकोर्ट ने वानखेड़े को बॉम्बे हाईकोर्ट जाने को कहा था. इसके बाद उन्होंने बॉम्बे हाईकोर्ट में याचिका दायर की. शुक्रवार को बॉम्बे हाईकोर्ट में वानखेड़े की याचिका पर सुनवाई हुई और उन्हें 22 मई तक राहत दी गई है. अब वगिरफ्तारी पर 22 मई तक रोक लगने के बाद अब समीर वानखेड़े शनिवार सुबह 11 बजे मुंबई के बीकेसी स्थित सीबीआई दफ्तर जाएंगे, जहां वह सीबीआई के सवालों के जवाब देंगे.
आर्यन खान को गिरफ्तार कर चर्चा में आए थे
नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (NCB) के जोनल डायरेक्टर रहे समीर वानखेड़े (Sameer Wankhede) और अन्य पर आर्यन खान मामले में शाहरुख खान से 25 करोड़ रुपये की वसूली करने का मामला दर्ज है. वानखेड़े ने दो अक्टूबर, 2021 को कॉर्डेलिया क्रूज पर एक रेव पार्टी के दौरान छापा मारा था और वहां आर्यन खान को गिरफ्तार किया था. आर्यन खान 26 दिनों तक मुंबई की आर्थर रोड जेल में बंद रहे. बाद में आर्यन को जमानत मिली थी.
एफआईआर के मुताबिक इस मामले में गवाह केपी गोसावी, आर्यन खान के पिता शाहरुख खान से 25 करोड़ रुपये वसूलने की योजना बना रहे थे. गोसावी तत्कालीन जोनल डायरेक्टर समीर वानखेड़े की ओर से शाहरुख खान से करोड़ों रुपये वसूलने की फिराक में थे. एफआईआर के मुताबिक, नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो की विशेष जांच टीम की ओर से की गई जांच से पता चला है कि आर्यन खान सहित आरोपियों को स्वतंत्र गावह केपी गोसावी के निजी वाहन से एनसीबी के ऑफिस लाया गया था.