शिवसेना ने महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडनवीस की ओर से चीफ एक्जिक्यूटिव ऑफिसर (सीईओ) नियुक्त किए जाने की तीखी आलोचना की है. उद्धव ठाकरे ने शिवसेना के मुखपत्र 'सामना' में कहा कि फडनवीस मुंबई का श्राप न लें, क्योंकि सीईओ चुनने के फैसले ने सभी को कन्फ्यूज कर दिया है.
उद्धव ने संपादकीय में कहा कि देवेंद्र को मुंबई के बारे में फैसला करते वक्त शिवसेना से राय लेनी चाहिए. महाराष्ट्र के सीएम की महत्वाकांक्षा बहुत बड़ी है. उनको राज्य में अच्छा काम करना है. उद्धव ने सवाल उठाते हुए कहा है कि मुंबई देश की आर्थिक राजधानी है और देश का पेट भरती है. पर मुंबई का पेट कौन भरेगा इस सवाल का जवाब किसी के पास क्यों नहीं है?
उद्धव ने कहा कि अब से 12 साल पहले भी राज्य में सीईओ की नियुक्ति की बात कही गई थी. उस वक्त भी इसका करारा विरोध किया गया था. केंद्र सरकार पर निशाना साधते हुए संपादकीय में कहा गया कि मुंबई से हर साल केंद्र की तिजोरी में लगभग पौने दो लाख करोड़ रुपये दिए जाते हैं, लेकिन केंद्र मुंबई के विकास के लिए कितना रुपये देती है, इसका जवाब किसी के पास नहीं है. राज्य चलाने वाले सिर्फ उद्योगपति, व्यापारी और बिल्डर्स को सिर्फ यहां पैसा दिखता है. गरीब जनता के बारे में कोई नहीं सोचता है.