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Yes Bank: राणा कपूर के खिलाफ लुक आउट नोटिस जारी, मनी लॉन्ड्रिंग के तहत केस दर्ज

येस बैंक के पूर्व सीईओ राणा कपूर के खिलाफ लुक आउट नोटिस जारी हुआ है. वहीं उनकी तलाशी के लिए प्रवर्तन निदेशालय की टीम भी मुंबई में उनके घर पहुंची.

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राणा कपूर (फाइल फोटो)
राणा कपूर (फाइल फोटो)

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  • राणा कपूर के खिलाफ लुक आउट नोटिस
  • ईडी ने राणा कपूर के घर की ली तलाशी

येस बैंक के पूर्व सीईओ राणा कपूर के खिलाफ लुक आउट नोटिस जारी हुआ है. वहीं तलाशी के लिए प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की टीम भी मुंबई में उनके घर पहुंची. इस दौरान उनके बयान भी दर्ज किए गए.

ईडी की टीम ने मनी लॉन्ड्रिंग (पीएमएलए) के तहत राणा कपूर के खिलाफ केस दर्ज कर लिया है. इसके बाद ईडी ने राणा कपूर के घर की तलाशी ली. डीएचएफएल के घोटाले को लेकर राणा कपूर के घर ईडी की छापेमारी की गई. वहीं राणा कपूर के बयान भी दर्ज किए गए.

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दरअसल, डीएचएफएल पर 79 फर्जी कंपनियों और एक लाख फर्जी ग्राहकों की मदद से लगभग 13,000 करोड़ रुपये का घपला करने का आरोप है. उसी मामले में राणा कपूर के घर तलाशी ली गई. वहीं राणा कपूर के खिलाफ लुक आउट नोटिस जारी किया गया है ताकि वो देश छोड़कर विदेश न भाग जाए. ईडी की टीम ने राणा कपूर के घर ऐसे वक्त में तलाशी ली है जब येस बैंक संकट के दौर से गुजर रहा है.

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संकट में येस बैंक

येस बैंक को साल 2004 में राणा कपूर और अशोक कपूर के जरिए शुरू किया गया था, जिन्हें उस दौर में दिग्गज प्रोफेशनल माना जाता था. राणा कपूर ने दिल्ली के श्रीराम कॉलेज ऑफ कॉमर्स से पढ़ने के बाद न्यूजर्सी के रटगर्स यूनिवर्स‍िटी से एमबीए किया था. उन्होंने 16 साल तक बैंक ऑफ अमेरिका में नौकरी की थी.

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दरअसल, देश के कई दिग्गज प्रोफेशनल के जरिए शुरू किया गया निजी क्षेत्र का येस बैंक संकट में फंस गया है. रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया ने इसके बोर्ड का संचालन अपने हाथों में लेते हुए इससे महीने में 50 हजार रुपये तक की ही निकासी होने की सीमा तय कर दी है. सरकार ने इसे संकट से दूर करने के लिए कवायद भी शुरू कर दी है.

री-स्‍ट्रक्‍चरिंग प्‍लान का ऐलान

बता दें कि येस बैंक के लिए आरबीआई ने री-स्‍ट्रक्‍चरिंग प्‍लान का ऐलान किया है. ये प्‍लान एक महीने के भीतर ही लाया जाएगा. सरकार की ओर से दी गई जानकारी के मुताबिक एसबीआई ने येस बैंक में हिस्‍सेदारी खरीदने में दिलचस्‍पी दिखाई है. निवेशक बैंक अगले तीन साल के लिए 49 फीसदी हिस्‍सेदारी ले सकता है. वहीं अपनी हिस्‍सेदारी 26 फीसदी से कम नहीं कर सकता है.

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