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आज का दिनः क्या करतारपुर कॉरिडोर खोलकर पंजाब में वोट बटोर पाएगी बीजेपी?

क्या करतापुर कॉरिडोर खोलकर सियासी फ़ायदा लेना चाहती है बीजेपी? फाइज़र की कोरोना की दवा Paxolovid कैसे काम करेगी? और पाकिस्तान में ICC चैंपियंस ट्रॉफी टूर्नामेंट को लेकर क्या है भारत और अन्य देशों की चिंता? सुनिए आजतक रेडियो पर...

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आज से करतारपुर कॉरिडोर फिर से खोला जा रहा है. (फाइल फोटो)
आज से करतारपुर कॉरिडोर फिर से खोला जा रहा है. (फाइल फोटो)

'आजतक रेडियो' के मॉर्निंग न्यूज़ पॉडकास्ट 'आज का दिन' में आज हम चर्चा करेंगे कि क्या करतापुर कॉरिडोर खोलकर सियासी फ़ायदा लेना चाहती है बीजेपी? फाइज़र की कोरोना की दवा Paxolovid कैसे काम करेगी? और पाकिस्तान में ICC चैंपियंस ट्रॉफी टूर्नामेंट को लेकर क्या है भारत और अन्य देशों की चिंता? 

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आजतक रेडियो पर हम रोज़ लाते हैं देश का पहला मॉर्निंग न्यूज़ पॉडकास्ट ‘आज का दिन’, जहां आप हर सुबह अपने काम की शुरुआत करते हुए सुन सकते हैं आपके काम की ख़बरें और उन पर क्विक एनालिसिस. साथ ही, सुबह के अख़बारों की सुर्ख़ियां और आज की तारीख में जो घटा, उसका हिसाब किताब. आगे लिंक भी देंगे लेकिन पहले जान लीजिए कि आज के एपिसोड में हमारे पॉडकास्टर अमन गुप्ता किन ख़बरों पर बात कर रहे हैं.

1. करतारपुर कॉरिडोर से बीजेपी को होगा फायदा?

गुरु नानक देव के प्रकाश पर्व से ठीक पहले केंद्र सरकार ने फिर से करतारपुर कॉरिडोर खोलने का फैसला किया है. आज से ये कॉरिडोर श्रद्धालुओं के लिए खोल दिया जाएगा. गुरु पर्व 19 नवंबर को है, इससे पहले मोदी सरकार का  सिख तीर्थयात्रियों के लिहाज से अच्छा फैसला आया है. इसे पिछले साल 16 मार्च  को कोरोना महामारी के कारण बंद कर दिया गया था.  पंजाब में विधानसभा चुनाव भी हैं, ऐसे में ये फैसले की टाइमिंग थोड़ी सी सियासी भी दिखती ही है. हालांकि बन्द इसे कोविड कॉम्प्लीकेशंस के कारण किया गया था. बीते कुछ दिनों से सिख कम्युनिटी लगातार करतारपुर कॉरीडोर खोलने की मांग कर रही थी. रोचक बात ये है कि इस फैसले के दो दिन पहले ही कैप्टन अमरिंदर सिंह ने प्रधानमंत्री से करतारपुर कॉरिडोर खोलने की अपील की थी. फिर पंजाब भाजपा के नेताओं ने भी पीएम से मिल कर मांग की थी कि गुरुपर्व के पहले करतारपुर कॉरिडोर खोला जाए. जिसके बाद केंद्र का ये फैसला आया है. अब सवाल ये है कि कोविड भारत मे कम तो हुआ है पर खतम तो नहीं, ऐसे में इस कॉरिडोर जिसको कोविड की वजह से ही बन्द किया गया था, वो किन पाबंदियों के साथ खोला गया है? नये नियम क्या हैं? और पंजाब में जो बीजेपी से वोटर्स नाराज़ बताए जाते हैं, क्या इस फैसले के सहारे उन्हें ही मनाने की कोशिश है?

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2.  कैसे काम करेगी फ़ाइजर की Paxolovid?

कोरोना वायरस के खिलाफ वैक्सीन तैयार करने के बाद दुनियाभर की फार्मास्युटिकल कंपनियां अब वैक्सीन के रूप में एंटी वायरल टैबलेट तैयार करने की होड़ में लगी हुई हैं. इस होड़ में अमेरिकी फार्मास्युटिकल कंपनी फाइजर भी शामिल हो गई है. फाइजर अभी जर्मन लैब बायोएनटेक के साथ एक कोविड वैक्सीन भी बनाती है. तो अभी तक अमेरिका की ही दवा कंपनी मर्क ने कोरोना की टैबलेट molnupiraavir तैयार की है और ब्रिटेन उसे एमरजेंसी अप्रूवल देने वाला दुनिया का पहला देश है. हालांकि अमेरिका में अभी उस टैबलेट्स को FDA की अप्रूवल नहीं मिली है. इस बीच कल ही फाइजर ने ये ऐलान किया कि उसने एक पब्लिक हेल्थ ऑर्गनाइजेशन मेडिसिन्स पेटेंट पूल (MPP) के साथ एक नए लाइसेंसिंग समझौते पर साइन किए हैं, जो कंपनी के कोरोना की टैबलेट जिसे Paxolovid कहा जाता है सप्लाई में मदद करेगा. और ‘जेनरिक’ मेडिसिन बनाने वाली कंपनियों को दवा का प्रॉडक्शन करने देगा. इससे लो और मिडल इनकम वाले देशों को बहुत फ़ायदा. फाइजर के चेयरमैन और सीईओ अल्बर्ट बोर्ला ने कहा है, फाइजर की एंटी वायरल ट्रीटमेंट कोरोना के खतरे को कम करने, हेल्थकेयर सिस्टम पर तनाव को कम करने और जीवन बचाने में बड़ी भूमिका निभा सकती है. तब बात अगर ऐसी है तो ये समझना जरूरी है कि एक्सपर्ट्स इस समझौते पर क्या सोचते हैं. कितना महत्वपूर्ण फैसला है ये महामारी से राहत दिलाने की राह में? और कैसे काम करेगी फ़ाइजर की Paxolovid?

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3. पाकिस्तान में ICC टूर्नामेंट से क्या चिंता?

आईसीसी ने अगले कुछ सालों के लिए आईसीसी टूर्नामेंट का शेड्यूल जारी किया है. तमाम देश अपनी अपनी बारी के अनुसार होस्ट करते दिखाई देंगे और फिर उसी कड़ी में पाकिस्तान 2025 में आईसीसी चैंपियंस ट्रॉफी टूर्नामेंट होस्ट करेगा. आईसीसी की ये घोषणा पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड के लिए कितनी अहम है ये बताने की जरूरत तो रही नहीं, क्योंकि सबने देखा है कि बीते कुछ सालों में किस तरह पाकिस्तान क्रिकेट में एक अन्स्टेबिलिटी यानी अस्थिरता आई है. इस अस्थिरता का परिणाम वहाँ के क्रिकेट बोर्ड को, वहाँ के खिलाड़ियों को, और वहां के क्रिकेट प्रशंसकों को सबको भोगना पड़ा है. 1996 के बाद से पाकिस्तान ने अब तक कोई भी आईसीसी टूर्नामेंट ही होस्ट नहीं किया है. अब इसके बहुत सारे कारणों में से बड़ा कारण सेफ्टी का भी है. इसी का हवाला देकर अभी रिसेंटली न्यूजीलैंड बीच दौरे से पाकिस्तान से वापस गया था और इंग्लैंड ने दौरा ही रद्द कर दिया. हालांकि 2025 आने में तो अभी वक्त है लेकिन  पाकिस्तान होस्टेड किसी टूर्नामेंट में शामिल होने में भारत की या अन्य मुल्कों की क्या चिंताएं हो सकती हैं? और ये चिंताएं अगर गम्भीर हुईं तो विकल्प क्या हैं?

17 नवंबर 2021 का 'आज का दिन' सुनने के लिए यहां क्लिक करें

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