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'मोदी-अडानी भाई-भाई, देश बेच के खाए मलाई...', राज्यसभा में विपक्ष का हंगामा

राज्यसभा में सोमवार को कार्यवाही की हंगामेदार शुरुआत हुई. विपक्ष ने रजनी पाटिल का सस्पेंशन वापस लेने और अडानी मुद्दे की जांच के लिए जेपीसी बनाने की मांग को लेकर जमकर हंगामा किया. विपक्ष के सदस्यों ने वेल में आकर नारेबाजी की जिसके बाद सदन की कार्यवाही 11 बजकर 50 मिनट तक के लिए स्थगित करनी पड़ी.

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राज्यसभा में विपक्ष का हंगामा
राज्यसभा में विपक्ष का हंगामा

राज्यसभा में सोमवार के दिन की कार्यवाही की शुरुआत हंगामेदार रही. विपक्ष ने रजनी पाटिल का सस्पेंशन वापस लेने की मांग को लेकर हंगामा किया. सस्पेंशन वापस लेने की मांग को लेकर नारेबाजी करते हुए विपक्ष के सदस्य वेल में आ गए. हंगामे और नारेबाजी के बीच राज्यसभा के सभापति जगदीप धनखड़ ने सदन की कार्यवाही जारी रखने की कोशिश की.

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राज्यसभा की कार्यवाही को हंगामे के कारण स्थगित करना पड़ा. सभापति जगदीप धनखड़ ने सदन की कार्यवाही 11.50 बजे तक के लिए स्थगित कर दी. राज्यसभा की कार्यवाही सोमवार को जैसे ही शुरू हुई, राज्यसभा के सभापति जगदीप धनखड़ ने नियम 267 के तहत स्थगन प्रस्ताव के दो नोटिस प्राप्त होने की जानकारी दी.

उन्होंने आम आदमी पार्टी के राज्यसभा सांसद संजय सिंह की ओर से भी स्थगन प्रस्ताव की नोटिस प्राप्त होने की जानकारी दी और कहा कि पहले मिले नोटिस और इसमें कोई अंतर नहीं है. उन्होंने ये नोटिस खारिज किए जाने की जानकारी दी. सभापति के इस ऐलान के बाद विपक्ष के सांसद हंगामा करने लगे.

सभापति जगदीप धनखड़ ने कहा कि देश की जनता चाहती है कि आज के दिन राज्यसभा में चर्चा हो. राज्यसभा में बहस हो, चर्चा हो. विपक्ष की ओर से इसके जवाब में कहा गया कि देश की जनता जेपीसी चाहती है सर. जगदीप धनखड़ ने राज्यसभा के सांसदों को संविधान निर्माताओं की भावना का हावना हवाला देते हुए सदन में चर्चा की नसीहत दी.

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सभापति ने शून्यकाल की कार्यवाही शुरू करने का ऐलान किया. शून्यकाल की कार्यवाही शुरू होते ही विपक्ष की ओर से जेपीसी जांच की मांग को लेकर नारेबाजी शुरू कर दी. इसके बाद जगदीप धनखड़ ने विपक्ष के सांसदों को अपना आचरण संविधान निर्माताओं की भावना के अनुरूप रखने की नसीहत दी. उन्होंने कहा कि हम अपना आचरण ऐसा रखें कि देश की जनता हमारे प्रति सकारात्मक रवैया रखे.

इसके बाद सभापति ने राज्यसभा में विपक्ष के नेता से अपनी बात रखने के लिए कहा. मल्लिकार्जुन खड़गे ने सरकार के दबाव में रजनी पाटिल को सस्पेंड किए जाने का दावा किया. जगदीप धनखड़ ने इसे कार्यवाही से हटाने का आदेश दिया. इस दौरान सत्ता पक्ष की ओर से मोदी-मोदी के नारे लगाए गए तो वहीं विपक्ष की ओर से अडानी-अडानी के नारे लगाए गए.

विपक्ष ने रजनी पाटिल का सस्पेंशन वापस लेने और जेपीसी जांच की मांग को लेकर जमकर नारेबाजी की. सदन में मोदी-अडानी भाई-भाई, देश बेच के खाए मलाई के नारे भी लगाए गए. अंत में सभापति को सदन की कार्यवाही 11.50 बजे तक के लिए स्थगित करना पड़ा.

 

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