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अब अजमेर शरीफ में शिवालय होने का दावा, महाराणा प्रताप सेना ने कहा- दरगाह में स्वास्तिक क्यों?

Ajmer dargah controversy: काशी की ज्ञानवापी, मथुरा की ईदगाह और आगरा के ताजमहल के बाद अब अजमेर शरीफ दरगाह के मंदिर होने का दावा किया गया है. इसकी जांच को लेकर राजस्थान के मुख्यमंत्री और केंद्र सरकार को पत्र लिखा गया है.

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महराणा प्रताप सेना ने जारी की ये तस्वीर.
महराणा प्रताप सेना ने जारी की ये तस्वीर.
स्टोरी हाइलाइट्स
  • केंद्र और राजस्थान सरकार को लिखा पत्र
  • महाराणा प्रताप सेना ने की जांच कराने की मांग

राजस्थान के अजमेर स्थित हजरत ख्वाजा गरीब दरगाह को अब महाराणा प्रताप सेना ने मंदिर होने का दावा किया है. संगठन ने राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और केंद्र सरकार को भी पत्र लिख कर इसकी जांच कराने के लिए कहा है. 

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महराणा प्रताप सेना के पदाधिकारियों ने एक तस्वीर भेजी है, जिसमें अजमेर दरगाह की खिड़कियों पर स्वस्तिक के निशान बने हुए हैं. सेना के संस्थापक राजवर्धन सिंह परमार दावा कर रहे हैं कि अजमेर की हजरत ख़्वाजा गरीब नवाज दरगाह एक शिव मंदिर था जिसे दरगाह बना दिया गया.

राजवर्धन सिंह परमार का दावा है कि दरगाह में स्वस्तिक का क्या काम? ये जांच का विषय है. हमने मुद्दा उठाया है. सरकार को जांच करनी चाहिए. महराणा प्रताप सेना ने राजस्थान सरकार, राज्यपाल, केंद्र सरकार को चिट्ठी लिखी है.  

सेना के प्रमुख परमार ने कहा, एक हफ्ते में जांच नहीं हुई तो केंद्रीय मंत्रियों से मुलाकात करेंगे. फिर भी कोई समाधान नहीं निकला तो एक बड़ा आंदोलन किया जाएगा. महाराणा प्रताप सेना के कार्यकर्ता 2000 की संख्या में अजमेर जाएंगे और आंदोलन करेंगे. साथ ही कोर्ट का रुख भी किया जा सकता है.

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