असम में भीषण बारिश से बाढ़ के कारण हालात दिन पर दिन बिगड़ते जा रहे हैं. इस प्राकृति आपदा से 35 जिलों वाले इस राज्य के 28 जिलों के 2930 गांवों में 19 लाख लोगों को प्रभावित हो गए हैं. वहीं शुक्रवार को बारिश की चपेट में आने से दो बच्चों सहित नौ और लोगों की जान चली गई.
भारत मौसम विज्ञान विभाग ने अगले 24 घंटों में और बारिश की आशंका जताई है. विभाग ने शनिवार को 'ऑरेंज अलर्ट' जारी किया है. वहीं एएनआई के मुताबिक बाढ़ के कारण इस साल असम में 54 लोगों की जान चली गई है. बाढ़ प्रभवित लोगों का कहना है कि गांवों में स्थिति बेहद खराब है. बाढ़ का जल स्तर हर घंटे बढ़ रहा है. घर के घर पानी में डूब गए हैं.
बाढ़ के पानी से NH-15 डूब गया
असम राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (एएसडीएमए) द्वारा जारी बुलेटिन के अनुसार, दारांग जिले के सिपाझार इलाके में बाढ़ आने से NH-15 डूब गया है. दारांग जिला प्रशासन द्वारा राजमार्ग पर वाहनों की आवाजाही को रोकने के बाद वहां सैकड़ों ट्रक फंस गए हैं. इसके अलावा भारी बारिश और बाढ़ के कारण अब तक 13 तटबंध टूट गए, 64 सड़कें और एक पुल क्षतिग्रस्त हो चुके हैं.
एक लाख लोग 373 राहत शिविरों में ठहरे
जानकारी के मुताबिक राज्य में बजली सबसे ज्यादा प्रभावित जिला है. यहां बाढ़ के कारण कुल 3.55 लाख लोग प्रभावित हुए हैं. इसके बाद दरांग में 2.90 से अधिक लोग प्रभावित हैं. कुल 43338.39 हेक्टेयर फसल भूमि पानी में डूब गई है. एक लाख से अधिक लोगों को 373 राहत शिविरों में ठहराया गया है.
कोपिली नदी नगांव जिले के कामपुर में सबसे अधिक बाढ़ के निशान से ऊपर बह रही है. वहीं ब्रह्मपुत्र, बेकी, मानस, पगलाडिया, पुथिमारी और जिया-भराली नदियां कई स्थानों पर ऊफान पर हैं.
बाढ़ के कारण ट्रेनें प्रभावित
असम के होजई जिले में पूर्वोत्तर रेलवे के लुमडिंग डिवीजन के जमुनामुख और जुगीजान सेक्शन के बीच भारी बारिश के कारण बाढ़ आने रेल सेवा बाधित हो गई है. रेलवे ट्रैक के नीचे से मिट्ट बह जाने के कारण कई ट्रेनों को रद्द कर दिया गया है कुछ को डायवर्ट कर दिया गया है.
असम में शैक्षणिक संस्थान आज भी बंद
पीटीआई के मुताबिक क्षेत्रीय मौसम विज्ञान केंद्र ने असम और मेघालय में मूसलाधार बारिश की चेतावनी दी है. असम के निचले जिलों के उपायुक्तों ने भी शैक्षणिक संस्थानों को शनिवार को कक्षाएं स्थगित करने के निर्देश जारी किए हैं.
गुवाहाटी में लोगों से घर में रहने की अपील
पीटीआई के मुताबिक गुवाहाटी में प्रशासन ने भारी बारिश के कारण लोगों से अनावश्यक रूप से घर के बाहर नहीं आने की अपील की है. गुवाहाटी में अनिल नगर, नबीन नगाए, जू रोड, सिक्स माइल, नूनमती, भूतनाथ, मालीगांव जैसे इलाकों में लगातार तीसरे दिन भी जलभराव जारी रहने से गुवाहाटी में जनजीवन ठप हो गया है.
सेना की नौ टीमें लोगों को कर रहीं रेस्क्यू
बाढ़ प्रभावित जिलों बक्सा, नलबाड़ी, बजली, दरांग, तामुलपुर, होजई और कामरूप में राहत और बचाव अभियान चलाने के लिए सेना की कुल नौ संयुक्त टीमें काम कर रही हैं. इसके अलावा प्रदेश के प्रभावित अलग-अलग जिलों में एनडीआरएफ, एसडीआरएफ और असम पुलिस की अग्निशमन और आपातकालीन सेवाएं भी बड़े पैमाने पर राहत अभियान चला रहे हैं.
बाढ़ पर सियासत, कांग्रेस ने की पूजा
बाढ़ के हालात को लेकर राज्य में सियासत भी शुरू हो गई है. कांग्रेस ने गुरुवार को बारिश रोकने के लिए पूजा की. असम प्रदेश महिला कांग्रेस अध्यक्ष मीरा बोरठाकुर ने कहा, "मुख्यमंत्री ने हमें भगवान पर छोड़ दिया है, हम लोगों को बाढ़ से बचाने के लिए यह पूजा कर रहे हैं." गत दिन पहले सीएम हिमंत बिसवा सरमा ने लोगों से कहा था कि भगवान से राहत पाने के लिए प्रार्थना करिए.
वहीं बीजेपी ने कांग्रेस पर पलटवार किया. असम से भाजपा के राज्यसभा सांसद पबित्रा मार्गेरिटा ने कहा, "यह एक प्राकृतिक आपदा है और इस पर किसी का नियंत्रण नहीं है, लेकिन इसका फायदा उठाकर कांग्रेस मीडिया का ध्यान खींचने के लिए पूजा अर्चना कर रही है."