महाराष्ट्र में एनसीपी नेता बाबा सिद्दीकी की हत्या का मामला अभी ठंडा भी नहीं पड़ा था कि देश में कानून-व्यवस्था से जुड़ीं तीन और बड़ी घटनाएं सामने आ गईं. इनमें से एक मामला मुंबई का ही है, जहां बीच सड़क एक शख्स की पीट-पीटकर हत्या कर दी गई. घटना 12 अक्टूबर की बताई जा रही है, जिसका वीडियो सोशल मीडिया पर अब वायरल हो रहा है. मलाड इलाके में रोड रेज की एक घटना में लोगों के एक समूह ने 27 वर्षीय आकाश माइने की पीट-पीटकर हत्या कर दी. डिंडोशी में ओवरटेकिंग को लेकर हुए विवाद के समय आकाश के साथ उनके माता-पिता भी साथ थे.
मुंबई में शख्स की सरेराह पीट-पीटकर हत्या
मुंबई पुलिस के मुताबिक आकाश दशहरे के मौके पर नई कार खरीदकर अपने घर लौट रहे थे, तभी मलाड रेलवे स्टेशन के पास एक ऑटो-रिक्शा ने उनकी गाड़ी को ओवरटेक किया. इसे लेकर आकाश की ऑटो-रिक्शा ड्राइवर के तीखी बहस हुई. देखते-देखते मामला तेजी से बिगड़ गया और ऑटो-रिक्शा चालक ने अपने साथियों के साथ मिलकर आकाश पर हमला कर दिया, जिससे उन्हें गंभीर चोटें आईं और उनकी मौत हो गई. इस घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल है. बता दें कि आकाश की मां राज ठाकरे की पार्टी महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना की सक्रिय कार्यकर्ता हैं.
वायरल वीडियो में देखा जा सकता है उग्र लोगों का एक समूह आकाश पर हमला कर रहा है और उनकी मां उन्हें बचाने की कोशिश कर रही हैं. वीडियो में देखा जा सकता है कि वह आकाश के ऊपर लेटी हुई दिखाई दे रही हैं और अपने बेटे को हमलावरों से बचाने की कोशिश कर रही हैं, जबकि आकाश के पिता हमला करने वाले लोगों से अपने बेटे को छोड़ने की गुहार लगा रहे हैं. पुलिस ने आरोपी ऑटो-रिक्शा चालक और तीन अन्य के खिलाफ भारतीय न्याय संहिता (BNS) की संबंधित धाराओं के तहत हत्या का मामला दर्ज किया है, जबकि मामले में 9 लोगों को गिरफ्तार किया गया है.
छत्तीसगढ़ में उग्र भीड़ ने SDM को दौड़ाया
दूसरी घटना छत्तीसगढ़ के सूरजपुर की है. यहां पुलिस कांस्टेबल तालिब शेख की पत्नी महनाज (35) और बेटी आलिया (11) की हत्या के बाद भीड़ उग्र हो गई और मौके पर पहुंचे एसडीएम जगन्नाथ वर्मा को मारने के लिए दौड़ा लिया. इस घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है, जिसमें एसडीएम को भागकर अपनी जान बचाते हुए देखा जा सकता है. दरअसल, सूरजपुर कोतवाली थाने में पदस्थ कांस्टेबल घनश्याम सोनवानी की ड्यूटी दुर्गा विसर्जन में लगाई गई थी. वह रविवार को अपनी ड्यूटी खत्म करके एक चाय की दुकान पर चाय पी रहे थे, तभी किसी बात को लेकर उनकी कुलदीप साहू नाम के बदमाश से नोकझोंक हो गई. कुलदीप साहू ने चूल्हे पर चढ़ी खौलते तेल की कड़ाही कांस्टेबल घनश्याम सोनवानी के ऊपर उड़ेल दी.
इस घटना में कांस्टेबल सोनवानी बुरी तरह झुलस गए. सूरजपुर पुलिस ने बताया कि कुलदीप साहू हिस्ट्रीशीटर है और उसे पकड़ने के लिए एक टीम गठित की, जिसमें हेड कांस्टेबल तालिब शेख भी शामिल थे. पुलिस टीम कुलदीप को गिरफ्तार करने घटनास्थल पर पहुंची, तो उसने अपनी गाड़ी से तालिब शेख और अन्य पुलिसकर्मियों को कुचलने की कोशिश की और मौके से फरार हो गया. जब शेख ड्यूटी के बाद अपने घर लौटे तो दरवाजा टूटा हुआ पाया और उनकी पत्नी और बेटी गायब थीं. उन्होंने घर के अंदर खून के धब्बे देखे तो पुलिस को सूचित किया और उनके परिवार की तलाश शुरू की गई. हेड कांस्टेबल तालिब शेख की पत्नी महनाज और बेटी आलिया के शव सोमवार को सिटी कोतवाली पुलिस स्टेशन की सीमा में उनके घर से 4 किमी दूर पीढ़ा गांव के बाहरी इलाके में पाए गए.
एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि प्रथम दृष्टया पता चलता है कि आरोपी ने मां-बेटी पर धारदार हथियार से हमला कर उनकी हत्या कर दी. घटना से आक्रोशित भीड़ ने साहू के घर में तोड़फोड़ की और आग लगा दी. इस घटना की सूचना पाकर एसडीएम जगन्नाथ वर्मा मौके पर पहुंचे थे, जहां भीड़ ने उन्हें मारने के लिए दौड़ा लिया और वह अपनी जान बचाने के लिए भागने पर मजबूर हुए. आरोपी कुलदीप साहू ने पीछा करने के दौरान पुलिस पर गोलीबारी भी की, जिसके बाद पुलिस को जवाबी कार्रवाई करनी पड़ी. हालांकि, आरोपी भागने में सफल रहा. साहू को पकड़ने के लिए पुलिस दबिश दे रही है. शहर में किसी भी अप्रिय स्थिति को रोकने के लिए बड़ी संख्या में पुलिस कर्मियों को तैनात किया गया है.
यूपी के बहराइच में भड़की सांप्रदायिक हिंसा
तीसरी घटना यूपी के बहराइच की है, जहां सोमवार को सांप्रदायिक हिंसा भड़क गई. उग्र भीड़ ने दुकानों और वाहनों में आग लगा दी. यह तनाव रविवार को तब शुरू हुआ जब बहराइच के महसी महराजगंज क्षेत्र में दुर्गा प्रतिमा विसर्जन के दौरान डीजे पर तेज आवाज में म्यूजिक बजाने पर एक समुदाय के लोगों ने असहमति जताई. यह असमति देखते-देखते दो समुदायों के बीच झड़प में तब्दील हो गई, जिसके बाद पथराव हुआ और गोलियां चलीं. बहराइच की पुलिस अधीक्षक (SP) वृंदा शुक्ला के अनुसार, हिंसा के सिलसिले में सलमान नाम के एक व्यक्ति के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है. उसके घर से गोलियां चलाई गईं. उसके घर में ही दुकान भी चलती है.
रेहुआ मंसूर गांव के रामगोपाल मिश्र जुलूस में आगे चल रहे थे. गोली लगने से वह घायल हो गये. उन्हें अस्पताल ले जाया गया जहां इलाज के दौरान उनकी मृत्यु हो गई. रामगोपाल की मौत से गुस्साए दूसरे समुदाय के लोग सोमवार को बड़ी संख्या में लाठी-डंडों के साथ सड़क पर उतरे. इलाके में कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बावजूद, उग्र भीड़ ने आसपास की कई दुकानों और वाहनों में आग लगा दी. एक अस्पताल और कार शोरूम को भी आग के हवाले कर दिया. हालात पर काबू पाने के लिए पुलिस को उग्र भीड़ पर लाठीचार्ज करना पड़ा और आंसू गैस के गोले दागने पड़े. इस सांप्रदायिक हिंसा के संबंध में कम से कम 30 लोगों को हिरासत में लिया गया.
पुलिस मूर्ति विसर्जन जुलूस पर गोली चलाने वाले मुख्य आरोपी की तलाश कर रही है. पूरे मामले में भारतीय न्याय संहिता (BNS) की संबंधित धाराओं में एफआईआर दर्ज की गई है. बहराइच की एसपी वृंदा शुक्ला ने कहा, 'सभी अराजक तत्वों की पहचान की जाएगी और उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई होगी.' इलाके में तनाव व्याप्त है और कानून-व्यवस्था बनाए रखने के लिए पुलिस रूट मार्च कर रही है. रैपिड एक्शन फोर्स, पीएसी और यूपी एसटीएफ की टीमें भी तनावग्रस्त इलाके में तैनात की गई हैं. बहराइच की जिलाधिकारी मोनिका रानी ने हिंसा प्रभावित क्षेत्र का दौरा किया. उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर गृह सचिव संजीव गुप्ता और एडीजी लॉ एंड ऑर्डर भी मौके पर पहुंचे. सीएम योगी ने X पर एक पोस्ट में लिखा, 'जनपद बहराइच के महसी में माहौल बिगाड़ने वालों को बख्शा नहीं जाएगा. सभी को सुरक्षा की गारंटी, लेकिन उपद्रवियों और जिनकी लापरवाही से घटना घटी है, ऐसे लोगों को चिह्नित कर कठोरतम कार्रवाई के निर्देश दिए हैं.'