बांग्लादेश में अल्पसंख्यकों पर होने वाले हमलों का मुद्दा उठाने वाले मेघालय के पूर्व राज्यपाल ने एक बार फिर से नया बयान जारी किया है. उन्होंने यह बयान बांग्लादेश में हिंदू मंदिरों और दुर्गा पूजा पंडालों पर कुछ दिनों से लगातार हो रहे हमलों को लेकर दिया है. मेघालय के पूर्व राज्यपाल तथागत रॉय (Tathagata Roy) ने दावा किया है कि इस तरह के हमले बड़े पैमाने पर फैलाई जाने वाली अफवाहों के कारण हो रहे हैं.
रॉय ने बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना (Bangladesh PM Sheikh Hasina) पर भरोसा जताते हुए उन्हें भारत और हिंदुओं का दोस्त बताया है और कहा है कि भारत को इस समस्या को खत्म करने के लिए शेख हसीना की मदद करनी चाहिए.
उन्होंने कहा, ''शेख हसीना हिंदुओं और भारत की मित्र हैं. वह ऐसी स्थिति को संभालना जानती हैं. बांग्लादेश में हसीना सरकार के आने के बाद हिंदू वहां बेहतर तरीके से रह रहे हैं. जबकि पूर्व प्रधानमंत्री खलीफा जिया के समय ऐसा नहीं था.
हसीना को मंदिरों पर हो रहे हमलों जैसे मुद्दों से निपटने के लिए भारत सरकार से खुले तौर पर या गुप्त रूप से बात करनी चाहिए.'' रॉय ने कहा कि भारत सरकार को भी इस मुद्दे पर हस्तक्षेप करना चाहिए और शेख हसीना की मदद करनी चाहिए. क्योंकि अगर हिंदू बांग्लादेश छोड़कर भारतीय क्षेत्र में चले आते हैं, तो यह सिर्फ बांग्लादेश का मुद्दा नहीं रह जाएगा.
इंडिया टुडे से बात करते हुए, तथागत रॉय ने बताया किया कि बांग्लादेश में ऐसी घटनाएं कैसे और क्यों होती हैं. उन्होंने कहा, ''बांग्लादेश में दो तरह के लोग हैं जो ऐसा करते हैं. एक कट्टरपंथी जो मानते हैं कि बांग्लादेश केवल मुसलमानों का देश है. और दूसरा वह समूह है जो बांग्लादेश में हिंदुओं की अचल संपत्ति में रुचि रखता है.''
'कुरान की बेअदबी की बात एक अफवाह'
हाल ही में बांग्लादेश के कॉमिला शहर में दुर्गा पंडाल उखाड़ने की घटना को लेकर रॉय ने कहा कि उस समय भी कुरान की बेअदबी की बात महज एक अफवाह थी. हिंदुओं ने कुरान या पैगंबर मोहम्मद का अपमान नहीं किया था. और इस बार भी यही हुआ कि फिर से इस तरह की अफवाह उड़ाई गई है. उन्होंने कहा कि बांग्लादेश में हिंदू अल्पसंख्यक हैं. वे ऐसा करने का कभी सोच भी नहीं सकते क्योंकि बांग्लादेश एक मुस्लिम बाहुल्य देश है.
भारत ने हिंसा की खबरों को बताया 'परेशान करने वाला'
बता दें, भारत ने दुर्गा पूजा के दौरान बांग्लादेश में हुई हिंसा की खबरों को 'परेशान करने वाला' करार दिया है. दिल्ली में एक प्रेस वार्ता के दौरान विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने कहा कि हमें बांग्लादेश में धार्मिक आयोजनों के दौरान आक्रमण की कुछ परेशान करने वाली घटनाओं की रिपोर्ट मिली है. बांग्लादेश सरकार ने कानून व्यवस्था सुनिश्चित करने के लिए तैनाती सहित तुरंत कदम उठाए हैं. हम बांग्लादेश सरकार के साथ संपर्क में हैं. बांग्लादेश सरकार ने पुलिस और दूसरी सुरक्षा व्यवस्थाएं की हैं.