पश्चिम बंगाल के दक्षिण 24 परगना जिले में शनिवार को 10 साल की बच्ची का शव मिलने के बाद इलाके में तनाव है. आरोप है कि बच्ची से रेप के बाद उसकी हत्या हुई है. शव मिलने के बाद गुस्साए स्थानीय लोगों ने पुलिस चौकी में आग लगा दी और वहां खड़े वाहनों में तोड़फोड़ की. पुलिस ने इस मामले में एक शख्स को गिरफ्तार किया है. अब इस मामले में कई खुलासे हो रहे हैं.
पहले दोस्ती की पेशकश की...
सूत्रों ने इंडिया टुडे को बताया कि मामले में गिरफ्तार आरोपी ने बच्ची का गला घोटने की बात कबूल कर ली है. सूत्रों ने कहा कि आरोपी दो दिनों से बच्ची का पीछा कर रहा था. उसने पहले बच्ची को आइसक्रीम दी और उसका विश्वास जीता. शुक्रवार शाम को आरोपी ने पीड़िता को अपनी साइकिल पर लिफ्ट दी और उसे एक अज्ञात स्थान पर ले गया.
यह भी पढ़ें: 'वक्त पर कार्रवाई न किए जाने से रेप के मामलों में हुई बढ़ोतरी...', ममता सरकार पर बंगाल के गवर्नर का तंज
रिपोर्ट्स के मुताबिक, बच्ची अपनी ट्यूशन क्लास से घर लौट रही थी जब वह लापता हो गई. परेशान और चिंतित उसके परिवार ने स्थानीय पुलिस स्टेशन में गुमशुदगी की शिकायत दर्ज कराते हुए मदद मांगी. हालांकि, उनका आरोप है कि सहायता की बजाय पुलिस ने उन्हें परेशान किया. लड़की का शव मिलने के बाद पश्चिम बंगाल के दक्षिण 24 परगना जिले में बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन शुरू हो गया, प्रदर्शनकारियों ने पुलिस पर समय पर कार्रवाई करने में विफल रहने का आरोप लगाया.
टीएमसी को बीजेपी ने घेरा
भाजपा नेता अमित मालवीय ने एक्स पर एक पोस्ट में शिकायत दर्ज करने में पुलिस की विफलता पर तृणमूल कांग्रेस के नेतृत्व वाली राज्य सरकार की आलोचना की. न्यूज एजेंसी की रिपोर्ट के मुताबिक ग्रामीणों ने कहा कि लड़की शुक्रवार शाम से लापता थी और पुलिस ने परिजनों की शिकायत पर तुरंत कार्रवाई नहीं की. शनिवार सुबह जयनगर इलाके में स्थानीय लोगों द्वारा लड़की का शव बरामद किए जाने के बाद भीड़ ने महिस्मारी पुलिस चौकी में आग लगा दी और पुलिसकर्मियों पर पथराव किया. एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, उन्होंने चौकी के बाहर खड़े कई वाहनों में भी तोड़फोड़ की और पुलिसकर्मियों को परिसर छोड़ने के लिए मजबूर होना पड़ा. बवाल के बाद इलाके में भारी पुलिस फोर्स की तैनाती की गई है और भीड़ को तितर-बितर करने के लिए आंसू गैस के गोले छोड़े गए हैं.