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कर्नाटक में कांग्रेस सरकार के खिलाफ एक हफ्ते की पदयात्रा निकालेगी BJP-JDS, मुडा घोटाले पर घेरने की तैयारी

बीजेपी नेता विजयेंद्र ने कहा कि कांग्रेस सरकार के विरोध में 3 अगस्त यानी कि शनिवार से बेंगलुरू से मैसूर तक पदयात्रा निकाली जाएगी. यह पदयात्रा 10 अगस्त तक चलेगी. सूत्रों ने बताया कि इस पदयात्रा के आखिरी दिन मैसूर में बीजेपी के शीर्ष नेता शामिल हो सकते हैं.

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सिद्धारमैया सरकार को घेरने की तैयारी में बीजेपी. (PTI)
सिद्धारमैया सरकार को घेरने की तैयारी में बीजेपी. (PTI)

कर्नाटक में मुडा घोटाले को लेकर उठा सियासी विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है. इस मुद्दे पर कांग्रेस सरकार को घेरने के लिए रविवार को बीजेपी और जेडीएस ने संयुक्त बैठक की. बीजेपी राज्य प्रमुख विजयेंद्र ने कहा कि राज्य की कांग्रेस सरकार घोटालों से घिरी हुई है. मुडा स्कैम हो या एससीपी टीएसपी फंड घोटाला, राज्य सरकार हर जगह विफल रही है. विजयेंद्र ने कहा कि हमने फैसला किया है कांग्रेस सरकार को घेरने के लिए हम बेंगलुरू से मैसूर तक पदयात्रा निकालेंगे.

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पदयात्रा निकालेगी बीजेपी-जेडीएस

बीजेपी नेता विजयेंद्र ने कहा कि कांग्रेस सरकार के विरोध में 3 अगस्त यानी कि शनिवार से बेंगलुरू से मैसूर तक पदयात्रा निकाली जाएगी. यह पदयात्रा 10 अगस्त तक चलेगी. सूत्रों ने बताया कि इस पदयात्रा के आखिरी दिन मैसूर में बीजेपी के शीर्ष नेता शामिल हो सकते हैं. खबर है कि राष्ट्रीय बीजेपी अध्यक्ष जेपी नड्डा इसमें शामिल हो सकते हैं. उन्होंने आरोप लगाया कि कर्नाटक के इतिहास में पहली बार है जब सीएम इस तरह के आरोपों पर कोई बयान ही जारी नहीं कर रहे हैं. हम इस मुद्दे को जनता के बीच लेकर जाएंगे. 

यह भी पढ़ें: संसद में उठा कर्नाटक की महर्षि वाल्मीकि सोसाइटी में कथित भ्रष्टाचार का मुद्दा, दोनों सदनों में हंगामा

क्या है मुडा घोटाला

मैसूर जिले के केसारे गांव में सिद्दारमैया की पत्नी पार्वती के नाम करीब 3 एकड़ जमीन थी. MUDA ने विकास कार्यों के लिए इस जमीन का अधिग्रहण किया.इसके बदले MUDA ने पार्वती को 2021 में विजयनगर में 38,283 स्क्वायर फीट का प्लॉट दिया. ये जमीन दक्षिण मैसूर के पॉश इलाके में है.आरोप लगा कि विजयनगर की जो जमीन पार्वती को दी गई, वो उनके केसारे वाली जमीन से कहीं अधिक महंगी है. इससे MUDA को नुकसान हुआ. 

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दरअसल, सीएम की पत्नी पार्वती को ‘50:50 प्रोत्साहन योजना’ के तहत जमीन दी गई. MUDA ने इसे साल 2020 में लागू किया था. इस योजना में जिनकी अविकसित जमीन अधिग्रहित की जाती है, उन्हें अधिग्रहित भूमि के 50 प्रतिशत के बराबर विकसित जमीन दी जाती है. 

BJP ने सीएम के इस्तीफे की मांग की

कर्नाटक भाजपा ने आरोप लगाया कि इस योजना के तहत 85 हजार आवेदकों को जमीन नहीं मिली. इनमें मिडिल और लोअर-मिडिल क्लास के आवेदक शामिल हैं. इसके बावजूद CM के परिवार को तुरंत जमीन दे दी गई. इस कथित घोटाला के संबंध में सिद्दारमैया की पत्नी, उनके भाई मल्लिकार्जुन और एक अन्य व्यक्ति के खिलाफ पुलिस में मामला दर्ज कराया गया है.

BJP ने ये भी आरोप लगाया है कि कई प्रभावशाली लोगों को जमीनें दी गई हैं. आरोप है कि इससे सरकार को लगभग 4 हजार करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है. इस मुद्दे पर बीजेपी ने सीएम के इस्तीफे की मांग की है. हंगामा तो इतना बढ़ा था कि कुछ दिन पहले बीजेपी विधायक विधानसभा में ही सो गए थे. 

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