कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने बुधवार को राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) पर महिलाओं को दबाने का आरोप लगाया और दावा किया कि इसी वजह से संगठन में कोई महिला सदस्य नहीं है. भारत जोड़ो यात्रा का नेतृत्व कर रहे राहुल गांधी ने आरोप लगाया कि बीजेपी और आरएसएस की योजना डर फैलाना है और उनका मार्च डर और नफरत के खिलाफ है.
तमिलनाडु के कन्याकुमारी से 7 सितंबर को शुरू हुई भारत जोड़ो यात्रा अभी राजस्थान से गुजर रही है. इस यात्रा के 16 दिसंबर को 100 दिन पूरे हो जाएंगे. बुधवार को सवाई माधोपुर के भड़ोति से शुरू हुई यात्रा दौसा के बादशाहपुर पहुंच चुकी है.
कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष ने आरोप लगाया कि बीजेपी और आरएसएस 'जय सियाराम' की जगह 'जय श्री राम' बोलकर देवी सीता का अपमान कर रहे हैं. जय सिया राम भगवान राम और देवी सीता दोनों को स्वीकार करता है. दौसा जिले के बागड़ी गांव में एक नुक्कड़ सभा को संबोधित करते हुए राहुल ने कहा, "आपको उनके संगठन में एक महिला नहीं मिलेगी. आपको आरएसएस में एक महिला नहीं मिलेगी. वे महिलाओं को दबाते हैं, वे महिलाओं को अपने संगठन में प्रवेश नहीं करने देते हैं." बता दें कि 'राष्ट्र सेविका समिति' नाम से आरएसएस की महिला विंग भी है.
कांग्रेस सांसद ने कहा, "मैं आरएसएस और भाजपा के लोगों से पूछना चाहता हूं, आप जय श्री राम कहते हैं लेकिन आप जय सियाराम क्यों नहीं कहते हैं? आपने सीता मां को क्यों हटा दिया? आप उनका अपमान क्यों करते हैं? आप भारत की महिलाओं का अपमान क्यों करते हैं?"
डर से बीजेपी-आरएसएस को लाभ: राहुल
इस दौरान राहुल गांधी ने देश में बढ़ रही बेरोजगारी को लेकर भी हमला बोला. उन्होंने कहा कि युवाओं में बरोजगारी का डर भी बढ़ रहा है. इस डर से केवल भाजपा और आरएसएस को फायदा होता है क्योंकि वे इस डर को नफरत में बदल देते हैं. उनके सभी संगठन एक ही काम करते हैं. वे देश को विभाजित करने और नफरत और भय फैलाने का काम करते हैं. इसलिए भारत जोड़ो यात्रा का सबसे महत्वपूर्ण लक्ष्य है. जोड़ो यात्रा देश में फैलाए जा रहे डर और नफरत के खिलाफ खड़ी है.
100 लोगों के पास 55 करोड़ के बराबर संपत्ति
उन्होंने दावा किया कि भारत के 100 सबसे अमीर लोगों के पास इतनी संपत्ति है जो देश के 55 करोड़ लोगों के बराबर है. गांधी ने आरोप लगाया, "भारत की आधी संपत्ति केवल 100 लोगों के पास है और देश उन्हीं के लिए चलाया जाता है." राहुल ने कहा, "चार या पांच ऐसे लोग हैं जिन्हें आप भारत का महाराजा कह सकते हैं. पूरी सरकार, पूरा मीडिया और सभी नौकरशाह उनके इशारे पर काम करते हैं. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी भी उनके इशारे पर काम करते हैं."