नए कृषि कानूनों के विरोध में चल रहे आंदोलन को धार देने के लिए प्रदर्शनकारी किसान गांव-गांव जाकर 6 फरवरी को प्रस्तावित “चक्का जाम” को सफल बनाने की रणनीति में जुट गए हैं. संयुक्त किसान मोर्चा ने 6 फरवरी को दोपहर 12 से 3 बजे तक देशभर में “चक्का जाम” का ऐलान किया है. इससे पहले बुधवार को किसान आंदोलन को लेकर जमकर घमासान मचा. किसानों के मसले पर सियासी बयानबाजी भी खूब जमकर हुई.
विदेशी हस्तियों के दखल पर गृहमंत्री तक को बयान देना पड़ा. इस पर कई भारतीय शख्सियतों ने भी अपनी राय रखी. वहीं, जींद किसानों की महापंचायत में जुटी भीड़ ने साफ कर दिया कि किसान अपनी मांगों से फिलहाल पीछे हटने वाले नहीं है. जींद में एक घटना भी हुई, जब किसान नेता राकेश टिकैत का मंच ढह गया.
राहुल गांधी वर्सेज संबित पात्रा
किसानों के मसले पर राहुल गांधी ने बुधवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस की. उन्होंने कहा कि किसान परेशान हैं, फिर सरकार किलेबंदी क्यों कर रही है? आज दिल्ली किसानों से घिरी है. ये समस्या देश के लिए अच्छी नहीं है. इस मसले का समाधान निकलना चाहिए. प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान राहुल गांधी से इंटरनेशनल सेलिब्रिटीज के दखल को लेकर भी सवाल किया गया, जिस पर उन्होंने कहा कि ये भारत का घरेलू मामला है.
वहीं, राहुल गांधी और कांग्रेस पर पलटवार करते हुए बीजेपी प्रवक्ता संबित पात्रा ने कहा कि राहुल गांधी चाहते हैं कि सड़कों पर लड़ाई हो. गोली चले, लाशें बिछ जाएं. कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष हुड़दंगियों को रिहा करने की बात कर रहे हैं. क्या उपद्रवी राहुल गांधी के अपने हैं? संबित पात्रा ने कहा कि राहुल गांधी ने प्रेस वार्ता कर फिर से किसानों के कंधों पर बंदूक रखकर अपनी राजनीतिक रोटी सेंकने की कोशिश की और साथ ही साथ हमने देखा कि किसानों के माध्यम से लोगों को भड़काने का काम भी किया.
अमित शाह बोले- प्रोपेगेंडा से एकता नहीं तोड़ सकते
विदेशी हस्तियों के बयान पर गृहमंत्री अमित शाह ने कहा कि कोई प्रोपेगेंडा देश की एकता को नहीं तोड़ सकता. एकजुट होकर प्रगति की ओर चलेंगे. कोई भी दुष्प्रचार भारत को ऊंचाइयों तक जाने से नहीं रोक सकता. गृहमंत्री ने ये बातें विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अनुराग श्रीवास्तव के ट्वीट पर लिखीं.
बता दें कि किसान आंदोलन को लेकर कई विदेशी हस्तियों ने भी टिप्पणी की है. पॉप स्टार रिहाना ने अपने ट्विटर पर किसान आंदोलन से जुड़ी खबर शेयर करते हुए लिखा था कि हम इस बारे में बात क्यों नहीं कर रहे? रिहाना ने हैशटैग #FarmersProtest के साथ यह ट्वीट किया था. वहीं, पर्यावरण एक्टिविस्ट ग्रेटा थनबर्ग ने कहा था कि हम भारत में किसानों के प्रदर्शन में एकजुटता से खड़े हैं.
विदेशी हस्तियों की टिप्पणी पर सचिन-विराट भी बोले
पूर्व क्रिकेटर सचिन तेंदुलकर ने सोशल मीडिया पर लिखा कि भारत की संप्रभुता से किसी भी तरह का समझौता नहीं होगा. साथ ही उन्होंने कहा कि विदेशी ताकतों को इससे (किसान आंदोलन) दूर रहना चाहिए.
वहीं, विराट कोहली ने कहा कि असहमति के इस समय हम सभी एकजुट रहें. किसान हमारे देश का एक अभिन्न हिस्सा हैं. मुझे यकीन है कि सभी पक्षों के बीच एक सौहार्दपूर्ण समाधान निकल आएगा. इससे सभी मिलकर आगे बढ़ें.
किसानों की महापंचायत में राकेश टिकैत ने कहा कि जब-जब राजा डरता है, तब-तब किलेबंदी करता है. दिल्ली में कीलें लगाई जा रही हैं, हम वो अपने खेतों में भी लगाते हैं. राकेश टिकैत ने कहा कि अभी हमने बिल वापसी की बात की है, अगर गद्दी वापसी की बात हुई तो क्या करोगे.
टिकैत ने कहा कि अभी जींद वालों को दिल्ली कूच की जरूरत नहीं है, आप यहां पर ही रहें. आगे राकेश टिकैत ने कहा कि आंदोलन से जुड़े गिरफ्तार किसानों को रिहा किया जाए. रिहाई के बाद ही वार्ता संभव है. टिकैत ने कहा कि जींद में मंच भी टूटा, भीड़ का रिकॉर्ड भी टूटा, वर्ष 2021 युवा क्रांति का साल है.