केंद्र की मोदी सरकार ने हरमंदिर साहिब (स्वर्ण मंदिर) को विदेशी अंशदान विनियमन अधिनियम (एफसीआरए) की अनुमति दे दी है. इसकी इजाजत मिलने के बाद अब अन्य देश भी हरमंदिर साहिब में अपना अंशदान दे सकेंगे.
एफसीआरए मंजूरी मिलने के कारण अब हरमंदिर साहिब को विदेशों से चंदा मिल सकेगा. गृहमंत्री अमित शाह ने जानकारी देते हुए बताया कि हरमंदिर साहिब में एफसीआरए पर फैसला निर्णायक है जो एक बार फिर हमारे सिख बहनों और भाइयों की सेवा की उत्कृष्ट भावना को प्रदर्शित करेगा.
अमित शाह ने कहा कि श्री दरबार साहिब की दिव्यता हमें शक्ति प्रदान करती है. दशकों से दुनिया भर में लोग वहां सेवा करने में असमर्थ थे. श्री हरमंदिर साहिब के लिए एफसीआरए की अनुमति देने के मोदी सरकार के फैसले से विश्व में संगत और श्री दरबार साहिब के बीच सेवा से जुड़ाव गहरा गया है.
Sri Darbar Sahib’s divinity gives strength to us. For decades, the Sangat worldwide was unable to serve there. Modi Government’s decision to allow FCRA to the Sri Harmandir Sahib deepens the connect of Seva between the Sangat globally and the Sri Darbar Sahib. A blessed moment!
— Amit Shah (@AmitShah) September 10, 2020
वहीं केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी ने कहा कि वाहे गुरु का आशीर्वाद है कि पीएम नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में सरकार को श्री हरमंदिर साहिब को एफसीआरए अनुमति देने का अवसर मिला है. हरमंदिर साहिब सभी समुदायों के लिए विश्वास और शांति का केंद्र है. यह कदम विश्वभर के श्रद्धालुओं के लिए गुरुसाहब की सेवा के लिए मार्ग प्रशस्त करेगा.
केंद्रीय मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने कहा कि दरबार साहिब को दुनिया भर में सिख संगत से सेवा और योगदान प्राप्त करने में सक्षम बनाने का निर्णय लिया है. इस ऐतिहासिक फैसले से गुरु साहिब के दर्शन गरीबों और जरूरतमंदों की सेवा के लिए धर्म के महान प्रयासों को आगे बढ़ाने में मदद मिलेगी.