पुणे की सत्र अदालत ने एक कांग्रेस कार्यकर्ता की हत्या के मामले में दक्षिणपंथी संगठन हिंदू राष्ट्र सेना के नौ सदस्यों को उम्रकैद की सजा सुनाई है.
यह घटना आठ जुलाई 2013 की है. अपराध के समय इन सभी नौ लोगों की उम्र 21 से 27 साल के बीच थी. इन्होंने सजा में रियायत बरतने की अपील की थी. हालांकि, स्पेशल पब्लिक प्रॉसिक्यूटर उज्जवल निकम ने अदालत को बताया कि इन अपराधियों ने इस कदर खौफ पैदा किया था कि घटनास्थल पर अपराधियों के हाथों में खून से सनी दरांती थी और उन्होंने भीड़ से दूर रहने को कहा था. उन्होंने आरोपियों को आजीवन कारावास देने की मांग की थी.
क्या था मामला?
सामाजिक कार्यकर्ता और कांग्रेस पार्टी के कार्यकर्ता प्रकाश गोंधाले ने 2012 में नगर निगम का चुनाव भी लड़ा था. लेकिन वह हार गए थे. उनकी राशन की एक दुकान भी थी, जिन्हें वह खुद चलाते थे. उनके दोस्त और पड़ोसी राजेंद्र पिंगाले काम के बाद उनकी दुकान जाया करते थे.
हत्या से पहले 20 जून 2013 को गोंधाले की दुकान में काम करने वाले एक शख्स ने हिंदू राष्ट्र सेना के लोगों पर हमला किया था. उन्होंने गोंधाले के घर पर भी हमला किया था. जिसकी वजह से गोंधाले ने पुलिस में शिकायत दर्ज कराई थी. इसके बाद पुलिस ने हिंदू राष्ट्र सेना के कार्यकर्ताओं के खिलाफ कार्रवाई की थी.
घटना के दिन पिंगाले काम के बाद गोंधाले के घर गए थे और चूंकि उनके पास कोई वाहन नहीं किया था तो दोनों पिंगाले की बाइक पर एक साथ घर जाने लगे. रास्ते में बाइक सवाल लोगों ने उन्हें घेर लिया. इनमें से तीन लोगों ने दरांती निकाली और हमला किया. इस दौरान पिंगाले भी घायल हो गए. लेकिन हमलावरों ने गोंधाले पर जानलेवा हमला किया. इस दौरान पिंगाले मदद के लिए चिल्लाते रहे. लेकिन किसी ने नहीं सुनी. दुकानदारों ने अपनी दुकानें बंद कर दी. इसके बाद हमलावर भाग खड़े हुए. इस दौरान वे पिंगाले की बाइक भी ले गए. इस बीच किसी ने पुलिस को फोन कर दिया. गोंधाले को अस्पताल ले जाया गया, जहां उन्हें मृत घोषित कर दिया गया.
अदालत ने हर आरोपी पर 20,000-20,000 रुपये का जुर्माना भी लगाया है.