PM Modi Oath Ceremony: आज लोकतंत्र के पर्व का खास दिन है क्योंकि नरेंद्र मोदी लगातार तीसरी बार प्रधानमंत्री बनने जा रहे हैं. जवाहरलाल नेहरू के बाद हैट्रिक बनाने वाले वो दूसरे प्रधानमंत्री बन जाएंगे. शाम 7.15 बजे मोदी 3.0 का शपथग्रहण आयोजित होना है जिसमें कई विदेशी मेहमान भी शामिल हैं. इस बीच नए संभावित मंत्रियों को शपथ के लिए फोन जाने लगा है. सुरक्षा संबंधी कैबिनेट समिति (CCS) में शामिल चार मंत्रालयों- गृह, रक्षा, वित्त और विदेश जैसे अहम मंत्रालय सहयोगी दलों को नहीं दिया जाएगा.
सूत्रों के अनुसार, जो मंत्रालय बीजेपी अपने पास रखेगी, उनमें गृह मंत्रालय वित्त मंत्रालय, विदेश मंत्रालय और रक्षा जैसे मंत्रालय अपने पास रखेगी. ये सभी ऐसे मंत्रालय हैं जो मोदी सरकार के पिछले दो कार्यकाल के दौरान बीजेपी के पास ही थे.
कैबिनेट कमेटी ऑन सिक्योरिटी का काम
कैबिनेट कमेटी ऑन सिक्योरिटी (केंद्रीय मंत्रिमंडल की सुरक्षा संबंधी समिति) सुरक्षा के मामलों पर निर्णय लेने वाली देश की सर्वोच्च संस्था होती है. प्रधानमंत्री इस कमेटी के अध्यक्ष होते हैं और गृह मंत्री, वित्त मंत्री, रक्षा मंत्री और विदेश मंत्री इसके सदस्य. देश की सुरक्षा संबंधी सभी मुद्दों से जुड़े मामलों में अंतिम निर्णय कैबिनेट कमेटी ऑन सिक्योरिटी का ही होता है. इसके अलावा कानून एवं व्यवस्था और आंतरिक सुरक्षा से संबंधित मुद्दों पर भी सीसीएस ही अंतिम निर्णय लेता है.
कैबिनेट कमेटी ऑन सिक्योरिटी विदेशी मामलों से संबंधित ऐसे नीतिगत मामलों से निपटती है, जिनका आंतरिक या बाहरी सुरक्षा पर प्रभाव पड़ता है. इसके अलावा देश की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए अन्य देशों के साथ समझौते से संबंधित मामले भी यह समिति संभालती है. राष्ट्रीय सुरक्षा पर प्रभाव डालने वाले आर्थिक और राजनीतिक मुद्दों और परमाणु ऊर्जा से संबंधित सभी मामलों से निपटना सीसीएस का काम होता है. राष्ट्रीय सुरक्षा से जुड़े निकायों या संस्थानों में अधिकारियों की नियुक्ति पर फैसला भी कैबिनेट कमिटी ऑन सिक्योरिटी का ही होता है. जैसे देश का राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार कौन होगा इसका निर्णय CCS लेता है.
रक्षा उत्पादन विभाग (Department of Defense Production) और रक्षा अनुसंधान एवं विकास विभाग (DRDO) के संबंध में 1000 करोड़ रुपये से अधिक के पूंजीगत व्यय वाले सभी मामलों पर सीसीएस का निर्णय ही आखिरी होता है. उहारण के लिए हाल ही में सीसीएस ने भारतीय नौसेना के लिए 200 ब्रह्मोस मिसाइलों के लिए 19000 करोड़ के डील को मंजूरी दी है. इस साल मार्च में केंद्रीय मंत्रिमंडल की सुरक्षा संबंधी समिति ने 5वीं पीढ़ी के स्वदेशी स्टील्थ फाइटर प्रोजेक्ट को हरी झंडी दी थी.
जिन पूर्व केंद्रीय मंत्रियों को अभी तक कॉल गया है उनमें राजनाथ सिंह, पीयूष गोयल, अश्विनी वैष्णव, मनसुख मांडविया, ज्योतिरादित्य सिंधिया, नितिन गडकरी, जितेंद्र सिंह जैसे मंत्री शामिल हैं. सूत्रों के मुताबिक, लोकसभा स्पीकर को लेकर अभी तक कोई फैसला नहीं हुआ है जिस पर सहयोगी दलों की भी नजर है. पिछली दो सरकारों में बीजेपी नेता सुमित्रा महाजन और ओम बिरला लोकसभा स्पीकर रहे थे.
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शपथ से पहले मंत्री परिषद के सदस्यों से मिलेंगे मोदी
नरेंद्र मोदी शपथग्रहण समारोह से पहले नए मंत्रीपरिषद के सदस्यों के साथ अपने आवास 7 लोक कल्याण मार्ग पर मुलाकात करेंगे. शपथ ग्रहण समारोह के लिए राष्ट्रपति भवन में सभी तैयारियां पूरी कर ली गई हैं. जब प्रधानमंत्री का शपथ ग्रहण चल रहा होगा, उस वक्त राजधानी दिल्ली और राष्ट्रपति भवन के आसपास सुरक्षा का अभेद्य चक्र बना होगा.
अगले दो दिन तक नई दिल्ली इलाका नो फ्लाइंग जोन रहेगा. दिल्ली पुलिस के तीन हजार जवान, अर्धसैनिक बलों की 15 कंपनियां, NSG, SPG और इंटेलिजेंस विंग के अधिकारियों की तैनाती की गई है. शाम 5 बजे से मेहमनों का राष्ट्रपति भवन पहुंचना शुरू हो जाएगा. शपथ ग्रहण 7:15 पर शुरू होगा.