पंजाब में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सुरक्षा में चूक के मामले में बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी पर गंभीर आरोप लगाए हैं. नड्डा ने ट्वीट कर दावा किया है कि जब पीएम मोदी का काफिला फंसा था तो सीएम चन्नी ने फोन पर बात करने से इनकार कर दिया.
नड्डा ने एक के बाद एक कर कई ट्वीट किए. उन्होंने लिखा, पंजाब में आने वाले चुनाव में वोटरों के हाथों करारी हार के डर से कांग्रेस सरकार ने पीएम के कार्यक्रम को रद्द करने का हर संभव हथकंडा आजमाया. ऐसा करते वक्त उन्होंने ये भी याद नहीं रखा कि पीएम मोदी को भगत सिंह और अन्य शहीदों को श्रद्धांजलि देनी है और विकास कार्यों की आधारशिला रखनी है.
नड्डा ने आगे कहा, अपनी घटिया हरकतों से पंजाब की कांग्रेस सरकार ने दिखा दिया है कि वे विकास विरोधी हैं और स्वतंत्रता सेनानियों के लिए भी उनके मन में कोई सम्मान नहीं है.
पंजाब के मुख्यमंत्री चन्नी ने फोन पर बात करने या इस मामले का समाधान करने से इनकार कर दिया। पंजाब सरकार द्वारा इस्तेमाल की जाने वाली रणनीति, लोकतांत्रिक सिद्धांतों में विश्वास रखने वाले किसी भी व्यक्ति को कष्ट पहुंचाएगी और उन्हें व्यथित करेगी।
— Jagat Prakash Nadda (@JPNadda) January 5, 2022
यह पीएम मोदी की सुरक्षा में बड़ी चूक- नड्डा
बीजेपी अध्यक्ष ने आगे लिखा, सबसे ज्यादा चिंता की बात ये है कि यह घटना पीएम मोदी की सुरक्षा में बड़ी चूक थी. पंजाब के प्रमुख सचिव और डीजीपी से एसपीजी को कहा गया था कि पीएम मोदी का रूट साफ है, इसके बावजूद वहां प्रदर्शनकारियों को जाने दिया गया. इससे भी बुरी बात ये है कि सीएम चन्नी ने फोन पर बात करने और मामले को सुलझाने से इनकार कर दिया. पंजाब की कांग्रेस सरकार द्वारा इस्तेमाल की जाने वाली यह रणनीति लोकतंत्र में विश्वास रखने वाले किसी भी व्यक्ति को पीड़ा देगी.
नड्डा ने पुलिस पर लगाए आरोप
नड्डा ने कहा, लोगों को रैली में शामिल होने से रोकने के लिए राज्य पुलिस को निर्देश दिया गया था. पुलिस की मनमानी और प्रदर्शनकारियों की मिलीभगत की वजह से रैली में आने वाली बड़ी संख्या में बसें भी फंस गईं. बीजेपी अध्यक्ष के अलावा केंद्रीय मंत्री मीनाक्षी लेखी ने भी कांग्रेस पर बड़ा आरोप लगा दिया है. मीडिया से बात करते हुए उन्होंने कहा है कि प्रदर्शन कर रहे लोग किसान नहीं थे. वो कांग्रेस के कार्यकर्ता थे जो सिर्फ पीएम मोदी का काफिला रोकना चाहते थे. उन्होंने इसे एक बड़ी साजिश बता दिया है. जोर देकर कहा गया है कि चुनाव के दौरान बीजेपी द्वारा इसका जवाब दिया जाएगा.
एमपी के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने तो इसे राष्ट्रीय सुरक्षा में खिलवाड़ बता दिया है. ट्वीट कर भी उन्होंने इसे कांग्रेस की ओछी हरकत बता दिया है. वे लिखते हैं कि यशस्वी प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी जन-जन के नेता हैं. पंजाब में कांग्रेस सरकार पराजय से भयभीत है और पार्टी हाईकमान की कठपुतली बनकर शासन की मर्यादाओं को तार-तार कर रही है. प्रधानमंत्री जी की सौगातें से पंजाब के नागरिकों को वंचित रखने का पाप कांग्रेस ने किया है. कांग्रेस हमेशा से विकास, लोक कल्याण, गरीब उत्थान और राष्ट्र के नव निर्माण की विरोधी रही है. जब पंजाब में विकास के नए युग की शुरुआत होनी थी, तो उसे न सिर्फ बाधित किया गया, बल्कि प्रधानमंत्री जी की सुरक्षा में लापरवाही कर देश के साथ धोखा करने की नाकाम कोशिश की गई. ओछी हरकतों के कारण देश कांग्रेस मुक्त होना चाहता है, तो क्या बौखलाहट में कांग्रेस नेता पद का दुरुपयोग कर ऐसी ही आपराधिक लापरवाही को अंजाम देंगे? सियासत में हार का बदला ऐसे लेने की कोशिश करेंगे? कभी लोकतंत्र का गला घोटने वाली कांग्रेस अब विभूतियों की सुरक्षा से भी खिलवाड़ करेगी?
बीजेपी नेता उमा भारती ने भी इस मामले पर अपनी प्रतिक्रिया दी है. उन्होंने कहा है कि पंजाब में पीएम की सुरक्षा में जो चूक हुई है यह गंभीर विषय है इसमें जो भी दोषी लोग हैं उनको सजा मिलनी चाहिए. सीएम योगी ने भी ट्वीट कर कहा है कि प्रधानमंत्री जी की सुरक्षा के साथ जिस प्रकार की गंभीर चूक आज पंजाब में हुई है, वह अक्षम्य है. ये देश ऐसी किसी भी साजिश को सफल नहीं होने देगा, पंजाब सरकार और कांग्रेस को देश की जनता से माफी मांगनी चाहिए.