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केरल के राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान ने एक ऐसे अधिनियम को मंजूरी दी है जिसको लेकर केरल सरकार अब कांग्रेस के निशाने पर आ गई है. पूर्व वित्त मंत्री और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पी चिदंबरम ने निशाना साधते हुए कहा है कि एलडीएफ सरकार के इस फैसले पर बेहद हैरान हूं कि सोशल मीडिया पर तथाकथित 'अपमानजनक' पोस्ट डालने को लेकर शख्स को सजा दी जा सकती है.
जाहिर है केरल सरकार के इस फैसले को लेकर विपक्ष विरोध कर रहा है. उनका कहना है कि यह अध्यादेश लाकर अभिव्यक्ति की आजादी छीनी जा रही है.
Shocked by the law made by the LDF government of Kerala making a so-called ‘offensive’ post on social media punishable by 5 years in prison
— P. Chidambaram (@PChidambaram_IN) November 22, 2020
इससे पहले शनिवार को केरल के राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान ने सीपीएम की अगुआई वाली एलडीएफ सरकार के केरल पुलिस अधिनियम संशोधन अध्यादेश को मंजूरी दी थी. राज्य मंत्रिमंडल ने पिछले महीने धारा 118-ए को शामिल करने की सिफारिश करके पुलिस अधिनियम को और सशक्त बनाने की बात कही थी.
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नए संशोधन के अनुसार अगर कोई शख्स सोशल मीडिया के माध्यम से किसी को अपमानित या बदनाम करने की नीयत से कोई पोस्ट डालता है तो उसे तीन साल तक कैद या 10000 रुपये तक जुर्माना या फिर दोनों सकती हैं.
हालांकि मीडिया में पहले तीन साल के बजाए पांच साल जेल की बात कही गई थी, जिसको लेकर वरिष्ठ नेता पी चिदंबरम ने अपने ट्विटर हैंडल के जरिए केरल सरकार पर निशाना साधा है.
हालांकि मुख्यमंत्री पिनरई विजयन ने इस अध्यादेश का बचाव करते हुए कहा है कि ये फैसला सोशल मीडिया के बढ़ते दुष्प्रयोग और लोगों को निशाना बनाने की कुप्रथा के कारण लाया गया है. सरकार का कहना है कि हाल के दिनों में साइबर क्राइम की वजह से नागरिकों की प्राइवेसी को बड़ा खतरा पैदा हो गया है. ऐसे में नए अध्यादेश लाने के बाद केरल पुलिस को ऐसे अपराधों से निपटने की शक्ति मिलेगी.