देश को मेडल दिलाने वाले खिलाड़ी दिल्ली में जंतर-मंतर पर धरने पर बैठे हैं. उनके मन में कुश्ती महासंघ को लेकर कई सवाल हैं, नाराजगी है और जुबां पर आरोपों की लंबी लिस्ट है. उन्होंने महासंघ के अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह पर कई गंभीर आरोप लगाए हैं. लेकिन सबसे संगीन यौन शोषण का आरोप है. हालांकि महासंघ के अध्यक्ष इन सारे आरोपों से इनकार कर रहे हैं. इस सबके बीच खिलाडियों और महासंघ की लड़ाई में अब हरियाणा की खाप पंचायतें भी कूद पड़ी हैं.
खिलाड़ियों के समर्थन में हरियाणा की खाप पंचायतें दिल्ली कूच की तैयारी कर रही हैं. खापों ने सरकार को सीधे रूप से चुनौती दी है कि कुश्ती महासंघ के अध्यक्ष पर एफआईआर दर्ज हो और सरकार उनको तुरंत बर्खास्त करें. साथ ही खिलाड़ियों द्वारा लगाये आरोपों की सुप्रीम कोर्ट के जज से जांच करवाकर दोषियों पर कड़ी कार्रवाई हो. अगर सरकार ने उनकी मांगे नहीं मानी तो पूरे हरियाणा की खाप पंचायतें एकजुट होकर खिलाड़ियों की मांगों को मनवाने के लिए आर-पार की लड़ाई लड़ेंगी.
इस मुद्दे पर हरियाणा के चरखी दादरी के स्वामी दयाल धाम पर फोगाट खाप के प्रधान बलवंत नंबरदार की अध्यक्षता में पंचायत का आयोजन किया गया. पंचायत में सांगवान, फोगाट, श्योराण, सतगामा, पंवार सहित दर्जनभर खाप के प्रतिनिधियों के अलावा कर्मचारी, सामाजिक संगठन के पदाधिकारी भी शामिल हुए. करीब दो घंटे चली पंचायत में खाप प्रतिनिधियों ने एकजुट होते हुए देश के लिए मेडल लाने वाले खिलाड़ियों के साथ कुश्ती महासंघ द्वारा किये जा रहे अत्याचार की घोर निंदा की.
'ये सरकार व समाज के लिए शर्मनाक'
पंचायतों ने कहा कि जिस तरह से क्षेत्र की बेटी विनेश फोगाट ने आंसू बहाते हुए पूरी जानकारी दी, वह बर्दास्त नहीं होगा. देशभर के खिलाड़ियों को जंतर-मंतर पर बैठना पड़ रहा है तो सरकार व समाज के लिए शर्मनाक है. ऐसा खाप पंचायतें कभी नहीं होने देंगी और आर-पार की लड़ाई लड़ेंगी. वहीं पंचायत में अधिवक्ताओं ने भी काम छोड़कर पूरे हरियाणा के अधिवक्ताओं को एकजुट कर आंदोलन में साथ देने की बात कही.
'खेल संघों पर खिलाड़ियों की नियुक्ति हो'
इस दौरान प्रधान बलवंत नंबरदार ने बताया कि जंतर-मंतर पर बैठे खिलाड़ियों के समर्थन में क्षेत्र की खाप पंचायतें दिल्ली कूच करेंगी. कुश्ती महासंघ के अध्यक्ष पर एफआईआर दर्ज हो और सरकार उन्हें तुरंत बर्खास्त करें. खिलाड़ियों द्वारा लगाये आरोपों की सुप्रीम कोर्ट के जज से जांच हो और खेल संघों पर राजनीतिक व्यक्ति की बजाये खिलाड़ियों की नियुक्ति होनी चाहिए. पहले हरियाणा के खेल मंत्री, अब कुश्ती महासंघ की करतूतों को सहन नहीं करेंगे. हरियाणा की खापों से भी आह्वान किया है कि वे भी खिलाड़ियों के समर्थन में दिल्ली पहुंचे. अगर सरकार ने मांगे नहीं मानी तो पूरे हरियाणा की खापों को एकजुट करके आर-पार की लड़ाई लड़ेंगे.
'तो हिंदुस्तान में पैदा नहीं होनी चाहिए बेटियां'
इससे पहले दोपहर में पहलवानों के प्रतिनिधिमंडल ने खेल मंत्रालय में खेल सचिव और SAI के डीजी से मुलाकात की. उसके बाद प्रेस कॉन्फ्रेंस की. पहलवानों ने बताया कि खेल मंत्रालय के अफसरों ने हमारी मांगों को सुना है और आश्वासन दिया है. हालांकि, अभी कोई कार्रवाई नहीं हुई. हम मांगें पूरी होने तक धरना स्थल से नहीं हटेंगे. बजरंग पुनिया ने कहा कि आज रेसलिंग का हर सदस्य यहां धरने पर बैठा है. बृजभूषण ने कहा था कि आरोप सच निकले तो फांसी पर लटक जाएंगे. आज हमारे पास 6 लड़कियां ऐसी हैं, जिनका यौन शोषण किया गया. वे सबूत के साथ यहां बैठी हैं.
पहलवानों ने खेल मंत्रालय के साथ अफसरों से मुलाकात की
पहलवानों ने खेल मंत्रालय को अपनी समस्याएं बताईं और कुश्ती संघ के अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह की शिकायत की. पहलवानों का कहना था कि उनके साथ ठीक बर्ताव नहीं किया जाता है. आए-दिन पहलवानों से बदसलूकी की जा रही है. इसलिए WFI अध्यक्ष को पद से हटाया जाए ताकि नए पहलवानों का भविष्य सुरक्षित हो सके. पहलवानों ने चेतावनी दी है कि जब तक बृजभूषण शरण सिंह का इस्तीफा नहीं हो जाता है, तब तक वे धरना स्थल से नहीं हटेंगे. अधिकारियों से बातचीत के बाद ये पहलवान वापस धरना स्थल पर पहुंचे.
साजिशन फंसाया जा रहा है: बृजभूषण सिंह
खिलाड़ियों के हंगामे के बाद कुश्ती महासंघ बैकफुट पर देखा जा रहा है. यही वजह है कि 22 जनवरी को कुश्ती महासंघ ने इमरजेंसी मीटिंग बुलाई है. कहा जा रहा है कि बृजभूषण शरण सिंह अपने पद से इस्तीफे की पेशकश कर सकते हैं. इससे पहले उन्होंने आज खेल मंत्री अनुराग ठाकुर से फोन पर बातचीत की और अपना पक्ष रखा. बृजभूषण का कहना था कि उन्हें साजिशन फंसाया जा रहा है. एक भी आरोप में सच्चाई नहीं है.
(रिपोर्ट- प्रदीप साहू)