हरियाणा में 31 जुलाई से शुरू हुई हिंसा अब तक पूरी तरह शांत नहीं हो सकी. इस बीच बजरंग दल के नेता प्रदीप शर्मा की हत्या का सीसीटीवी वीडियो सामने आया है. वीडियो में कुछ संदिग्ध एक शख्स को रायपुर की मस्जिद के पास फेंककर फरार होते दिख रहे हैं. पुलिस ने 31 जुलाई की रात को यहीं से प्रदीप शर्मा को अधमरी हालत में उठाया था.
प्रदीप शर्मा बृजमंडल यात्रा में शामिल होने के लिए नूंह आया था. लेकिन यात्रा के दौरान ही यहां हिंसा भड़क गई. सोहना के एसीपी नवीन संधु के मुताबिक, 31 जुलाई की रात 10 बजे के आसपास प्रदीप अपने घर लौट रहा था. जैसे ही वो रायपुर पहुंचा, वैसे ही उपद्रवियों ने लाठी-डंडों और पत्थरों से उसकी गाड़ी पर हमला कर दिया. उसके साथ मारपीट कर रायपुर की मस्जिद के पास उसे अधमरी हालत में फेंककर चले गए थे.
पुलिस ने देर रात मस्जिद के पास से ही प्रदीप शर्मा को गंभीर हालत में उठाया था. प्रदीप को पहले गुरुग्राम के एक सरकारी अस्पताल लाया गया लेकिन बाद में उन्हें दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल में रेफर कर दिया गया. हालांकि, 1 अगस्त की देर रात उनकी मौत हो गई.
सीसीटीवी वीडियो आया सामने
पुलिस को उस रात का एक सीसीटीवी वीडियो मिला है. पुलिस ने बताया कि इस वीडियो में दिख रहा है कि मस्जिद के पास एक एंबुलेंस आकर रुकती है और फिर उसमें से कुछ फेंककर वापस चली जाती है.
पुलिस के मुताबिक, एंबुलेंस जब मस्जिद के पास रुकती है तब उसकी डिग्गी बंद थी. फिर डिग्गी खोलकर कुछ फेंककर संदिग्ध वहां से चले जाते हैं.
पुलिस को शक है कि इसी एंबुलेंस से प्रदीप शर्मा को लाकर मस्जिद के पास अधमरी हालत में फेंक दिया गया था. क्योंकि पुलिस को इसी जगह से प्रदीप मिला था.
घटना का ये पूरा वीडियो मस्जिद में लगे सीसीटीवी में रिकॉर्ड हो गया था. इस मामले में पुलिस ने केस दर्ज आरोपियों की तलाश शुरू कर दी है.
कौन था प्रदीप शर्मा?
प्रदीप शर्मा बजरंग दल के बादशाहपुर मंडल के संयोजक थे. पुलिस के मुताबिक, प्रदीप उत्तर प्रदेश का रहने वाला था. भोंडसी इलाके में उसकी बर्तन की दुकान थी. प्रदीप की शादी हो चुकी थी और उसका पूरा परिवार यूपी में ही रहता है.
नूंह में बुलडोजर भी चला
नूंह में हिंसा के बाद से सरकार और पुलिस ने एक्शन तेज कर दिया है. नूंह के जिस नलहड़ मंदिर से हिंसा शुरू हुई थी, उसके आसपास पहाड़ से सटे हुई कई अवैध झुग्गियों पर आज बुलडोजर चलाया गया. जानकारी के मुताबिक, शुक्रवार दोपहर साढ़े तीन बजे यहां बुलडोजर से अतिक्रमण हटाया गया. नलहड़ शिवमंदिर के पीछे वनविभाग की लगभग पांच एकड़ भूमि पर लोगों द्वारा अतिक्रमण किया गया है, जिसे धराशायी किया गया. इस दौरान भारी संख्या में पुलिस भी तैनात थी.
इसी प्रकार, पुन्हाना में वन विभाग की छह एकड़ भूमि और अवैध रूप से बने एक मकान को धराशायी किया गया. नगीना के एमसी क्षेत्र में पड़ने वाले धोबी घाट में भी एक एकड़ भूमि को खाली करवाया गया. वहीं, नांगल मुबारकपुर में दो एकड़ भूमि पर बने अस्थाई शेड और वहां बने अवैध कब्जे को हटाया गया.
शोभायात्रा पर पथराव के बाद हुई थी हिंसा
हरियाणा के मेवात-नूंह में 31 जुलाई को बृजमंडल यात्रा निकाली गई थी. इसी दौरान यात्रा पर पथराव हो गया था. देखते ही देखते यह दो समुदायों में हिंसा में बदल गई. सैकड़ों कारों को आग लगा दी गई. साइबर थाने पर भी हमला किया गया. उपद्रवियों ने पुलिसकर्मियों पर भी हमला किया था. नूंह के बाद सोहना में भी पथराव और फायरिंग हुई. वाहनों को आग के हवाले कर दिया गया. इसके बाद हिंसा की आग नूंह से फरीदाबाद-गुरुग्राम तक फैल गई. नूंह हिंसा में दो होमगार्ड समेत 6 लोगों की मौत हुई है.
5 जिलों में दर्ज हुईं 93 FIR
हरियाणा में हुई हिंसा में अब तक 5 जिलों में 93 FIR दर्ज की गई हैं. 176 लोगों की गिरफ्तारी हुई है. अकेले नूंह में 46 FIR दर्ज हैं. सोमवार को नूंह में निकाली गई शोभायात्रा पर पथराव के बाद ही दो समुदायों में हिंसा फैली थी. नूंह के अलावा फरीदाबाद में 3, गुरुग्राम में 23, पलवल में 18, रेवाड़ी में 3 FIR दर्ज की गई हैं. पुलिस ने सोशल मीडिया पर प्रसारित किए गए 2300 वीडियो की पहचान की है. पुलिस का मानना है कि इन्हीं वीडियो ने हिंसा को उकसाने में अहम भूमिका निभाई.