सोशल मीडिया इन्फ्लुएंसर और कर्ली टेल्स (Curly Tales) की फाउंडर कामिया जानी (Kamiya Jani) के जगन्नाथ मंदिर में प्रवेश को लेकर विवाद शनिवार को और तेज हो गया, जब विकांग्रेस भी इसमें शामिल हो गई. एक स्थानीय सांस्कृतिक संगठन ने भक्तों की धार्मिक भावनाओं को आहत करने वाले लोगों के खिलाफ कार्रवाई की मांग करते हुए भुवनेश्वर में विरोध प्रदर्शन किया. भाजपा ने कामिया को 'बीफ समर्थक' बताते हुए जगन्नाथ मंदिर में उनके प्रवेश का विरोध किया था, उसके बाद से ही इस मुद्दे ने तूल पकड़ लिया है.
मामले ने तब राजनीतिक मोड़ ले लिया जब BJP ने पूर्व आईएएस और बीजद नेता वीके पांडियन पर आरोप लगाया कि उन्होंने कामिया जानी को जगन्नाथ मंदिर में प्रवेश करने और वीडियो शूट करने की अनुमति दिलाने में मदद की. इस मामले में सत्तारूढ़ बीजद ने वीके पांडियन और कर्ली टेल्स फाउंडर का बचाव किया है. बीजेडी सांसद मानस मंगराज ने शुक्रवार को पूछा कि जगन्नाथ मंदिर पर जानी का काम गलत कैसे हो गया, जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने अयोध्या के राम मंदिर, उज्जैन के महाकाल मंदिर और चार धाम पर उनके वीडियो की सराहना कर चुके हैं.
गिरिराज सिंह और धर्मेंद्र प्रधान ने क्या कहा?
केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने शुक्रवार को वीके पांडियन और कामिया जानी पर 12वीं सदी के मंदिर की पवित्रता भंग करने का आरोप लगाया. उन्होंने जिम्मेदार लोगों के खिलाफ तत्काल और सख्त कार्रवाई की मांग करते हुए एक्स पर लिखा, 'पूज्य मंदिर में एक गोमांस प्रचारक को प्रवेश की सुविधा देकर वीके पांडियन ने धर्म, इतिहास और आध्यात्मिकता के प्रति अत्यधिक उपेक्षा दिखाई है'.
शनिवार को भुवनेश्वर में मौजूद केंद्रीय मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने एक्स पर जारी एक बयान में कहा, 'भगवान जगन्नाथ सभी ओडिशा वासियों और सनातनियों के लिए आस्था का केंद्र हैं. इसलिए, जाने-अनजाने लोगों की भावनाओं को ठेस पहुंचाने वाला कोई भी कार्य नहीं किया जाना चाहिए. किसी को भी ओडिशा वासियों के भगवान के प्रति अटूट प्रेम, भक्ति और श्रद्धा के साथ खिलवाड़ नहीं करना चाहिए'. उन्होंने अपने बयान में कामिया जानी का नाम लेने से परहेज किया.
बीजेडी सांसद ने आरोपों पर दिया जवाब
प्रधान के बयान पर बीजेडी के राज्यसभा सांसद मानस मंगराज ने तुरंत प्रतिक्रिया दी और उनके एक्स पोस्ट पर टिप्पणी करते हुए लिखा, 'धर्मेंद्र प्रधान भाई आपने देर से ही सही, लेकिन उचित बात कही है. महाप्रभु जगन्नाथ ओडिशा और अन्य राज्यों के भक्तों की आध्यात्मिकता का केंद्र हैं. आपने ये भी देखा होगा कि गत दो-तीन दिनों से आपकी पार्टी के कुछ नेताओं ने ओडिशा और हमारे पवित्र धर्मस्थल को बदनाम करने की कोशिश की. महिला सोशल मीडिया इन्फ्लुएंसर को पहले केंद्र सरकार द्वारा देश के हिंदू मंदिरों की विरासत और संस्कृति को बढ़ावा देने के लिए नियुक्त किया गया था'.
उन्होंने आगे लिखा, 'हालांकि, जब उन्होंने जगन्नाथ हेरिटेज कॉरिडोर प्रोजेक्ट पर एक वीडियो बनाया, तो तुरंत आपके नेताओं ने फेक न्यूज और फर्जी वीडियो के जरिए उन्हें बदनाम करने की कोशिश की. अगर कामिया जानी का राम मंदिर को प्रमोट करना सही है तो फिर जगन्नाथ हेरिटेज कॉरिडोर प्रोजेक्ट को लेकर वीडियो बनाने में क्या दिक्कत है? मुझे उम्मीद है कि आप ओडिशा के भाजपा नेताओं के खिलाफ कार्रवाई करेंगे जिन्होंने फर्जी खबरों के माध्यम से लोगों की भावनाओं के साथ खिलवाड़ किया है'.
A few simple questions to Dharmendra Bhai @dpradhanbjp :
— Manas Mangaraj (@manasrmangaraj) December 22, 2023
BJP Govt under Hon’ble PM Shri @narendramodi and Hon’ble Home Minister Shri @AmitShah , have appointed Kamiya Jani to do films on Hindu heritage and temples. She has gone to Chardham and Ayodhya Ram Temple to see Ram… pic.twitter.com/nZ0wtioBjk
इस बीच, कांग्रेस भी इस विवाद में कूद गई है. ओडिशा प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष शरत पटनायक और पार्टी की अभियान समिति के अध्यक्ष बिजय पटनायक ने पूछा कि कामिया जानी को मंदिर के अंदर ले जाने के लिए वीके पांडियन को किसने कहा था? कांग्रेस नेताओं ने कहा, 'अगर मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने इस संबंध में कोई निर्देश जारी किए थे, तो उन्हें ओडिशा के लोगों से माफी मांगनी चाहिए'. मामले के तूल पकड़ने पर कामिया जानी ने गुरुवार को एक सोशल मीडिया पोस्ट में अपनी जगन्नाथ मंदिर यात्रा का बचाव किया था.
कर्ली टेल्स फाउंडर ने जारी किया बयान
उन्होंने अपनी पोस्ट में लिखा था, 'एक भारतीय के रूप में, मेरा मिशन भारतीय संस्कृति और विरासत को दुनिया भर में ले जाना है. मैं भारत के सभी ज्योतिर्लिंगों और चार धामों का दौरा कर चुकी हूं और यह मेरे लिए सौभाग्य की बात है. जब मेरी नींद खुली तो अखबार में यह अजीब समाचार पढ़ा, जिसमें मेरी जगन्नाथ मंदिर की यात्रा पर सवाल उठाया गया था. ऐसा नहीं है कि किसी ने मुझसे संपर्क किया है, लेकिन मैं सिर्फ यह स्पष्ट करना चाहती हूं कि मैं बीफ नहीं खाती हूं और न ही मैंने कभी बीफ खाया है. जय जगन्नाथ'.
कामिया जानी के इस वीडियो में क्या है?
इसके अलावा, श्री जगन्नाथ मंदिर प्रशासन (SJTA) ने भी एक बयान जारी कर कहा कि मंदिर के अंदर किसी भी वीडियो कैमरे की अनुमति नहीं थी, जैसा कि आरोप लगाया गया है. यदि मंदिर के अंदर कैमरे के उपयोग को साबित करने वाला कोई सबूत है तो एसजेटीए कार्रवाई करेगा. कामिया जानी के जिस वीडियो पर विवाद छिड़ा है, उसमें जगन्नाथ संस्कृति पर प्रकाश डाला गया है और वीके पांडियन को 'महाप्रसाद' के महत्व, चल रहे हेरिटेज कॉरिडोर प्रोजेक्ट और मंदिर के विकास से जुड़े अन्य पहलुओं पर बोलते हुए दिखाया गया है. कोरापुट की अपनी यात्रा के दौरान, वीके पांडियन ने इस मुद्दे पर टिप्पणी करने से इनकार कर दिया और 'जय जगन्नाथ' कहकर सवालों को टाल दिया.