संसद के चालू बजट सत्र के पहले हाफ की कार्यवाही का आज अंतिम दिन है. आज लोकसभा में जगदंबिका पाल की अगुवाई वाली संयुक्त संसदीय समिति (जेपीसी) की रिपोर्ट पेश हो गई है. विपक्ष के हंगामे के बीच जेपीसी रिपोर्ट पेश हुई. इससे पहले, राज्यसभा में बीजेपी सांसद मेधा विश्राम कुलकर्णी ने वक्फ पर जेपीसी रिपोर्ट पेश किया था. विपक्षी सदस्यों ने वक्फ बिल को वापस लेने की मांग करते हुए इसे अल्पसंख्यकों के अधिकारों पर हमला बताया है.
राज्यसभा में बजट पर हुई चर्चा का वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने जवाब दिया. वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण का जवाब पूरा होने के बाद सदन की कार्यवाही 10 मार्च, सोमवार को दिन में 11 बजे तक के लिए स्थगित कर दी गई.
जेपी नड्डा ने कहा कि हम लोग बचन से सुनते आए थे कि जो टीम हारने लगती है वह विकेट उखाड़कर चल देती है. हमने 90 वक्ताओं को सुना और वित्त मंत्री ने तैयारी कर जवाब तैयार किया. एक-एक पॉइंट पर जवाब दे रही हैं, तब ये अपना ही विकेट उखाड़कर चल दिए. उन्होंने वित्त मंत्री के जवाब के दौरान सुने बिना सदन से विपक्ष के वॉकआउट को संसदीय परंपरा के खिलाफ बताया.
वित्त मंत्री के बयान पर डेरेक ओ'ब्रायन ने पॉइंट ऑफ ऑर्डर रेज किया और कहा कि बिना प्री नोटिस के किसी भी राज्य सरकार के खिलाफ डेरिगेट्री स्टेटमेंट नहीं दे सकते. उन्होंने मनरेगा के 7000 करोड़ बकाया को लेकर सवाल किया. इसके बाद नेता सदन जेपी नड्डा ने कहा कि इसमें कुछ भी किसी राज्य सरकार के खिलाफ डेरिगेट्री नहीं है. भारत सरकार किस तरह से राज्यों को अधिक न्याय दे रही है, वित्त मंत्री ये बता रही हैं कि किस तरह से पश्चिम बंगाल की भ्रष्ट सरकार चल रही है. नड्डा के बयान के बाद टीएमसी सांसदों ने हंगामा कर दिया. नड्डा ने इस पर कहा कि इनके पास पश्चिम बंगाल की जनता के लिए कोई जवाब नहीं है. ये अपनी नेता ममता बनर्जी को जवाब देने के लिए ये सब कर रहे हैं. विपक्ष ने इसके बाद वॉकआउट कर दिया.
वित्त मंत्री ने पश्चिम बंगाल की अनदेखी के आरोप के जवाब में पीएम ग्रामीण आवास योजना के क्रियान्वयन और मनरेगा में गड़बड़ी का उल्लेख किया और अन्य राज्यों के आवंटन का जिक्र करते हुए कहा कि गजेंद्र सिंह शेखावत ने जवाब में कहा था कि हमने चार बार सरकार से संपर्क किया लेकिन सरकार की ओर से कोई प्रस्ताव नहीं भेजा गया.
राघव चड्ढा के सवाल का जवाब देते हुए वित्त मंत्री ने कहा कि कृपया सदन को गुमराह ना करें. 12 लाख के बाद हर रुपये के लिए टैक्स नहीं देना है. 12 लाख 10 हजार रुपये की आमदनी पर बिना मार्जिनल रिलीफ के 61 हजार टैक्स देना होता. लेकिन व्यक्ति को महज 10 हजार टैक्स देना होगा. यदि कोई व्यक्ति 12.50 लाख कमाता है तो उसे केवल 50 हजार ही देना होगा. 12.75 लाख की इनकम पर 70 हजार टैक्स देना होगा. उन्होंने आंकड़े देकर टैक्स का गणित बताया. राघव चड्ढा चार्टर्ड अकाउंटेंट हैं, मुझे पहले नहीं पता था. वित्त मंत्री ने केरल में 2014 से केंद्र की परियोजनाएं भी गिनाईं.
जया बच्चन ने फिल्म इंडस्ट्री के उपेक्षा के आरोप पर कहा कि एंटरटेनमेंट टैक्स पहले राज्य सरकारें लगाती थीं जो अब जीएसटी में है. लोकल बॉडीज लेवी वसूलती हैं. ये केंद्र का मामला नहीं है. जीएसटी के पहले एंटरटेनमेंट से पहले 38 फीसदी तक टैक्स था. कुछ राज्यों में सौ फीसदी तक टैक्स था. सर्विस और फूड बेवरेज पर जीएसटी पांच परसेंट है. जीएसटी काउंसिल की कई बैठकों में मूवी टिकट पर जीएसटी कम करने के संबंध में चर्चा हुई. सौ रुपये से कम के टिकट पर 12 फीसदी, सौ से अधिक के टिकट पर जीएसटी 18 परसेंट कर दी गई. हम पहले ही जीएसटी कम कर चुके हैं. हम मूवी स्टार्स के साथ फोटो खिंचाने में नहीं, काम करने में यकीन करते हैं. 4 मई को मुंबई में पहला ऑडियो विजुअल ग्लोबल समिट का आयोजन होने जा रहा है. हम भूले नहीं है, हम देश को ऊपर लेकर आ रहे हैं. हम सिंगल विंडो क्लियरेंस दे रहे हैं. उन्होंने कंगना रनौत के खिलाफ एमवीए सरकार के समय डिमोलेशन का जिक्र करते हुए कहा कि जया बच्चन जी को अपने सहयोगी दलों से सवाल पूछना चाहिए. हृदयनाथ मंगेशकर को ऑल इंडिया रेडियो से बाहर किए जाने से लेकर देवानंद को धमकी, मजरूह सुल्तानपुरी की गिरफ्तारी तक का जिक्र कर कहा कि जया बच्चन जी को फिल्म इंडस्ट्री की बड़ी चिंता है. वित्त मंत्री ने कहा कि जया बच्चन को बड़ी चिंता है कि हर चीज महंगी है. आप एक शब्द बोलकर नहीं जा सकते. मैं हर चीज गिनाऊंगी जो हम कर रहे हैं. लोगों ने फिल्में देखना बंद नहीं किया है. लोग ओटीटी देख रहे हैं. ओटीटी मार्केट 12.5 बिलियन डॉलर को हिट जाएगा 2030 तक. फिल्म इंडस्ट्री मुश्किल में नहीं है.
वित्त मंत्री ने कहा कि कैपिटल एक्सपेंडिचर में कोई कटौती नहीं की गई है. जीडीपी का 3.1 परसेंट कैपिटल एक्सपेंडिचर के लिए है तो हमने कटौती कहां की है. उनकी इस चिंता का स्वागत करती हूं. कांग्रेस की सरकार वाले राज्यों से भी ये कहें कि कैपिटल एक्सपेंडिचर पर खर्च करें. उन्होंने कहा कि यूपीए के समय में कैपिटल एक्सपेंडिचर 31 परसेंट था जब अटल बिहारी वाजपेयी जी की सरकार थी. यूपीए सरकार में ये 16 परसेंट आ गया था. भारत की जनता ने इन्हें सरकार से गेट आउट कहा, गवर्नेंस से गेट आउट कहा, 1947 में महात्मा गांधी ने पॉलिटिक्स से गेट आउट होने को कहा. तीन हजार से ज्यादा प्रावधान हमने क्रिमिनल अफेंस से बाहर किए. हमने एंजेल टैक्स खत्म किया. वित्त मंत्री ने कहा कि 1991 में क्या हुआ जब भारत की इकोनॉमी खुली थी. छह महीने में ही रिफॉर्म्स भूल गए. मिशन था. जब अटल बिहारी वाजपेयी सत्ता में आए तब रिफॉर्म्स शुरू हुए. उसी विजनरी सरकार में वित्त मंत्री ने इस्तीफा दिया था. उन्होंने खुद से दिया था या उनसे रिजाइन लिया गया था.
वित्त मंत्री ने पी चिदंबरम और अन्य सदस्यों की ओर से एक लाख करोड़ की टैक्स रिलीफ को लेकर उठाए गए सवालों का जवाब देते हुए कहा कि ये नंबर ऐसे ही नहीं दे दिया गया. ये रियलिस्टिक है, कोई कैलकुलेशन एरर नहीं है. उन्होंने अलग-अलग कैटेगरी में टैक्स रेट के आंकड़े भी गिनाए. वित्त मंत्री ने पी चिदंबरम की ओर से टैक्स कंसेशन दिए जाने के बाद 11 परसेंट से अधिक के ग्रोथ को लेकर टिप्पणी का जवाब देते हुए कहा कि ये प्योर मैथेमैटिक्स है. ये मैजिक नहीं, प्योर मैथेमैटिक्स है. टैक्स कट का फायदा अमीर वर्ग को मिलने से जुड़े सवाल को गलत बताते हुए वित्त मंत्री ने आंकड़े भी सदन में दिए.
वित्त मंत्री ने एपी रिऑर्गगेनाइजेशन एक्ट को लेकर सवाल पर कहा कि इस एक्ट के समय तेलंगाना में रेवेन्यू सरप्लस था. उन्होंने तेलंगाना में स्वच्छ भारत योजना से जन औषधि केंद्र तक, केंद्र के काम गिनाए और कहा कि तेलंगाना के नौ पिछड़े जिलों के लिए 450 करोड़ रुपये हर जिले के लिए छह किश्तों में दिए गए. मेडक जिले से इंदिरा गांधी चुनाव जीती थीं और वहां पहला स्टेशन मोदीजी ने दिया. प्रधानमंत्री मोदी की सरकार में किसी राज्य को अनदेखा नहीं किया गया है. टरमरिक बोर्ड मोदी सरकार ने बनाया. भावनात्मक मुद्दों को उठाते रहने की बजाय हम उन पर काम करते हैं.
वित्त मंत्री ने डॉलर के मुकाबले रुपये की कीमत में गिरावट को लेकर कहा कि इसकी कई वजहें हैं. दुनिया के कई देशों की करेंसी गिरी है, केवल भारतीय रुपया ही नहीं. कोरियन, इंडोनेशियन समेत मेजर एशियन करेंसीज में भी गिरावट आई है. यूरो, ब्रिटिश पाउंड, जापानीज करेंसी में भी डॉलर के मुकाबले गिरावट आई है. उन्होंने एक्सटर्नल अफेयर्स बजट में कमी को लेकर चिदंबरम के सवाल पर विदेश मंत्रालय के बजट से जुड़े आंकड़े गिनाते हुए कहा कि एक्सिम बैंक के पेमेंट के लिए भी पैसे थे जो गारंटी के रूप में दिए जा रहे थे. हमें इस बार ये नहीं देना पड़ा. बैड डेब्ट की वजह से हमें गारंटी देकर सपोर्ट करना पड़ता था. ये अमाउंट इस बार नहीं देना पड़ा है. विदेश मंत्रालय के बजट में कोई कटौती नहीं की गई है. वित्त मंत्री ने फूड सब्सिडी को लेकर सवाल पर कहा कि 2025-26 के लिए रियलिस्टिक अप्रोच अपनाई गई है. फूड सब्सिडी बढ़कर अब 1.68 लाख करोड़ हो गई है. कोई कटौती नहीं की गई है. बिहार बोनांजा बजट के आरोप पर वित्त मंत्री ने विपक्ष की सरकार वाले राज्यों में केंद्र सरकार की परियोजनाएं गिनाईं.
वित्त मंत्री ने पीएलएफएस के आंकड़ों का जिक्र कर बेरोजगारी दर पर चिदंबरम के सवाल का जवाब देते हुए कहा कि सब अलग लॉट्स हैं. कुल आबादी में बेरोजगारी की दर 3.2 फीसदी है. पूर्व वित्त मंत्री ने न्यू एम्प्लॉयमेंट जेनरेशन स्कीम और प्रधानमंत्री एम्प्लॉयमेंट जेनरेशन प्रोग्राम को लेकर भी सवाल किया था. ये दोनों योजनाएं अलग हैं. वित्त मंत्री ने दोनों योजनाओं के बीच का अंतर भी बताया और महंगाई को लेकर सवालों के जवाब भी दिए. उन्होंने कहा कि कल जो डेटा जारी हुआ है, उसमें सीपीआई 5.22 फीसदी से गिरकर 4.2 फीसदी आ गया है. टैरिफ फ्री आयात की वजह से फूड इंफ्लेशन में भी कमी आई है.
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण राज्यसभा में बजट पर हुई चर्चा का जवाब दे रही हैं. वित्त मंत्री ने कहा कि हमने किसी भी सेक्टर के आवंटन में कटौती नहीं की है. राज्यों के आवंटन में 2023-24 के मुकाबले 4.6 फीसदी का इजाफा हुआ है. उन्होंने कहा कि 2009 के आर्थिक संकट को जिस तरह से हैंडल किया गया, भारतीय अर्थव्यवस्था फ्रेजाइल फाइव में शामिल हो गई. कोरोना के बाद जिस तरह से सरकार ने हैंडल किया, वह देश को फ्रेजाइल फाइव से बाहर लेकर आई. देश के हर नागरिक को करदाताओं का पैसा कैसे खर्च हो रहा है, इसे लेकर चिंता है.
केंद्रीय मंत्री रामदास अठावले ने कहा- 2025-26 का ये नहीं है खाली बजट, ये है विकास का आईना, ये बजट सुनकर परेशान हो जाएगा चाइना. खड़गे जी मत छेड़ो मोदीजी के नैना, नहीं तो 2029 में भी हो जाएगा आपका रैना. बजट से खुश है मैन कॉमन, क्योंकि इसे पेश किया है हमारी वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण. अब तो टूट रहा है विपक्षी दल, मोदीजी के हाथ में है कल, हर घर में पहुंच रहा है नल से जल, मोदीजी ही निकाल सकते हैं समस्या का हल. ये बजट कोई भी पार्टी का आदमी हो, सबके लिए है. कर्नाटक के लिए भी है, मध्य प्रदेश के लिए भी है, पश्चिम बंगाल के लिए भी है. इस बजट से जाग गई है गांव-गांव की गल्ली, बिना मतलब मत उड़ाओ हमारे बजट की खिल्ली, इस बजट से हो रही है मोदीजी की बल्ली-बल्ली, टूट रही है विपक्ष की कल्ली. पूरे देश की बोल रही है दादी, बहुत ही अच्छे हैं प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी. रामदास अठावले की शायरी पर सदन में उनके पास बैठे सांसद भी मुस्कराते नजर आए.
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राज्यसभा में बजट पर चर्चा जारी है. संसद के चालू बजट सत्र के पहले हाफ की कार्यवाही का आज अंतिम दिन है. राज्यसभा में बजट पर हुई चर्चा का आज वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण जवाब देंगी.
स्पीकर ओम बिरला ने कहा कि राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा में 173 सदस्यों ने सहभागिता की. बजट पर चर्चा में 170 सदस्य शामिल हुए. स्पीकर ने सदन की कार्यवाही 10 मार्च की सुबह 11 बजे तक के लिए स्थगित करने की घोषणा कर दी.
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने न्यू इनकम टैक्स बिल 2025 लोकसभा में पेश कर दिया है. विपक्ष के हंगामे के बीच पेश होते ही इस बिल को सेलेक्ट कमेटी को भेज दिया गया. वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने इनकम टैक्स बिल सेलेक्ट कमेटी को भेजने का प्रस्ताव रखा और यह प्रस्ताव रखा कि स्पीकर कमेटी गठित करेंगे. सेलेक्ट कमेटी अपनी रिपोर्ट अगले सत्र के पहले दिन सौंपेगी.
लोकसभा में आयकर बिल 2025 पेश हो गया है. वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने यह बिल पेश किया. उन्होंने इस बिल को इंट्रोड्यूस करते हुए कहा कि आयकर बिल में 4000 से अधिक संशोधन किए गए थे. वित्त मंत्री ने न्यू आयकर बिल को लेकर मनीष तिवारी, प्रोफेसर सौगत रॉय की ओर से उठाए गए सवालों के भी जवाब दिए.
गृह मंत्री अमित शाह ने विपक्ष की ओर से लगाए गए डिसेंट नोट्स हटाए जाने के आरोप पर कहा कि आपको जो भी जोड़ना है, जोड़िए. हमारी पार्टी को कोई आपत्ति नहीं है. स्पीकर ओम बिरला ने कहा कि इसे लेकर कुछ सदस्य हमसे मिले थे. उनके डिसेंट नोट्स को एनेक्सर में शामिल कर लिया गया है. विपक्ष के सदस्य वेल में आकर नारेबाजी कर रहे हैं.
वक्फ बिल पर जेपीसी रिपोर्ट लोकसभा में भी पेश हो गई है. जगदंबिका पाल ने भारत माता की जय के नारों के बीच जेपीसी रिपोर्ट पेश किया.
लोकसभा की कार्यवाही शुरू हो गई है. सदस्य अपने नाम के आगे अंकित पत्र सभा पटल पर रख रहे हैं. स्पीकर ओम बिरला ने कहा कि जीरो ऑवर चलाता, आपने प्रश्नकाल चलने दिया होता तो. आपने प्रश्नकाल नहीं चलने दिया तो हमने कहा कि जीरो ऑवर भी नहीं चलाएंगे. कुछ आदत बैठने की भी रखो.
वक्फ बिल पर जेपीसी की रिपोर्ट दो बजे लोकसभा में पेश होगी. सुबह सदन की कार्यवाही शुरू होते ही विपक्ष ने इसे लेकर हंगामा कर दिया था. हंगामे के कारण प्रश्नकाल की कार्यवाही नहीं चल सकी और स्पीकर ओम बिरला ने सदन की कार्यवाही दो बजे तक के लिए स्थगित करने की घोषणा कर दी थी.
बजट पर चर्चा के दौरान बीजेडी सांसद डॉक्टर सस्मित पात्रा ने राज्यसभा में ओडिशा को स्पेशल स्टेटस दिए जाने की मांग की. उन्होंने कहा कि पिछले दो दशक से नवीन पटनायक स्पेशल स्टेटस की डिमांड करते रहे हैं. उन्होंने ओडिशा को स्पेशल स्टेटस की डिमांड करते हुए कहा कि यह बजट केवल कुछ (राज्यों) के लिए है और बाकी को अनदेखा किया गया है.
राज्सभा में बजट पर चर्चा शुरू हो गई है. दर्शना सिंह ने आज बजट पर चर्चा की शुरुआत करते हुए 11 फरवरी को अधूरा रह गया अपना भाषण आज पूरा किया. इसके बाद कांग्रेस के राज्यसभा सांसद इमरान प्रतापगढ़ी ने अल्पसंख्यक बजट में कटौती का मुद्दा उठाते हुए सरकार को घेरा. उन्होंने पूछा कि ऐसा करके किसका संतुष्टिकरण किया गया है. उन्होंने मनरेगा के बजट में भी इजाफा किए जाने की मांग की.
सभापति जगदीप धनखड़ ने कहा कि जब भी कोई बड़ा बदलाव होता है तब इस तरह की चीजें होती हैं. नौवीं लोकसभा का सदस्य था, तब मंडल कमीशन की रिपोर्ट लागू करने का प्रयास किया गया. इसके खिलाफ आंदोलन हुए और समय बदला. आज उससे अधिक आंदोलन हो रहा है कि हमें इसका लाभ मिलना चाहिए. वक्फ भी उसी दिशा में चल रहा है. जो लोग वेल में आए, इस प्रवृत्ति को गंभीरता से लिया है. आज भी अनदेखा नहीं किया है. इस विषय पर दरियादिली दिखाने का मतलब संविधान निर्माताओं का अपमान. तीन सदस्यों ने जो आचरण किया है, उस पर आज कार्यवाही समाप्त होने के पहले अगर सदन एक्शन न ले तो दूरगामी परिणाम होगा. राष्ट्रहित के खिलाफ संख्या जो भी हो, फर्क नहीं पड़ता, एक्शन होना चाहिए.जो कदम विधिमत उठाने चाहिए, उसी तरीके से संपादित हो. इसकी प्रक्रिया कैसे चलती है, इसकी जानकारी सभी को है.
जेपी नड्डा ने विपक्ष के वॉकआउट पर कहा कि आज सुबह से आपने पूरी तत्परता के साथ विपक्ष को पूरा मौका दिया और ये चाहा कि उनकी चिंताएं चर्चा में आएं. कुछ सदस्यों ने नियमों को तोड़ा भी, उस पर भी आपने दरियादिली दिखाते हुए प्रयास किया कि कोई एक्शन न हो. विपक्ष का उद्देश्य चर्चा करना नहीं, अपना पॉइंट स्कोर करने का था. संसदीय कार्य मंत्री ने बड़े स्पष्ट शब्दों में कहा कि कुछ भी डिलीट नहीं किया गया और सबकुछ है. हमारे एक मंत्री ने स्पष्ट भी किया कि चेयरमैन को अधिकार है कि वह भी कुछ डिलीट कर सकता है. ये तुष्टिकरण की राजनीति है. कुछ लोग देश को तोड़ने का प्रयास कर रहे हैं, कुछ लोग भारत स्टेट के खिलाफ लड़ाई लड़ रहे हैं. जो लोग देश को खंडित करने का काम कर रहे हैं, उनका हाथ मजबूत करने का काम कांग्रेस कर रही है.
कांग्रेस सांसद नासिर हुसैन ने कहा कि अल्पसंख्यक मामलों के मंत्री सदन को गुमराह कर रहे हैं. मेरा ही डिसेंट नोट्स था, जो रिपोर्ट में नहीं है. ये पब्लिक डोमेन में है. इसे ऑथेंटिकेट कर दूंगा. ये रिपोर्ट फर्जी है, इनको वापस करना चाहिए. टीएमसी सांसद साकेत हुसैन ने कहा कि ये धर्म से जुड़ा नहीं, संविधान से जुड़ा मामला है. डिसेंट नोट्स जो हैं भी, उनको आधा-आधा कम कर दिया गया है. ये असंवैधानिक है. ये सेंशरशिप है. इसके जवाब में किरेन रिजिजू ने कहा कि जब जेपीसी की रिपोर्ट टेबल होती है, अगर उसमें कुछ खामियां हैं तो चर्चा नहीं होती है. चर्चा का समय बाद में आएगा. जब जेपीसी की रिपोर्ट टेबल हुई तो कुछ सदस्यों ने आपत्ति की कि कुछ पार्ट्स काट दिया गया. मैंने बाहर जाकर चेयरमैन साहब से बात की. रूल के मुताबिक जेपीसी रिपोर्ट पूरा का पूरा और एनेक्सर को भी कोई काटा-काटी न करके पूरा का पूरा टेबल किया गया है. अगर इन लोगों को कोई आपत्ति है तो ये चर्चा का मौका नहीं है. आज तो रिपोर्ट का अध्ययन करने का जरिया है. कहा गया कि अच्छे से सुनवाई नहीं हुई और थोड़ा टाइम दिया जाना चाहिए था. जितनी जिम्मेदारी से अच्छा काम इस जेपीसी ने किया है, उतना अच्छा काम किसी जेपीसी ने नहीं किया.
संसदीय कार्य मंत्री किरेन रिजिजू ने कहा इस बिल में सारी चीजें हैं. कुछ भी डिलीट नहीं किया गया है. उन्होंने कहा कि विपक्ष सदन को गुमराह न करे. रिपोर्ट नियमों के मुताबिक ही तैयार की गई है. विपक्ष के सारे आरोप झूठ हैं. संसदीय कार्य मंत्री ने कहा कि विपक्ष गैरजरूरी मुद्दा उठा रहा है. वक्फ संशोधन बिल जिस मंत्रालय से संबंधित है, वह अल्पसंख्यक मामले मंत्रालय मेरे ही पास है.
जेपीसी के सदस्य रहे संजय सिंह ने कहा कि हमने अपना पक्ष रखा. हमारे पक्ष से आप सहमत-असहमत हो सकते हैं लेकिन उसको कूड़ेदान में कैसे डाल सकते हैं. आज आप वक्फ की संपत्तियों पर कब्जा कर रहे हैं. कल आप गुरुद्वारा, चर्च और मंदिर की करेंगे. तिरुचि शिवा ने कहा कि जो सदस्य कमेटी में होते हैं, उनकी असहमति को लेकर डिसेंट नोट के साथ रिपोर्ट का नियम है. इसमें इसका पालन नहीं किया गया.
सभापति जगदीप धनखड़ ने कहा कि जब सोनिया गांधी जी को बोलना था, तब मैंने सुनिश्चित किया कि सत्ता पक्ष की ओर भी पिन ड्रॉप साइलेंस रहे. हर मेंबर के बोलने पर मेरी यही कोशिश रहती है. विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि आपकी सलाह हम मानते हैं. यही तरीका उधर वाले भी मान गए तो हम समझते हैं कि नड्डा साहब अपने सदस्यों को बड़ा कंट्रोल में रखा है. मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि वक्फ बिल पर हमारे अनेक सदस्यों ने डिसेंट नोट्स दिए हैं. उनको प्रॉसीडिंग से निकालना अलोकतांत्रिक है. जितने लोगों ने डिसेंट नोट्स दिए हैं, क्या उनमें से कोई पढ़ा-लिखा नहीं है. आपको उसे अपनी रिपोर्ट में डालकर बोलना चाहिए. उसको डिलीट करके आप रिपोर्ट दे रहे हैं. ऐसी फर्जी रिपोर्ट को हम नहीं मानते, सदन कभी नहीं मानेगा. आप डायरेक्शन दीजिए और सभी डिसेंट नोट्स को शामिल करके रिपोर्ट पेश कीजिए. जो स्टेकहोल्डर्स नहीं हैं, उनको बाहर से बुला-बुलाकर उनके व्यूज लिए गए. मेंबर्स एजिटेट क्यों होते हैं, वे अपने परिवार के लिए नहीं पूरे समाज के लिए परेशान होते हैं. ये संविधान के विरुद्ध ऐसी चीजें होती हैं तो ऐसे ही गड़बड़ होता है. लोग प्रोटेस्ट करते हैं. मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा नड्डा साहब पुराने नेताओं को सुनते हैं. आपका इंफ्लूएंस भी हैं. आप इसे जेपीसी को भेजिए और संवैधानिक तरीके से फिर लाइए, हम देखेंगे. उन्होंने सभापति जगदीप धनखड़ से कहा कि आप इस रिपोर्ट को रिफ्यूज भी कर सकते हैं. कई राज्यों के गवर्नर भी करते हैं.
राज्यसभा की कार्यवाही फिर से शुरू हो गई है. कार्यवाही दोबारा शुरू होते ही सभापति जगदीप धनखड़ ने सदन में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पारित करने को लेकर राष्ट्रपति का संदेश पढ़ा.
कांग्रेस सांसद इमरान मसूद ने कहा है कि मुसलमानों के खिलाफ नफरत का माहौल बनाया जा रहा है. वहीं, कांग्रेस के ही राज्यसभा सांसद इमरान प्रतापगढ़ी ने कहा है कि देश में अल्पसंख्यकों पर अत्याचार हो रहा है. उन्होंने कहा कि हम इस बिल के खिलाफ हैं. हमें संविधान के तहत जो अधिकार मिले हैं, ये उसके खिलाफ है. ये बिल इतिहास में काले अक्षरों में लिखा जाएगा. इमरान प्रतापगढ़ी ने कहा कि सरकार ने हमारे डिसेंट नोट्स भी हटा दिए हैं. अल्पसंख्यकों को टार्गेट करना इनका एजेंडा है.
राज्यसभा में भारी हंगामे के बीच जेपीसी रिपोर्ट राज्यसभा में पेश हो गई है. राज्यसभा में बीजेपी सांसद मेधा विश्राम कुलकर्णी ने यह बिल पेश किया. इस दौरान विपक्षी सदस्यों ने भारी हंगामा किया. विपक्ष के हंगामे के कारण सभापति जगदीप धनखड़ ने सदन की कार्यवाही 11 बजकर 20 मिनट तक के लिए स्थगित करने की घोषणा कर दी.
लोकसभा की कार्यवाही शुरू होते ही विपक्ष ने हंगामा कर दिया. विपक्षी सदस्य वक्फ बिल वापस लेने की मांग करते हुए वेल में आकर नारेबाजी कर रहे हैं. लोकसभा स्पीकर ओम बिरला ने विपक्षी सदस्यों से प्रश्नकाल की कार्यवाही चलने देने की अपील की. उन्होंने कहा कि जब बिल आएगा, तब देखेंगे. विपक्षी सदस्यों ने नारेबाजी जारी रखा जिसके बाद स्पीकर ने सदन की कार्यवाही दोपहर दो बजे तक के लिए स्थगित कर दी.
कांग्रेस सांसद गौरव गोगोई ने कहा है कि हमने जेपीसी में विचार-विमर्श के दौरान वक्फ बिल के मसौदे में गंभीर संवैधानिक खामियों, विसंगतियों को उजागर किया है. मुझे उम्मीद है कि सरकार गंभीरता से विचार करेगी. उन्होंने कहा कि इसकी गहराई में जाना होगा और बहुत तटस्थ दृष्टिकोण अपनाना होगा.
वक्फ बिल पर जेपीसी की अगुवाई कर रहे जगदंबिका पाल ने कहा है कि इस बिल पर बहुत चर्चा हुई है. सभी स्टेकहोल्डर्स के साथ बातचीत हुई. उन्होंने कहा कि पूरे देश से ब्यौरा लेकर रिपोर्ट तैयार की गई है. जगदंबिका पाल ने ये भी कहा है कि 14 क्लॉज में 25 संशोधन स्वीकार किए गे हैं. विपक्ष के आरोपों पर उन्होंने कहा कि कुछ लोग कहते हैं कि उनकी बात नहीं सुनी गई, ये गलत है. जगदंबिका पाल ने कहा कि मैंने तो नोट ऑफ डिसेंट भी मांगा था और सभी के नोट लगाए भी हैं.
वक्फ बिल लोकसभा में पेश होने के बाद संयुक्त संसदीय समिति (जेपीसी) को भेज दिया गया था. इस बिल की स्क्रूटनी के लिए बीजेपी सांसद जगदंबिका पाल की अगुवाई में जेपीसी गठित की गई थी. जगदंबिका पाल की अगुवाई वाली जेपीसी ने अपनी रिपोर्ट जनवरी महीने के अंत में ही लोकसभा स्पीकर ओम बिरला को सौंप दी थी. जगदंबिका पाल आज लोकसभा में जेपीसी की रिपोर्ट पेश करेंगे.