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संसद की सुरक्षा में चूक पर विपक्ष का हंगामा, TMC सांसद डेरेक ओ ब्रायन सस्पेंड

संसद की सुरक्षा में चूक को लेकर विपक्षी सांसदों ने दोनों सदनों में जमकर हंगामा किया. राज्यसभा में टीएमसी सांसद डेरेक ओ ब्रायन की नारेबाजी के बाद उन्हें सदन से सस्पेंड कर दिया गया. लोकसभा और राज्यसभा की कार्यवाही भी कई बार स्थगित हुई.

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टीएमसी के राज्यसभा सांसद डेरेक ओ ब्रायन राज्यसभा से सस्पेंड (फाइल फोटो)
टीएमसी के राज्यसभा सांसद डेरेक ओ ब्रायन राज्यसभा से सस्पेंड (फाइल फोटो)

संसद में सुरक्षा चूक को लेकर विपक्ष लगातार सरकार पर हमलावर है. विपक्ष के सांसद दोनों सदनों में हंगामा कर रहे हैं, जिसको देखते हुए दोनों सदनों की कार्यवाही बार-बार स्थगित हो रही है. वहीं राज्यसभा में हंगामा कर रहे टीएमसी सांसद डेरेक ओ ब्रायन को सदन से सस्पेंड कर दिया गया है. 

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राज्यसभा ने 'अपमानजनक व्यवहार' के लिए टीएमसी सांसद डेरेक ओ ब्रायन को शीतकालीन सत्र के बचे हुए भाग के लिए निलंबित करने का प्रस्ताव पारित किया है.  

राज्यसभा के सभापति के अनुसार, डेरेक ओ ब्रायन ने सदन के वेल में प्रवेश किया, नारे लगाए और सदन की कार्यवाही बाधित की. इसलिए उन्हें सत्र के बचे हुए दिनों के लिए निलंबित किया जाता है.  

लोकसभा में भी विपक्षी सांसदों का हंगामा

इससे पहले लोकसभा में भी विपक्षी सांसदों ने जमकर हंगामा किया और नारेबाजी भी की. इस दौरान लोकसभा स्पीकर ओम बिरला ने विपक्षी सांसदों से सदन में अराजकता न फैलाने की अपील की. उन्होंने कहा कि कल की जो घटना है, वो लोकसभा सचिवालय की जिम्मेदारी है. लोकसभा अध्यक्ष के नाते मेरी जिम्मेदारी है. मैं आपके साथ बैठकर चर्चा करूंगा. कल भी चर्चा की थी. फिर चर्चा करेंगे. इससे सरकार का कोई लेना देना नहीं है. ओम बिरला ने कहा, सचिवालय के काम में हस्तक्षेप नहीं करती सरकार, ना हम करने देंगे. 

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'सचिवालय के काम में हस्तक्षेप नहीं करती सरकार, ना हम करने देंगे,' विपक्ष के हंगामे पर लोकसभा स्पीकर ओम बिरला की दो टूक

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने की घटना की निंदा 

संसद की सुरक्षा में चूक को लेकर रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने भी लोकसभा में जवाब दिया था. उन्होंने कहा, कल की घटना की सबने निंदा की है. आपने (स्पीकर) तुरंत जांच के आदेश दिए. उन्होंने कहा, हम सभी सांसदों को सावधानी बरतने की जरूरत है कि हम ऐसे लोगों को पास न दें, जो भवन के अंदर अराजकता पैदा कर दे. आपने तुरंत संज्ञान लेकर जांच का आदेश दिए हैं. अन्य जो कदम उठाने चाहिए, वे भी उठाए जाएंगे. ताकि भविष्य में ऐसी घटना न हो. हमें घटना की निंदा करनी चाहिए. अब सदन के अंदर अराजक स्थिति पैदा करने का कोई औचित्य नहीं है. 

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