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संसद भवन के सेंट्रल हॉल में आज राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद का विदाई समारोह आयोजित किया गया. इस दौरान रामनाथ कोविंद ने कहा कि मैंने पूरी क्षमता के साथ कर्तव्यों को निभाया है. इसके अलावा उन्होंने सभी राजनीतिक पार्टियों को नसीहत भी दी और कहा कि पॉलिटिकल पार्टियों को दलगत राजनीति से ऊपर उठना चाहिए और जनता की भलाई के लिए काम करना चाहिए.
राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने कहा कि मैंने यहां सेंट्रल हॉल में भारत के राष्ट्रपति के रूप में शपथ ली थी. मेरे दिल में सभी सांसदों के लिए खास जगह है. मेरे लिए देश के सभी पूर्व राष्ट्रपति प्रेरणा का स्त्रोत रहे हैं. उन्होंने कहा कि संसद में कभी कभी मतभेद होते रहते हैं. विभिन्न दलों के अलग-अलग मत हो सकते हैं लेकिन हम निरंतर एक परिवार के रूप में काम करते रहते हैं.
रामनाथ कोविंद ने कहा कि जब पूरे देश को एक परिवार के रूप में देखते हैं तो पता चलता है कि किसी समस्या को सुलझाने के कई रास्ते हो सकते हैं जो शांति और सद्भाव पर आधारित होते हैं. नागरिकों को अपनी मांगों के लिए दबाव बनाने का अधिकार है लेकिन इसे शांतिपूर्ण तरीके से ही किया जाना चाहिए.
राष्ट्रपति कोविंद के विदाई समारोह में उपराष्ट्रपति एम वेंकैया नायडू, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला समेत कई सांसद मौजूद रहे. बता दें कि निर्वाचित राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू सोमवार को भारत के 15वें राष्ट्रपति के रूप में शपथ लेंगी. वह देश के सर्वोच्च संवैधानिक पद पर काबिज होने वाली पहली आदिवासी व्यक्ति होंगी.
इससे पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद के सम्मान में रात्रिभोज का आयोजन किया था. इस अवसर पर केंद्रीय मंत्रिमंडल के सदस्य, विभिन्न राज्यों के मुख्यमंत्री और अन्य गणमान्य व्यक्ति उपस्थित थे. रात्रिभोज में देश के सभी हिस्सों से अच्छा प्रतिनिधित्व था, जिसमें कई पद्म पुरस्कार विजेता और आदिवासी नेता शामिल थे.