खालिस्तान समर्थक और भगोड़े अमृतपाल सिंह को आखिरकार पंजाब पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है. पंजाब पुलिस ने रविवार को मोगा गुरुद्वारे से उसे गिरफ्तार किया. पंजाब पुलिस की ओर से ट्वीट कर इसकी जानकारी दी गई. पहले कहा जा रहा था कि अमृतपाल सिंह ने मोगा पुलिस के सामने देर रात सरेंडर किया है, लेकिन बाद में पंजाब पुलिस ने बताया कि अमृतपाल को गिरफ्तार किया गया है. बाद में पंजाब पुलिस उसे असम के डिब्रूगढ़ जेल में लेकर पहुंची.
अमृतपाल को लेकर डिब्रूगढ़ जेल पहुंची पुलिस
अमृतपाल सिंह को लेकर पंजाब पुलिस डिब्रूगढ़ जेल पहुंच गई है. पुलिस अमृतपाल को लेकर सुबह करीब 9 बजे बठिंडा एयरपोर्ट से स्पेशल विमान से रवाना हुई थी. अमृतपाल को असम की डिब्रूगढ़ जेल में ही रखा जाएगा. यहां पहले से ही अमृतपाल के सहयोगियों को रखा गया है.
आम आदमी पार्टी के संयोजक और दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल ने भी अमृतपाल की गिरफ्तारी पर प्रतिक्रिया दी है. केजरीवाल ने कहा, "पंजाब के अमन चैन और सुरक्षा के लिए हम वचनबद्ध हैं. इसके लिए कठोर निर्णय लेने को भी हम तैयार हैं. भगवंत मान ने इस मिशन को परिपक्वता और साहस से पूरा किया. बिना किसी रक्तपात और गोली चलाए पंजाब पुलिस ने कामयाबी हासिल की. इस दौरान शांति बनाए रखने और पंजाब सरकार का साथ देने के लिए जनता का बहुत बहुत शुक्रिया."
पंजाब के अमन चैन और सुरक्षा के लिए हम वचनबध है। इसके लिए कठोर निर्णय लेने को भी हम तैयार हैं
— Arvind Kejriwal (@ArvindKejriwal) April 23, 2023
CM @BhagwantMann साहिब ने इस मिशन को परिपक्वता और साहस से पूरा किया। बिना किसी रक्तपात और गोली चलाये पंजाब पुलिस ने कामयाबी हासिल की
इस दौरान शांति बनाये रखने और पंजाब सरकार का साथ देने… https://t.co/YXbKE4KDmG
सीएम बोले- नहीं चाहते थे खून खराबा
पंजाब पुलिस ने रविवार की सुबह भगोड़े अमृतपाल सिंह को गिरफ्तार कर लिया है. इसको लेकर पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने कहा कि कुछ लोग लॉ एंड ऑर्डर की स्थिति खराब करने की कोशिश कर रहे थे, हमने उनके खिलाफ एक्शन लिया है. सीएम ने कहा कि हम चाहते तो उस दिन भी पकड़ सकते थे, लेकिन नहीं चाहते थे कि कोई खून खराबा हो या गोलीबारी हो.
पंजाब सीएम ने कहा कि हम 18 मार्च से अमृतपाल को ढूंढ़ रहे थे. पुलिस ने बड़ी संयम के साथ काम किया और सूचना मिलते ही एक्शन लिया. अमृतपाल 35 दिन से फरार था. इस दौरान पंजाब में अमन-शांति कायम रही. हम एजेंडा पॉलिटिक्स नहीं करते हैं. पंजाब के भाईचारे पर हम आंच नहीं आने देंगे. इस दौरान सीएम ने कहा कि पंजाब के लोगों ने काले दिन देखे हैं, अब वैसी स्थिति नहीं होगी. अब पंजाब देश को लीड करेगा.
पंजाब की शांति भंग नहीं होने देगी AAP सरकार: संजय सिंह
आम आदमी पार्टी के राज्यसभा सांसद संजय सिंह ने अमृतपाल की गिरफ्तारी पर ट्वीट कर कहा कि आप सरकार किसी भी हालत में पंजाब में शांति भंग नहीं होने देगी. संजय सिंह ने ट्वीट किया, "पंजाब की “आप” सरकार किसी भी हालत में पंजाब की शांति भंग नहीं होने देगी. लोगों की सुरक्षा हमारे लिए सर्वोपरि है. हमने दिखा दिया कि ज़रूरत पड़ने पर लोगों के लिए हम सख़्त से सख़्त कदम लेने की भी हिम्मत रखते हैं. सब लोग शांति बनाये रखें."
अमृतपाल की गिरफ्तारी पर क्या बोली पंजाब पुलिस?
पंजाब पुलिस के आईजी सुखचैन सिंह गिल ने बताया कि आज सुबह पौने सात बजे अमृतपाल सिंह को गिरफ्तार किया गया. हमें इंटेलिजेंस मिला था कि वह गुरुद्वारा के अंदर मौजूद है, जिसके बाद पंजाब पुलिस और खुफिया एजेंसियों के संयुक्त ऑपरेशन में हमने पूरे गांव को घेर लिया था. हमने गुरुद्वारे की मर्यादा को ध्यान में रखते हुए इस ऑपरेशन को अंजाम दिया. अमृतपाल की गिरफ्तारी एनएसए के तहत हुई है.
पंजाब पुलिस की ओर से ट्वीट कर कहा गया, "अमृतपाल सिंह को पंजाब के मोगा से गिरफ्तार कर लिया गया है. पंजाब पुलिस आगे की जानकारी बाद में शेयर करेगी." इसके अलावा पंजाब पुलिस ने लोगों से अपील भी की है कि किसी भी तरह की अफवाह फैलाने से बचें.
इससे पहले पंजाब-हरियाणा हाई कोर्ट ने भी पंजाब पुलिस को फटकार लगाई थी कि जब उसके साथियों को पकड़ लिया गया तो अमृतपाल तक पुलिस कैसे नहीं पहुंच पाई. अब बताया जा रहा है कि अमृतपाल की गिरफ्तारी कर ली गई है. अमृतपाल बीते कई दिनों से फरार चल रहा था. उसने सोशल मीडिया के जरिए कई बार वीडियो भी जारी किए. कहा जा रहा था कि वो वैशाखी के मौके पर सरेंडर करेगा, लेकिन उसने सरेंडर नहीं किया. पंजाब पुलिस ने देशभर में नेपाल बॉर्डर तक ऑपरेशन चलाए. पंजाब पुलिस के कर्मचारियों की छुट्टियां रद्द कर दी गईं.
अमृतपाल का करीबी पप्पलप्रीत हो चुका गिरफ्तार
इससे पहले पंजाब पुलिस ने अमृतपाल के करीबी पप्पलप्रीत को अमृतसर से गिरफ्तार किया था. पंजाब पुलिस को उसने बयान दिया था कि उसे अमृतपाल के बारे में जानकारी नहीं है. उसने कहा, 'अमृतपाल आत्मसमर्पण करेगा या नहीं, ये मुझे नहीं पता है.' पप्पलप्रीत ने स्पष्ट किया कि हम 28 मार्च की रात को ही अलग हो गए थे. पप्पलप्रीत की गिरफ्तारी के बाद इसके चांस बढ़ गए थे कि अमृतपाल भी अब अधिक दिन नहीं रुकेगा और आत्मसमर्पण करेगा.
अमृतपाल पर क्यों हो रही कार्रवाई?
अमृतपाल सबसे पहले 23 फरवरी को चर्चा में आया था. उसने अजनाला पुलिस स्टेशन में अपने करीबी को छुड़ाने के लिए हजारों समर्थकों के साथ हमला बोल दिया था. इस हमले में 6 पुलिसकर्मी जख्मी हुए थे. इसके बाद उसने कई टीवी चैनलों में दिए इंटरव्यू में अलग खालिस्तान की मांग की थी. इतना ही नहीं अमृतपाल ने देश के गृह मंत्री अमित शाह को भी धमकी दी थी. अमृतपाल की तुलना खालिस्तानी आतंकी भिंडरावाले से भी की जा रही है.
अजनाला कांड के बाद पुलिस ने किया था क्रैकडाउन
23 फरवरी को अमृतपाल और उसके संगठन वारिस पंजाब दे से जुड़े लोगों ने अजनाला पुलिस थाने पर हमला कर दिया था. अमृतपाल और उसके समर्थकों के हाथ में तलवार, लाठी-डंडे थे. ये पूरा बवाल आठ घंटे तक चला था. ये बवाल अमृतपाल के समर्थक लवप्रीत तूफान की रिहाई को मांग को लेकर हुआ था. लवप्रीत तूफान को पुलिस ने बरिंदर सिंह नाम के शख्स को अगवा और मारपीट करने के आरोप में हिरासत में लिया था. हालांकि, बवाल के बाद पुलिस ने उसे छोड़ दिया था. 23 फरवरी की इसी घटना के मामले में पुलिस ने केस दर्ज किया था.
18 मार्च को पुलिस ने शुरू किया ऑपरेशन
पंजाब पुलिस ने 18 मार्च को खालिस्तानी नेता अमृतपाल सिंह को गिरफ्तार करने के लिए बड़े पैमाने पर ऑपरेशन शुरू किया था. इस ऑपरेशन में सात जिलों की पुलिस टीम शामिल थी. पुलिस की 50 से ज्यादा गाड़ियों ने अमृतपाल और उसके समर्थकों का पीछा किया.पुलिस ने अमृतपाल का पीछा तब किया, जब वो जालंधर की शाहकोट तहसील जा रहा था. अमृतपाल आखिरी बार बाइक से भागते हुए दिखा था. पुलिस का भी कहना है कि संकरी गलियां थीं और वो अपनी गाड़ी बदलकर वहां से भागने में कामयाब रहा.
पुलिस ने लगाया था NSA
अमृतपाल को लेकर पुलिस ने बेहद सख्त एक्शन लेते हुए उस पर एनएसए लगा दिया था. एनएसए यानी राष्ट्रीय सुरक्षा कानून. यह बेहद सख्त कानून माना जाता है. इस कानून के तहत पुलिस संदिग्ध व्यक्ति को 12 महीनों तक हिरासत में रख सकती है. हिरासत में रखने के लिए बस बताना होता है कि इस व्यक्ति को जेल में रखा गया है.
जांच के दौरान मिला ISI कनेक्शन
अमृतपाल के खिलाफ जांच के दौरान एजेंसियों को ISI कनेक्शन भी मिला था. आधिकारिक सूत्रों ने बताया था कि अमृतपाल के आईएसआई से करीबी संबंध हैं. पंजाब में कानून व्यवस्था की स्थिति को अस्थिर करने के लिए उसे युवा सिखों को अपने समूह के तहत लाने के लिए कहा गया था. उसने विदेशी खालिस्तानी हमदर्दों से मिले पैसों से अवैध हथियार के अलावा 35 बुलेटप्रूफ जैकेट भी खरीदे थे.
अपनी आर्मी बना रहा था अमृतपाल
सुरक्षा एजेंसियों को इनपुट मिले थे कि अमृतपाल सिंह नशामुक्ति केंद्रों और गुरुद्वारे का इस्तेमाल हथियार जमा करने और युवाओं को आत्मघाती हमले के लिए तैयार करने के लिए कर रहा था. इतना ही नहीं वह प्राइवेट आर्मी आनंदपुर खालसा फोर्स (AKF) बना रहा था. विभिन्न सुरक्षा एजेंसियों के इनपुट के साथ तैयार किए गए डोजियर में दावा किया गया था कि अमृतपाल ISI और विदेशों में रहने वाले खालिस्तान समर्थकों के इशारे पर दुबई से भारत लौटा था. वह मानव बम बनने के लिए युवाओं का ब्रेनवॉश करने में लगा हुआ था.
कौन है अमृतपाल सिंह?
अमृतपाल 'वारिस पंजाब दे'संगठन का चीफ है. वह अलग देश खालिस्तान की मांग कर रहा है. वह कुछ दिन पहले ही दुबई से लौटा है. वारिस पंजाब दे संगठन को पंजाबी अभिनेता दीप सिद्धू ने बनाया था. दीप सिद्धू की मौत के बाद अमृतपाल ने इसपर कब्जा कर लिया. उसने भारत आकर संगठन में लोगों को जोड़ना शुरू किया. अमृतपाल का ISI लिंक बताया जा रहा है.
अमृतपाल ने किरणदीप कौर से की शादी
अमृतपाल ने इसी साल फरवरी में UK की एनआरआई किरणदीप कौर से शादी की थी. फरवरी में अमृतपाल से शादी के बाद किरणदीप कौर पंजाब ही रहने लगीं और इन दिनों अमृतपाल के पैतृक गांव जल्लूपुर खेड़ा में रहती हैं. किरणदीप की पारिवारिक जड़ें जालंधर में बताई जाती हैं. पुलिस ने बीते गुरुवार को लंदन जा रहीं किरणदीप कौर को अमृतसर एयरपोर्ट पर रोक लिया था और उनसे पूछताछ की गई थी, जिसके बाद अकाल तख्त के जत्थेदार ने किरणदीप के समर्थन में बयान दिया था.