भारत जोड़ो यात्रा के बाद कांग्रेस नेता राहुल गांधी की रातभर ट्रक की सवारी चर्चा में है. उन्होंने 6 दिन पहले ट्रक ड्राइवर्स से मुलाकात की और उनकी समस्याएं जानी थीं. राहुल ने ट्रक में सफर का एक वीडियो शेयर किया है. करीब 6 घंटे की दिल्ली-चंडीगढ़ यात्रा में राहुल ने ट्रक ड्राइवरों की मुश्किलें जानी और कई दिलचस्प पहलुओं को छुआ.
दिल्ली बॉर्डर से शुरू हुआ सफर डेरा बस्सी पर जाकर खत्म हुआ. यहां राहुल ने ट्रक ड्राइवर प्रेम राजपूत की तारीफ की और कहा, बहुत अच्छा ट्रक चलाते हैं. ट्रक में बैठकर बात समझ में आती है. बहुत कठिन काम है. उसके बाद राहुल के साथ ट्रक स्टाफ ने नाश्ता किया. अंत में राहुल ड्राइवर से हाथ मिलाते हैं, उसकी पीठ थपथपाते हैं और फिर ड्राइवर-कंडक्टर के साथ सेल्फी खिंचवाते हैं.
दिल्ली से सफर शुरू हुआ, डेरा बस्सी पहुंचकर खत्म
राहुल ने जो वीडियो पोस्ट किया है, उसका टाइटल है- भारत के ट्रकर्स. राहुल 22/23 की दरम्यानी रात करीब 12.30 बजे दिल्ली बॉर्डर के मुरथल इलाके पहुंचते हैं. यहां उन्होंने पंजाब हिमाचल ढाबा पर ट्रक ड्राइवर्स से मुलाकात की. उसके बाद ट्रक में सफर किया. राहुल रात 2.30 बजे हरियाणा के पानीपत पहुंचते हैं. सुबह 3.30 बजे हरियाणा के कुरुक्षेत्र पहुंचे. सुबह 6 बजे डेरा बस्सी में उतर जाते हैं.
6 घंटो की दिल्ली-चंडीगढ़ यात्रा में ट्रक ड्राइवरों के साथ दिलचस्प बातचीत!
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) May 29, 2023
24 घंटे सड़कों पर बिताकर, वो भारत के हर कोने को जोड़ते हैं।
पूरा वीडियो यूट्यूब पर:https://t.co/2O2eYxuj0P pic.twitter.com/ZBDe7UaYot
जब राहुल ने ट्रक ड्राइवर्स से पूछे सवाल...
राहुल ने सबसे पहले दिल्ली बॉर्डर पर सभी ट्रक ड्राइवर्स से मुलाकात की. उनका हाल-चाल जाना. उसके बाद उनकी जिंदगी और काम से जुड़े सवाल पूछे. जानिए राहुल के सवालों का अलग-अलग ड्राइवर्स ने क्या जवाब दिया...
राहुल गांधी- कैसे आए इस काम में? शुरुआत कैसे की?
ट्रक ड्राइवर्स- कोई काम नहीं था. खाली बैठे थे.
राहुल- एक महीने में कितने दिन चला लेते हैं और कितने दिन ऑफ मिलता है?
ड्राइवर्स- कोई ऑफ नहीं मिलता है. रोज गाड़ी चलानी पड़ती है. दिन और रात चलाते हैं.
अंबाला में ट्रक की सवारी करते दिखे राहुल गांधी, ड्राइवरों से मिलकर जानी उनकी समस्याएं, देखें Video
राहुल गांधी- एक दिन में कितने घंटे तक चलाते हैं?
ड्राइवर्स- 12 घंटे तक चलाते हैं. कभी 24 घंटे भी चलाना पड़ता है.
राहुल गांधी- मुश्किल काम है?
ड्राइवर्स- बहुत मुश्किल काम है.
राहुल- पैसा कितना मिलता है?
ड्राइवर्स- 10 हजार रुपए है. बताइए, 10 हजार रुपए में बच्चे पल जाएंगे? इस दुनिया में 10 हजार रुपए में बच्चे भी पढ़ाना है.
राहुल- 10 हजार में कितने घंटे तक ट्रक चलाना पड़ता है.
ड्राइवर्स- वही 24 घंटे तक गाड़ी चलाना है. रोड पर चलते वक्त समय का कोई भरोसा नहीं होता है.
राहुल- एक्सीडेंट होता है तो बीमा होता या नहीं?
ड्राइवर्स- नहीं, कोई बीमा नहीं होता है.
राहुल- एक आम ड्राइवर्स कितने साल तक ट्रक चला सकता है?
ड्राइवर्स- लाइसेंस की डेट होती है. 20 साल की अवधि होती है. 60 साल की उम्र वाले चला रहे हैं. कुछ 70 साल की उम्र तक चलाते देखे जा रहे हैं.
राहुल- कभी भी ड्राइविंग के काम से निकाला जा सकता है?
ड्राइवर्स- हां, कभी भी निकाला जा सकता है. चाहे हमारी खुद की अपनी स्टेट क्यों ना हो. हम लोगों की कोई कदर नहीं है. हम टैक्स भरते. रोड टैक्स, टोल टैक्स, ऑल इंडिया टैक्स. सारी प्रक्रिया फॉलो करते, फिर भी हमारी कोई वैल्यू नहीं होती है. डबल टैक्स हो गए हैं.
राहुल- आपके बिना तो देश भी नहीं चल सकता है?
ड्राइवर्स- लॉकडाउन में हमने काम किया है. लोग बीमार पड़ रहे थे और हम ड्यूटी कर रहे थे. दवाएं और अन्य संसाधनों को एक जगह से दूसरी जगह पहुंचा रहे थे.
राहुल- अगर सरकार आपके लिए कुछ करना चाहे तो क्या करना चाहिए?
ड्राइवर्स- ड्यूटी का समय तय होना चाहिए. 12 घंटे तक काम लेना चाहिए. अभी 24 घंटे तक बिना रुके और थके काम करते हैं. कुछ आराम करने का समय मिलना चाहिए. ओवर टाइम जैसा कुछ नहीं मिलता है.
राहुल- अगर आपका माल चोरी हो जाता है या खराब हो जाता है तब क्या होता है?
ड्राइवर्स- पूरा दोष ड्राइवर्स पर आता है. चोरी करने वाला तो भाग जाता है. हमें ले जाएंगे, अंदर करेंगे. चार डंडे मारेंगे. चोरी का इल्जाम लगा देंगे. मतलब गाड़ी वाले की कोई सुरक्षा नहीं रहती है.
राहुल- मतलब रिस्क रहता है?
ड्राइवर्स- रिस्क तो पूरा रहता है.
राहुल- आप लोग कहां जा रहे हो?
एक ड्राइवर- हम चंडीगढ़ तक जा रहे हैं. आप हमारे साथ चंडीगढ़ तक चलो.
राहुल- चलें चंडीगढ़ तक? पक्का...
ड्राइवर- जी सर, चलिए.
राहुल दिल्ली बॉर्डर से ट्रक में सवार हो जाते हैं और आगे निकल जाते हैं. ट्रक में भी राहुल के सवालों का सिलसिला चलता रहा और ड्राइवर प्रेम राजपूत ने जवाब दिए.
राहुल- आप ये कितने साल से कर रहे हो?
ड्राइवर- लगभग 10-12 साल से काम कर रहे हैं.
राहुल- अभी कितने साल और करोगे?
ड्राइवर- अभी लाइसेंस के 10 साल और रह गए हैं.
राहुल- पैसा बचा पाते हो थोड़ा-बहुत?
ड्राइवर- हां, गुजारा हो जाता है.
राहुल- और कुछ करते हो या यही?
ड्राइवर- यही काम करते हैं बस.
राहुल- कितना पैसा लगता है बच्चों की पढ़ाई में?
ड्राइवर- बच्चे गांव में प्राइवेट स्कूल में पढ़ते हैं.
राहुल- बच्चे अंग्रेजी पढ़ रहे हैं?
ड्राइवर- हां, अंग्रेजी में पढ़ाई कर रहे हैं.
राहुल- बच्चे बढ़े होकर क्या करना चाहते हैं?
ड्राइवर- बच्चे कोई सरकारी नौकरी देखेंगे. अभी तो पढ़ रहे हैं.
राहुल- आप नहीं चाहते कि बच्चे ट्रक चलाएं?
ड्राइवर- नहीं, हम नहीं चाहते हैं. जो अमीर लोग हैं, उनको गरीबों की मदद करना चाहिए. उनको साथ लेकर आगे बढ़ना चाहिए. ताकि उनके बच्चे भी अच्छे तरीके से पढ़ लिख सकें.
राहुल- आप जो थोड़ा सा पैसा बचाते हो, उससे क्या करते हो? बैंक में भी रखते हो?
ड्राइवर- बच्चों की पढ़ाई में खर्च करते हैं. बैंक में तो थोड़ा-बहुत ही रख पाते हैं.
राहुल- पापा आए कभी आपके साथ ट्रक में?
ड्राइवर- नहीं. उन्होंने तो मना किया था. लेकिन कोई काम नहीं था, इसलिए चलाना पड़ रहा है. खतरे का काम है.
राहुल- अगर आप ये नहीं करते तो क्या करते?
ड्राइवर- तब गांव में ही खेतीबाड़ी करते. अगर पढ़-लिख जाते तो कुछ और अच्छा सोचते. प्राइवेट जॉब करते.
राहुल- जो बड़ी ट्रक चलाते हैं, उनको ज्यादा पैसा मिलता है?
ड्राइवर- थोड़ा बहुत अंतर रहता है. ज्यादा नहीं रहता.
राहुल- आपके साथ जो कंडक्टर हैं, इनको लगाया जाता है या आपने चुना है?
ड्राइवर- मैंने चुनकर रखा है.
राहुल- ड्राइविंग करते हो?
कंडक्टर राकेश कुमार- हां, कर लेते हैं.
राहुल- ये आपके चाचा हैं, आप कितने साल से काम करते हैं?
कंडक्टर- मैं बहुत छोटा था, लगभग 18 साल का. तब चलाना शुरू किया था. मेरे पिता मुश्किल वक्त से गुजर रहे थे.
राहुल- क्या परेशानी है?
कंडक्टर- उन्हें पेट का कैंसर हो गया था.
राहुल- अब ठीक हो गए हैं?
कंडक्टर- नहीं, उनका 15 दिन पहले ही निधन हो गया है. अब इनकी महंगाई हो गई है, कैसे क्या करें
राहुल- ज्यादा महंगाई हो गई है?
कंडक्टर- हां, हर चीज महंगी हो गई है.
राहुल- महंगाई में सबसे ज्यादा चोट कहां से लगती है?
कंडक्टर- डीजल में सबसे ज्यादा खर्च होता है.
राहुल- डीजल का पैसा तो कंपनी देती है?
कंडक्टर- हम सामान लेकर जाते हैं. जब डीजल महंगा मिलेगा तो सामान भी महंगा पड़ेगा.
राहुल- मतलब डीजल का असर सब चीज में पड़ता है?
कंडक्टर- यदि हम तेल लेते हैं तो अन्य खाद्य पदार्थ नहीं खरीद पाते हैं. यदि हम गेहूं खरीदते हैं तो उसे पकाने के साधन नहीं ला पाते हैं. ये मुश्किल फंसी है. इंसान क्या करे.
राहुल- महंगाई तो बढ़ रही है, मगर आपका पैसा बनता है, वो बढ़ रहा है?
कंडक्टर- नहीं, पैसा नहीं बढ़ रहा है.
राहुल- आखिरी बार पैसा कब बढ़ा था?
कंडक्टर- उतना ही चला आ रहा है.
अब ड्राइवर प्रेम राजपूत ने राहुल से ही सवाल पूछ लिया- आपकी सरकार आ जाएगी तो क्या कोई नियम लागू हो जाएगा?
राहुल- ट्राई... कोशिश तो करेंगे?
राहुल- आप बीमा का पैसा देते हो या नहीं?
कंडक्टर- एक बार बीमा करवाया था. लेकिन उतना तो कमा नहीं पाते थे तो किस्त नहीं दे पाए.
सुबह 5 बजे राहुल का ट्रक हरियाण अंबाला पहुंचा और मंजी साहिब गुरुद्वारे के बाहर रुका. राहुल गुरुद्वारे के अंदर पहुंचे और ध्यान लगाया. आशीर्वाद लेने के बाद वो एक बार फिर चंडीगढ़ के लिए आगे बढ़े.
राहुल- दिवाली और त्योहार के महीने में आपके पैसे ज्यादा बनते हैं या कम होते हैं या कोई फंड नहीं बांटा जाता?
कंडक्टर- नहीं...
सुबह 6 बजे राहुल गांधी डेरा बस्सी पहुंचते हैं. यहां सभी लोग ट्रक से उतरते हैं और ढाबा पर नाश्ता करते हैं.