राजस्थान कांग्रेस में सियासी संकट के दौरान हुए टेलीफोन टैपिंग मामले में आज जयपुर जिला सेशन कोर्ट ने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत समेत राजस्थान पुलिस के DGP और स्पेशल ऑपरेशन ग्रुप के ADG को 16 मार्च को अदालत में तलब किया. वकील ओपी सोलंकी ने सेशन कोर्ट में निगरानी याचिका दाखिल की थी.
'साजिशन की गई टेलीफोन टैपिंग'
इस याचिका में कहा गया था कि ये टेलीफोन टैपिंग साजिशन की गई है. पहले तत्कालीन मुख्य सचेतक महेश जोशी ने स्पेशल ऑपरेशन ग्रुप में विधायक खरीद फरोख्त का मामला दर्ज कराया और उसके बाद उसी आधार पर टेलीफोन टैपिंग की गई . मगर स्पेशल ऑपरेशन ग्रुप के उस टेलीफोन टैपिंग को मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को दिया गया जहां से उनके OSD लोकेश शर्मा ने इसे मीडिया में बांट दिया जो कि एक गंभीर अपराध है.
वायरल हुए थे कांग्रेस विधायकों और बीजेपी नेताओं के टेप
गौरतलब है कि टेलीफोन टैपिंग को लेकर केंद्रीय मंत्री गजेन्द्र सिंह शेखावत ने दिल्ली पुलिस के क्राइम ब्रांच में मुकदमा दर्ज करा रखा है जिसमें जांच जारी है और इस मुकदमे के खिलाफ मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के OSD लोकेश शर्मा ने दिल्ली हाई कोर्ट में याचिका लगा रखी है. यहां पर सुनवाई चल रही है. मीडिया में कांग्रेस विधायकों और बीजेपी नेताओं के तथाकथित टेप वायरल हुए थे.
बताते चलें कि बीते 6 दिसंबर को दिल्ली क्राइम ब्रांच ने लोकेश शर्मा से तीन घंटों तक पूछताछ की थी. क्राइम ब्रांच ने शर्मा से पूछा कि उन्हें ये ऑडियो कहां से मिले थे, इनका सोर्स क्या था. पूछताछ में लोकेश शर्मा ने फ़ोन टैपिंग के आरोपों को सिरे से खारिज किया था और कहा कि ये ऑडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे थे.