प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) ने डॉक्टर्स डे (Doctor's Day) के मौके पर गुरुवार को संबोधित किया. इस मौके पर उन्होंने कोरोनाकाल के दौरान डॉक्टरों द्वारा की जा रही सेवा पर उनका आभार जताया. साथ ही, पीएम मोदी ने इंडियन मेडिकल एसोसिएशन (IMA) को योग से जुड़ा एक टास्क भी दिया. पीएम मोदी ने आईएमए से योग पर स्टडीज (Studies on Yoga) को साइंटिफिक तरीके से करके देश-दुनिया तक और अधिक पहुंचाने के लिए कहा.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा, ''जब डॉक्टर योग पर स्टडी करते हैं तो पूरी दुनिया बहुत गंभीरता से लेती है. क्या आईएमए योग पर इन स्टडीज को मिशन मोड में आगे बढ़ा सकता है? योग पर एविडेंस बेस्ड स्टडी को साइंटिफिक तरीके से आगे ले जा सकता है?. एक यह कोशिश भी हो सकती है कि योग पर स्टडीज को इंटरनेशनल जर्नल में पब्लिश किया जाए और उसे प्रचारित किया जाए.'' पीएम मोदी ने कहा कि मुझे विश्वास है कि ये स्टडीज दुनियाभर में डॉक्टरों को अपने मरीजों के बारे में और जागरूक करने के लिए प्रोत्साहित करेगी.
प्रधानमंत्री मोदी ने डॉक्टरों से अनुरोध किया कि कोरोनाकाल में सभी अनुभवों को डॉक्युमेंटशन भी करते रहें. मरीजों के साथ अनुभवों का डॉक्युमेंटेशन काफी अहम है. यह एक रिसर्च स्टडी के रूप में भी हो सकता है, जिसमें विभिन्न दवाओं को कोट किया गया है. साथ ही यह भी सुनिश्चित किया जाना चाहिए कि डॉक्टरों के काम का दुनिया संज्ञान ले और आने वाली पीढ़ी को इसका फायदा भी मिले. कोविड की यह महामारी इसके लिए एक अच्छा स्टार्टिंग प्वाइंट भी हो सकता है.
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रामदेव और IMA विवाद के बीच पीएम ने दिया टास्क
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने योग से जुड़ा यह टास्क इंडियन मेडिकल एसोसिएशन और योग गुरु रामदेव के बीच पिछले कुछ समय से जारी विवाद के दौरान दिया है. दरअसल, कोरोना वायरस की दूसरी लहर के दौरान रामदेव और आईएमए के बीच एलोपैथी को लेकर विवाद हो गया था. रामदेव के कई वीडियोज सामने आए थे, जिसमें उन्होंने एलोपैथी प्रक्रिया पर सवाल खड़े किए थे.
इसके बाद आईएमए रामदेव के खिलाफ आगबबूला हो गया था. एक वीडियो में रामदेव ने कहा था कि दोनों वैक्सीन्स लगवाने के बाद एक हजार डॉक्टरों की मौत हो गई. इस तरह के कई वीडियोज सामने आने के बाद डॉक्टरों ने रामदेव का विरोध करना शुरू कर दिया था. बाद में केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉ. हर्षवर्धन ने रामदेव को पत्र लिखकर बयान का विरोध किया था, जिसके बाद रामदेव ने खेद जताया था.
'डॉक्टरों की सुरक्षा के लिए प्रतिबद्ध है सरकार'
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि डॉक्टरों की सुरक्षा के लिए हमारी सरकार पूरी तरह से प्रतिबद्ध है. पिछले साल, हम डॉक्टरों के खिलाफ हुईं कई हिंसाओं के मामले में कई तरह के प्रावधान लेकर आए. साथ ही हम अपने कोरोना वॉरियर्स को मुफ्त में इंश्योरेंस कवर भी प्रदान कर रहे हैं.
पीएम मोदी ने कहा, ''देश में तेज गति से एम्स खोले जा रहे हैं. नए मेडिकल कॉलेज बनाए जा रहे हैं. इसके अलावा हेल्थ इंफ्रास्ट्रक्चर भी खड़ा किया जा रहा है. साल 2014 से अब तक देश में सात सालों में 15 नए एम्स का काम शुरू हो गया है. जबकि 2014 से पहले देश में सिर्फ छह एम्स ही थे. वहीं, पिछले छह सालों में मेडिकल कॉलेजों की संख्या भी तकरीबन डेढ़ गुनी हो चुकी है.''