नारदा स्टिंग मामले में सोमवार को लिए गए सीबीआई के एक्शन के बाद बंगाल की राजनीति फिर गरमा गई है. मंत्रियों की गिरफ्तारी के विरोध में तृणमूल कांग्रेस के कार्यकर्ताओं ने सीबीआई दफ्तर के बाहर प्रदर्शन किया. इस दौरान हालात इस कदर बेकाबू हुए कि यहां पर पत्थरबाजी शुरू हो गई, जिसके बाद सुरक्षाबलों ने लाठीचार्ज किया.
वहीं, इस मामले में सीबीआई कोर्ट में चली सुनवाई पूरी हो गई है. कोर्ट ने फैसला सुरक्षित रखा है. आपको बता दें कि 2016 में सामने आए नारदा स्टिंग के मामले में बीते दिनों ही राज्यपाल से जांच करने की इजाजत मिली थी. इसी केस में सीबीआई ने सोमवार को टीएमसी के नेताओं के घर पर छापेमारी की थी और उन्हें अपने साथ दफ्तर ले आई थी.
West Bengal: A large number of TMC supporters staged a protest outside the CBI office after four party leaders were arrested by the agency. pic.twitter.com/hFO9dDRCM8
— ANI (@ANI) May 17, 2021
मंत्रियों पर एक्शन के बाद ममता आगबबूला
दफ्तर में लाने के बाद सीबीआई ने सोमवार को मंत्री फिरहाद हकीम, मंत्री सुब्रत बनर्जी, विधायक मदन मित्रा को गिरफ्तार कर लिया गया. इसी के बाद बवाल शुरू हुआ है. सबसे पहले मुख्यमंत्री ममता बनर्जी सीबीआई के दफ्तर पहुंचीं और गिरफ्तारी का विरोध किया. साथ ही चेतावनी दी कि सीबीआई को उन्हें भी गिरफ्तार करना होगा. ममता सीबीआई दफ्तर से 6 घंटे बाद लौटीं.
देखते ही देखते सीबीआई दफ्तर के बाहर टीएमसी कार्यकर्ताओं का हुजूम लगना शुरू हो गया. पहले यहां सीबीआई के एक्शन के खिलाफ नारेबाजी हुई और कुछ ही देर में पत्थरबाजी हुई, इस दौरान सुरक्षाबलों पर पत्थर, बोतल और अन्य सामान डाले गए. जिसके बाद केंद्रीय सुरक्षाबलों ने लाठीचार्ज भी किया.
पत्थरबाजी पर राज्यपाल ने जताई चिंता
तृणमूल कांग्रेस के कार्यकर्ताओं द्वारा की गई पत्थरबाजी के बाद बंगाल के राज्यपाल जगदीप धनखड़ ने चिंता व्यक्त की है. उन्होंने ट्वीट कर लिखा कि सीबीआई दफ्तर के बाहर पत्थरबाजी की जा रही है, लेकिन कोलकाता पुलिस, बंगाल पुलिस मूकदर्शक बनी हुई हैं. इस मामले को जल्द निपटाने की अपील है.
जगदीप धनखड़ ने लिखा कि ये पूरी तरह से अराजकता है, पुलिस और प्रशासन पूरी तरह से शांत है. उम्मीद है कि आप कानून व्यवस्था के फेलियर का जल्द अंदाजा लगा पाएंगे. स्थिति को काबू में करने का वक्त है, जो कि हर मिनट के साथ बिगड़ती जा रही है.
तृणमूल कांग्रेस का आरोप है कि विधानसभा चुनाव में हार के बाद भाजपा की ओर से ये बदले की कार्रवाई की जा रही है. केंद्र के इशारे पर एजेंसी टीएमसी के नेताओं के खिलाफ एक्शन ले रही है. वहीं, बीजेपी का तर्क है कि जो भी एक्शन हो रहा है वो अदालत के आदेश पर ही लिया जा रहा है, ऐसे में इसमें बदले की कार्रवाई नहीं है.