सीमा पर तनाव को लेकर शनिवार को भारत-चीन में कमांडर स्तर की 10वें दौर की बातचीत हुई. इस वार्ता का एजेंडा गोगरा हॉट स्प्रिंग और देपसांग रहा. चीनी कमांडर से विचार-विमर्श के दौरान भारतीय पक्ष की अगुवाई कोर कमांडर पीजेके मेनन और आईटीबीपी के आईडी दीपम सेठ ने किया.
आखिरी अपडेट तक बताया गया किया पैंगोंग लेक पर डिसएंगेजमेंट पूरा होने के बाद अब भविष्य के कदमों के लेकर चर्चा हो रही है. इस बैठक में पैंगोंग के बाद तनाव के अन्य मुद्दों पर भी चर्चा केंद्रित रहेगी. बैठक पिछले 14 घंटे से चल रही है.
वहीं, लद्दाख में चीनी सेना का वापस जाना भारत के लिए बड़ी रणनीतिक कामयाबी है. लद्दाख से चीन को पीछ हटने के लिए मजबूर करने को लेकर भारत ने एक रणनीति पर काम किया है. भारत कई जगहों पर चीन से मजबूत स्थिति में था, लिहाजा चीन की पीपुल्स लिबरेशन आर्मी ने जान लिया कि भारत अपनी मांगों से पीछे हटने वाला नहीं है
वार्ता के दौरान भारत देपसांग में सभी तनाव वाले प्वाइंट्स पर फिर से अपनी पेट्रोलिंग बहाल करने पर जोर देगा. डेमचोक को लेकर भी चर्चा की जानी है जहां भारतीय चारवाहे अपनी मवेशियों को चराने के लिए लेकर जाते हैं. फिलहाल, चरवाहों की इस पारंपरिक मैदान तक पहुंच नहीं है.
इससे पहले, रक्षा मंत्री राजनाथ पहले ही बता चुके हैं कि लाइन ऑफ एक्चुल कंट्रोल (LAC) के साथ-साथ अन्य मसलों पर भी चर्चा की जाएगी. उन्होंने यह स्पष्ट किया था कि भारत ने इन वार्ताओं के दौरान कुछ भी स्वीकार नहीं किया है.
चीन ने माना, मारे गए थे उसके जवान
दोनों देशों के बीच यह वार्ता ऐसे समय होने जा रही है जब चीन ने यह बात स्वीकार की है कि लद्दाख की गलवान घाटी में हुई हिंसक झड़प में उसके 4 जवान मारे गए थे. चीन की सरकारी मीडिया ग्लोबल टाइम्स ने पिछले साल जून में गलवान घाटी में भारतीय सेना और चीन की सेना के बीच हुई झड़प की वीडियो फुटेज जारी कर यह बात स्वीकार की है.
गलवान में हुई झड़प में भारत के 20 सैनिक शहीद हुए थे. चीन ने गुरुवार को कुबूल किया था कि उसके भी 4 सैनिक मारे गए थे. चीन के वीडियो में इन चार सैनिकों को सलामी दिए जाने का दृश्य है. वीडियो में दोनों देशों के सैनिकों के बीच झड़प को भी दिखाया गया है. साथ ही दोनों तरफ के सैन्य अधिकारी वार्ता करते भी दिख रहे हैं.