
उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में 24 फरवरी को हुए उमेशपाल हत्याकांड में शामिल 3 शूटरों की तलाश अभी भी जारी है. इन शूटरों में सबसे ज्यादा चर्चा बमबाज गुड्डू मुस्लिम की है. गुड्डू मुस्लिम अतीक का सबसे बड़ा राजदार है. यही वजह है कि उमेश की हत्या के बाद से अतीक को डर सता रहा था कि कहीं गुड्डू पकड़ा न जाए और उसके सारे राज खुल जाएं.
गुड्डू मुस्लिम चलते फिरते बम बनाने में माहिर है. उसने उमेशपाल और उसके गनर पर बम फेंके थे. वह 1999 में नारकोटिक्स मामले में जेल भी जा चुका है. उत्तर प्रदेश पुलिस के स्पेशल टास्क फोर्स (एसटीएफ) के चीफ अमिताभ यश ने भी गुड्डू मुस्लिम को सबसे खतरनाक बताया है.
आजतक से बातचीत में अमिताभ यश ने बताया, ''गुड्डू मुस्लिम एक प्रोफेशनल किलर है.वह अतीक के लिए काम करता था. वह बमबाज है, जो बम से हत्या करता है. वह चलते-फिरते बम बनाने में माहिर है.''
अमिताभ यश ने गुड्डू मुस्लिम के बारे में बात करते हुए कहा, ''मैंने उमेशपाल हत्या वीडियो के सीसीटीवी फुटेज में उसे तुरंत पहचान लिया था. वह एक पेशेवर किलर है, जिसे पकड़ना जरूरी है. वह अकेले ही किसी भी अपराध को अंजाम देने में माहिर है. मेरा गुड्डू मुस्लिम से पहले भी पाला पड़ चुका है. वह नारकोटिक्स मामले में 1999 में पकड़ा गया था. उस समय अतीक ने अपने वकीलों की मदद से इसकी जमानत करवाई थी.''
- उमेश पाल की पत्नी की शिकायत पर अतीक, भाई अशरफ, पत्नी शाइस्ता, बेटे असद, शूटर अरमान, गुलाम, गुड्डू मुस्लिम और साबिर समेत 9 लोगों पर मामला दर्ज किया गया था. उमेश पाल हत्याकांड में शामिल 6 आरोपी मारे जा चुके हैं. अतीक, अशरफ की जहां प्रयागराज में गोली मारकर हत्या कर दी गई. तो वहीं असद, गुलाम, अरबाज, विजय चौधरी एनकाउंटर में मारे गए हैं.
अब पुलिस को अतीक की पत्नी शाइस्ता, बमबाज गुड्डू मुस्लिम, शूटर अरमान और साबिर की तलाश है. शाइस्ता पर 50 हजार, जबकि गुड्डू मुस्लिम, शूटर अरमान और साबिर पर 5-5 लाख का इनाम है.
गुडडू मुस्लिम अतीक और अशरफ का सबसे करीबी और भरोसेमंद था. गुड्डू ही अतीक अहमद का पूरा नेटवर्क चलाता था. सूत्रों के मुताबिक, उमेश पाल की हत्या के बाद गुड्डू फरार होकर मेरठ गया था. मेरठ में वह अतीक की बहन आयशा नूरी के घर गुड्डू मुस्लिम नजर आया था. आयशा के पति अखलाक ने गले लगाकर गुड्डू मुस्लिम का स्वागत किया था. इसके बाद से गुड्डू मुस्लिम का कोई सुराग हाथ नहीं लगा.
गुड्डू ने 15 साल की उम्र में ही छोटी-मोटी चोरियों से अपराध की दुनिया में कदम रखा.कुछ समय बाद बाहुबलियों की पनाह मिलने के बाद उसने बम बनाना शुरू किया. धीरे-धीरे वो उत्तर प्रदेश के साथ साथ बिहार के कई गिरोहों के बीच बमबाज नाम से मशहूर हो गया.
गुड्डू मुस्लिम ने कई बाहुबली और माफिया डॉन के साथ काम किया.वह डॉन श्रीप्रकाश शुक्ला के लिए भी काम कर चुका है. गुड्डू मुस्लिम ने माफिया सरगना मुख्तार अंसारी के लिए भी बम बनाए. धनंजय सिंह और अभय सिंह के गैंग में गुड्डू मुस्लिम को अच्छा काम मिला. दो दशक तक गुड्डू मुस्लिम पूर्वी उत्तर प्रदेश के गैंग में नामी बना रहा. 1997 में गुड्डू ने गेम टीचर फैड्रिक्स जे गोम्स की हत्या की थी.
1999 में जब गुड्डू गिरफ्तार हुआ, तब जेल से निकलवाने में अतीक ने उसकी मदद की. जेल से बाहर आने के बाद वह अतीक का गुर्गा बन गया. गुड्डू के जरिए अतीक के रिश्ते भी बिहार के माफियाओं से बने. गुड्डू ने अतीक के कई गुनाहों में अहम रोल निभाया. इसके बाद वह अतीक का करीबी बन गया.
एसटीएफ के मुताबिक, आईएसआई से मंगवाए गए हथियार पंजाब के रास्ते लाने में गुड्डू मुस्लिम ही मैनेज करता था. उमेश की हत्या के बाद गुड्डू मुस्लिम अपने पांच संदिग्धों के साथ झांसी में सतीश पांडेय उर्फ बबलू पांडेय के घर पांच दिन रुका था. इसके बाद वह दोबारा भी झांसी गया था.