काबुल से कंधार, पंजशीर से वाशिंगटन तक तालिबानी-पाकिस्तानी की जोड़ी का मुखौटा उतर चुका है. अफगानिस्तान में पाकिस्तानी साजिश के बाद हालात इस कदर बिगडे़ कि प्रदर्शन कर रही महिलाओं पर तालिबान ने बंदूकें तान दी. शहर-शहर बगावत का बिगुल बज रहा है और इनके बीच तालिबानी सरकार बनाने की तैयारी में जुटे हैं. अफगानिस्तान में तालिबानी सरकार बनाने की कोशिश में लगे हैं लेकिन ये ना अपना चेहरा बदल सके और ना चरित्र. पाकिस्तान की मौजूदगी ने लोगों को खामोशी तोड़कर सड़कों पर आवाज उठाने पर मजबूर कर दिया. इस हाल में हक का दम भरने वाले तालिबानियों ने लोगों पर अपनी बंदूकों का मुंह खोल दिया. काबुल के अलावा शहर-शहर से तालिबान- पाकिस्तान के खिलाफ बगावत के शोले दहक रहे हैं. सवाल ये उठता है कि अफगानिस्तान में पाकिस्तान का क्या काम? क्या आईएसआई अफगानी जमीन का इस्तेमाल अपने आतंकी प्लान के लिए करेगा? ज्यादा जानकारी के लिए देखें वीडियो.