जन लोकपाल विधेयक पारित करने और केंद्रीय मंत्रिमंडल के कुछ सदस्यों के खिलाफ कथित भ्रष्टाचार के आरोपों की स्वतंत्र निकाय से जांच कराने की मांग पर अनिश्चितकालीन अनशन शुरू करने वाली टीम अन्ना ने बुधवार ही राष्ट्रपति बने प्रणब मुखर्जी को भी नहीं बख्शा.
जन लोकपाल विधेयक का पुरजोर समर्थन करते हुए सामाजिक कार्यकर्ता अन्ना हजारे ने जंतर मंतर पर फिर से आंदोलन की शुरुआत करते हुए कहा कि सरकार को लोकपाल लाना पड़ेगा, नहीं तो जाना पड़ेगा.
टीम अन्ना ने भ्रष्टाचार के मुद्दे पर कांग्रेस और भाजपा में सांठगांठ होने का आरोप लगाते हुए कहा कि दोनों राष्ट्रीय दल एक दूसरे को बचाने का काम करते हैं.
गृह मंत्री पी चिदंबरम, पूर्व मंत्री वीरभद्र सिंह, ए राजा समेत 14 केंद्रीय नेताओं एवं मंत्रियों पर विभिन्न घोटालों में शामिल होने का आरोप लगाने के साथ टीम अन्ना ने प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह पर इन सबको संरक्षण देने का इल्ज़ाम लगाया.
टीम अन्ना ने राष्ट्रपति पद की शपथ लेने वाले प्रणब मुखर्जी को नहीं बख्शा और कहा कि अगर लोकपाल विधेयक होता पूर्व वित्त मंत्री इस शीर्ष संवैधानिक पद पर आसीन नहीं हो पाते.
हजारे ने कहा कि देश के शीर्ष पदों पर बैठे लोगों पर भ्रष्टाचार का नशा छा गया है और जनता को एकजुट होकर इन्हें होश में लाना होगा.
'मैं भी अन्ना, तू भी अन्ना.' आज फिर देश की राजधानी दिल्ली से लेकर पूरे देश में ये हुंकार सुनाई दी.
अनशन की शुरुआत करने के पहले अन्ना हजारे और उनकी टीम राजघाट पहुंचीं.
अन्ना हर आंदोलन से पहले महात्मा गांधी की समाधि राजघाट पर जाकर आशीर्वाद लेते हैं.
अनशन स्थल पर अन्ना और उनके सहयोगियों के पहुंचते ही अफरातफरी का माहौल उत्पन्न हो गया.
जन लोकपाल विधेयक और केंद्रीय मंत्रिमंडल के कुछ सदस्यों के खिलाफ कथित भ्रष्टाचार के आरोपों की स्वतंत्र निकाय से जांच कराने की मांग के समर्थन में आज राष्ट्रीय राजधानी में जंतर मंतर पर टीम अन्ना का अनिश्चितकालीन अनशन शुरू हो गया जहां टीम अन्ना ने एसआईटी गठित किये जाने तक आंदोलन जारी रखने की प्रतिबद्धता व्यक्त की.
मुख्य मंच के ठीक सामने प्रसारण की व्यवस्था की गयी है. इस बार भी तिरंगा और ‘मैं अन्ना हूं’ टोपी का जलवा दिख रहा है.
अनशन स्थल पर आने वाले लोगों की सुविधा के लिए एक बड़ा सा एलईडी स्क्रीन लगाया गया है जिस पर मुख्य मंच पर चल रहे कार्यक्रम का प्रसारण किया जा रहा है.
मुख्य मंच के इर्द-गिर्द विभिन्न काउंटर बनाए गये हैं. अन्ना और जनलोकपाल से संबंधित किताबें और सीडी बिक्री के लिए लगायी गयी हैं.
गर्मी और उमस के बावजूद महिलाओं और युवाओं की उपस्थिति देखी जा रही है. उनके अलावा वहां स्कूली छात्र छात्राएं और अन्य बच्चे भी हैं.
मंच पर गांधी जी की तस्वीर लगायी गयी है. इसके साथ ही टीम अन्ना ने जिन केंद्रीय नेताओं के खिलाफ स्वतंत्र जांच कराने की मांग की है उनकी तस्वीरें भी टांग दी गई हैं.
अनशन स्थल पर सुरक्षा समेत तमाम चाक चौबंद व्यवस्था की गयी है. आंदोलन से जुड़े लोग देश भक्ति से जुड़े गीत पेश कर रहे हैं.
जन लोकपाल विधेयक की मांग को लेकर टीम अन्ना के सदस्यों की ओर से राष्ट्रीय राजधानी स्थित जंतर..मंतर पर आयोजित अनशन स्थल पर छोटे-छोटे समूहों में लोग जुटे.
टीम अन्ना के अनशन में एनएसयूआई के छात्रों ने हंगामा किया है. टीम अन्ना की ओर से कहा जा रहा है कि उनका मकसद अरविन्द केजरीवाल को नुकसान पहुंचाना था.
केजरीवाल को नुकसान पहुंचाने की कोशिश की गई.
इस पूरे हंगामे के लिए अन्ना ने जिम्मेदार कांग्रेस को ठहराया है.
हंगामें को काबू में करने के लिए पुलिस ने तुरंत कार्रवाई की.
टेप में यह बातचीत करते हुए सुना जा सकता है कि अन्ना को धक्का दो, केजरीवाल की जमकर पिटाई करो.
इससे पहले टीम अन्ना के सदस्य कुमार विश्वास ने एक टेप जारी कर इस बात की आशंका जमाई थी कि एनएसयूआई के लोग अन्ना हजारे और अरविंद केजरीवाल को नुकसान पहुंचाना चाहते थे.
हंगामा करने वाले छात्रों ने अन्ना मुरदाबाद, केजरीवाल मुरदाबाद के नारे भी लगाए. हालांकि इसकी पुष्टि नहीं हो पाई है कि ये छात्र एनएसयूआई के ही थे.
टीम अन्ना के अनशन में एनएसयूआई के छात्रों ने हंगामा किया है. टीम अन्ना की ओर से कहा जा रहा है कि उनका मकसद अरविन्द केजरीवाल को नुकसान पहुंचाना था.
टीम अन्ना का आरोप है कि ये छात्र एनएसयूआई के थे जिन्होंने हंगामा किया. टीम अन्ना का ये भी कहना है कि एनएसयूआई के ये कार्यकर्ता केजरीवाल को नुकसान पहुंचाना चाहते थे.
जंतर-मंतर पर टीम अन्ना के अनशन के दौरान कुछ छात्रों ने जमकर हंगामा किया.
भ्रष्टाचार के ख़िलाफ़ आंदोलन की जो आग मद्धिम सी पड़ती दिख रही थी, वो फिर भड़क उठी है. दिल्ली का जंतर-मंतर एक बार फिर उसी आंदोलन का गवाह बनने जा रहा है, जहां जनलोकपाल की लड़ाई क़रीब डेढ़ साल पहले शुरू हुई थी.
अन्ना हज़ारे और उनकी टीम ने आंदोलन की हवा तैयार कर दी है. मंगलवार को अन्ना दिल्ली पहुंचे तो समर्थकों का हुज़ूम उसी पुराने हौसले के साथ सड़कों पर निकला.
हालांकि इस बार लोगों का जोश थोड़ा ठंडा दिखाई दे रहा है, लेकिन उम्मीद है कि समय के साथ लोग इस आंदोलन से जुड़ेंगे.
अरविंद केजरीवाल का कहना है कि 15 मंत्रियों के ख़िलाफ़ भ्रष्टाचार के इतने संगीन आरोप हैं कि अगर आज वो लोकपाल बिल पास कर दें, तो कल इन लोगों को जेल हो जाएगी, इनकी संपत्ति ज़ब्त हो जाएगी. इसीलिए ये सरकार लोकपाल बिल नहीं ला रही है.
अन्ना हजारे अपने समर्थकों के साथ दिन में क़रीब पौने ग्यारह बजे राजघाट पहुंचेंगे. बापू को नमन करने के बाद काफ़िला जंतर मंतर के लिए कूच करेगा.
जंतर मंतर पर टीम अन्ना के सदस्य अरविंद केजरीवाल, मनीष सिसौदिया और गोपाल राय बेमियादी अनशन पर बैठेंगे. अरविंद केजरीवाल पहले ही साफ़ कर चुके हैं कि मांग पूरी होने नहीं होने तक वे जंतर मंतर से नहीं उठेंगे, चाहे अनशन पर बैठे-बैठे उनकी जान चली जाए.
अन्ना हज़ारे ने 4 दिन का अल्टीमेटम दिया है. अगले चार दिनों में अगर सरकार ने उनकी मांगे नहीं मानी तो अपनी सेहत की चिंता छोड़कर अन्ना भी उपवास शुरू कर देंगे. इस बार टीम अन्ना कहीं ज़्यादा तैयारियों के साथ आंदोलन में उतरी है.
टीम अन्ना अब सिर्फ़ मज़बूत लोकपाल नहीं मांग रही. अब उसके निशाने पर उन मंत्रियों की जमात है, जिन पर भ्रष्टाचार के आरोप हैं.
टीम अन्ना के सदस्य कुमार विश्वास का आरोप है कि अनशन स्थल पर हंगामा करने वाले कांग्रेस की छात्र ईकाई एनएसयूआई के सदस्य है जो अरविंद केजरीवाल और अन्ना हजारे के खिलाफ नारेबाजी कर रहे हैं. टीम अन्ना ने हंगामे की योजना से संबंधित एक कथित आडियो भी प्रसारित किया.
आज सुबह अनशन स्थल पर अन्ना और उनके सहयोगियों के पहुंचते ही अफरातफरी का माहौल उत्पन्न हो गया जब कुछ लोगों ने टीम अन्ना के खिलाफ हंगामा और नारेबाजी शुरू कर दी.इनके बारे में दावा किया गया है कि वह कांग्रेस के छात्र संगठन एनएसयूआई के कार्यकार्ता है. अन्ना और उनके सहयोगियों ने सभी लोगों से शांति बनाये रखने और संघर्ष नहीं करने की अपील की और हंगामा कर रहे लोगों को अनशन स्थल से बाहर कर दिया गया.
हजारे ने कहा कि देश के शीर्ष पदों पर बैठे लोगों पर भ्रष्टाचार का नशा छा गया है और जनता को एकजुट होकर इन्हें होश में लाना होगा.
केजरीवाल ने कहा कि आज से प्रतिदिन तीन-चार मंत्रियों एवं केंद्रीय नेताओं के खिलाफ भ्रष्टाचार के आरापों का खुलासा किया जायेगा.
लोकपाल विधयेक की जरूरत पर जोर देते हुए केजरीवाल ने कहा कि अगर लोकपाल विधयेक बनता तब प्रणब आज राष्ट्रपति नहीं बन पाते.
लोकपाल विधयेक की जरूरत पर जोर देते हुए केजरीवाल ने कहा कि अगर लोकपाल विधयेक बनता तब प्रणब आज राष्ट्रपति नहीं बन पाते.
उन्होंने कहा कि सरकार जांच कराने को तैयार नहीं है, अगर स्वतंत्र जांच नहीं होगी, तब सच कैसे सामने आयेगा. अगर हमारे खिलाफ आरोप लगते हैं तब इसकी भी जांच करायी जानी चाहिए.
प्रशांत भूषण ने कहा कि भ्रष्टाचार के मुद्दे पर कांग्रेस और भाजपा में सांठगांठ है और सत्ता में आने पर दोनों राष्ट्रीय दल एक दूसरे को बचाने का काम करती हैं.
अन्ना ने दावा किया कि जन लोकपाल कानून अमल में आ जाने देश में 70 प्रतिशत भ्रष्टाचार को समाप्त किया जा सकता है.
अनशन स्थल पर मंच पर गांधी जी की तस्वीर लगायी गयी है. इसके साथ ही टीम अन्ना ने जिन केन्द्रीय नेताओं के खिलाफ स्वतंत्र जांच कराने की मांग की है उनकी तस्वीरें भी टांग दी गई हैं जिसमें नए राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी, प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह, गृह मंत्री पी चिदंबरम सहित कई अन्य लोग शामिल हैं.
कुछ देर बाद प्रणब के चित्र को कपड़े से ढक दिया गया. इस पर केजरीवाल ने कहा कि मुखर्जी अब राष्ट्रपति पद की शपथ ले चुके है जो शीर्ष संवैधानिक पद है. हम संविधान का सम्मान करते हैं, इस नाते प्रणब के चित्र को कपड़े से ढक रहे हैं ताकि इस पद की गरिमा कम न हो.
अरविंद केजरीवाल ने कहा कि इनके खिलाफ साक्ष्य भी है लेकिन इनकी स्वतंत्र एजेंसी से जांच कराये जाने की जरूरत है, तभी सच सामने आ सकेगा.
प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह पर लोकपाल मुद्दे पर अपने आश्वासन से मुकरने का आरोप लगाते हुए उन्होंने कहा, ‘देश के खजाने को चोरों ने नहीं पहरेदारों ने धोखा दिया है. देश को दुश्मनों से नहीं भ्रष्टाचारियों से खतरा है.’
टीम अन्ना के सदस्य अरविंद केजरीवाल ने कहा कि कोयला ब्लाक आवंटन घोटाला, चावल निर्यात घोटाला, पनडुब्बी सौदा घोटाला, वार रूम लीक मामले, सेबी से जुड़ी अनियमितता, 2जी स्पेक्ट्रम घोटाला, राष्ट्रमंडल खेल घोटाला, आदर्श हाउसिंग सोसाइटी घोटाला आदि से अनेक केंद्रीय मंत्रियों के नाम जुड़े हैं.