फिलिस्तीनी नेता यासिर अराफात के साथ मदर टेरेसा. मदर टेरेसा ने अपना पूरा जीवन गरीब और असहाय लोगों की भलाई के लिए समर्पित कर दिया था.
अपने भारत दौरे के क्रम में मिशनरीज ऑफ चैरिटी में मदर टेरेसा के साथ पोप जॉन पॉल द्वितीय.
कोलकाता स्थित मिशनरीज ऑफ चैरिटी में मदर टेरेसा. उन्होंने अपना पूरा जीवन गरीब और असहाय लोगों की भलाई के लिए समर्पित कर दिया था.
मिशनरीज ऑफ चैरिटी में सिस्टर निर्मला के साथ मदर टेरेसा. उन्होंने अपना पूरा जीवन गरीब और असहाय लोगों की भलाई के लिए समर्पित कर दिया था.
दलित ईसाइयों के लिए न्याय की मांग करतीं मदर टेरेसा. उन्होंने अपना पूरा जीवन गरीब और असहाय लोगों की भलाई के लिए समर्पित कर दिया था.
एक बच्चे को गोद में लिए मदर टेरेसा. उन्होंने अपना पूरा जीवन गरीब और असहाय लोगों की भलाई के लिए समर्पित कर दिया था.
अपने भारत दौरे के क्रम में मिशनरीज ऑफ चैरिटी में मदर टेरेसा के साथ पोप जॉन पॉल द्वितीय.
अपने भारत दौरे के क्रम में मिशनरीज ऑफ चैरिटी में पोप जॉन पॉल द्वितीय एक सिस्टर को आशिष देते हुए. मदर टेरेसा उनको देखती हुईं.
5 सितंबर 1997 को उनके देहांत के बाद उनका शव अंतिम संस्कार के लिए ले जाए जाते हुए.
मदर टेरेसा अल्बानिया की रहने वाली थीं. उन्होंने अपना पूरा जीवन गरीब और असहाय लोगों की भलाई के लिए समर्पित कर दिया था.
अपने भारत दौरे के क्रम में मिशनरीज ऑफ चैरिटी में सिस्टर्स के साथ राजकुमारी डायना.
मदर टेरेसा को उनके जीवनकाल में गरीबों और वंचितों की सेवा और उत्थान के लिए कई पुरस्कार मिले. जिसमें सबसे प्रमुख है वर्ष 1979 में मिला नोबेल शंति पुरस्कार.
मदर टेरेसा को उनके देहांत के बाद उनकी सहयोगी सिस्टर श्रद्धा-सुमन अर्पित करते हुए.
मदर टेरेसा के देहांत के बाद पोप जॉन पॉल द्वितीय ने उन्हें सम्मानित किया.
मदर टेरेसा ने अपना पूरा जीवन गरीब और असहाय लोगों की भलाई के लिए समर्पित कर दिया था.
अपने भारत दौरे के क्रम में मिशनरीज ऑफ चैरिटी में अपनी अन्य सहयोगियों के साथ मदर टेरेसा.
मदर टेरेसा को वर्ष 1980 में भारत रत्न पुरस्कार से सम्मानित किया गया. मदर टेरेसा ने अपना पूरा जीवन गरीब और असहाय लोगों की भलाई के लिए समर्पित कर दिया था.