हज़ारे पक्ष जहां 30 दिन के विरोध प्रदर्शन की अनुमति चाहता है, वहीं दिल्ली पुलिस शुरुआत में सात दिन की अनुमति देकर उसे बाद में आगे बढ़ाने को तैयार है.
बच्चे, बूढ़े, महिलाएं और विद्यार्थी हाथों में तख्तियां लिये देश को भ्रष्टाचार से मुक्त करने के नारे लगाते नजर आये.
इस बीच, हज़ारे की गिरफ्तारी के विरोध में आज दूसरे दिन भी राजधानी दिल्ली सहित पूरे देश में प्रदर्शन का सिलसिला जारी रहा.
इससे पहले उन्होंने संसद के दोनों सदनों में दिये अपने सख्त बयान में हजारे पर आरोप लगाया कि वह कानून बनाने के संसद के विशेषाधिकार पर सवाल उठा रहे हैं और उन्होंने अपने ‘जन लोकपाल विधेयक’ को संसद पर थोपने का जो रास्ता अख्तियार किया है , वह ‘पूरी तरह गलत’ है और संसदीय लोकतंत्र को उसके गंभीर परिणाम भुगतने पड़ सकते हैं.
प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने देर शाम अपने वरिष्ठ मंत्रियों के साथ बैठक कर हज़ारे प्रकरण पर चर्चा की.
अनशन की अवधि को लेकर दोनों पक्षों में गतिरोध बना रहा. हज़ारे पक्ष जहां 30 दिन के विरोध प्रदर्शन की अनुमति चाहता है, वहीं दिल्ली पुलिस शुरुआत में सात दिन की अनुमति देकर उसे बाद में आगे बढ़ाने को तैयार है.
साथ ही, अनशन स्थल पर प्रदर्शनकारियों की संख्या सीमित रखने की शर्त हटा दी गयी है.
सरकार के सूत्रों ने इस तरह के संकेत दिये कि हज़ारे पक्ष को रामलीला मैदान में अनशन की अनुमति दी जा सकती है.
देर शाम तिहाड़ जेल के अधिकारियों ने हज़ारे की तबीयत खराब होने की खबरों को गलत बताते हुए कहा कि 73 वर्षीय गांधीवादी नेता एकदम तंदरूस्त हैं और उनके स्वास्थ्य पर लगातार नजर रखी जा रही है.
इस बीच, देश भर में अन्ना के समर्थन में विरोध प्रदर्शनों का सिलसिला जारी रहा और प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने मसले को सुलझाने के लिये देर शाम उच्च स्तरीय बैठक बुलायी.
अनशन स्थल और अवधि को लेकर सरकार के नरम पड़ने के बावजूद अन्ना हज़ारे तिहाड़ जेल में अपना अनशन जारी रखते हुए बाहर नहीं आने की जि़द पर बने रहे.
केरल के कोच्चि में आईटी विशेषज्ञों एक समूह ने इंफोपार्क से कलेक्टरेट तक मार्च निकाल कर सरकार की कार्रवाई का विरोध किया.
अरूणाचल प्रदेश के निरजुली स्थित ‘नार्थ ईस्ट रिजनल इंस्टी्टयूट ऑफ साइंस एंड टेक्नोलॉजी’ के 300 से अधिक छात्रों ने हजारे के पक्ष में एक जुलूस निकाला.
शहर के पुलिस अधीक्षक दीपक चौधरी ने बताया कि 50 से अधिक लोगों को एहतियातन हिरासत में लिया गया.
इसमें असम गण परिषद के अध्यक्ष चंद्र मोहन पटोवारे सहित विभिन्न पार्टियों के नेताओं को भाग लेते देखा गया. ‘ऑल असम स्टूडेंट्स यूनियन’ :आसू: भी प्रदर्शन में शामिल है.
विभिन्न स्थानीय स्कूलों के छात्र और गणमान्य नागरिकों ने शहर के दीघालीपुखुरी इलाके में एकत्र होकर धरना दिया.
गुवाहाटी से प्राप्त खबर के मुताबिक छात्रों और गैर सरकारी संगठनों के प्रतिनिधियों ने यहां शांतिपूर्ण प्रदर्शन किया.
उधर, जम्मू में तरारो इलाके में जम्मू..पठानकोट राजमार्ग पर सैकड़ों प्रदर्शनकारी एकत्र हुए और प्रदर्शन किया. वहीं, लेह में एक दिवसीय धरना और एक मार्च निकाला गया.
हजारे की अलोकतांत्रिक गिरफ्तारी और उन्हें अनशन से रोकने में केंद्र सरकार की तानाशाहीपूर्ण भूमिका को लेकर यहां प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह का पुतला भी जलाया गया. यहां विभिन्न स्कूलों के छात्रों ने भी रैलियां निकाली.
कोलकाता से प्राप्त खबर के मुताबिक छात्रों, राजनीतिक पार्टियों और सामाजिक कार्यकर्ताओं ने अन्ना के भ्रष्टाचार के खिलाफ आंदोलन के समर्थन में प्रदर्शन किया.
हजारे के समर्थन में जयपुर में वकील एक दिन के हड़ताल पर रहे. इस हड़ताल में जिला एवं सत्र अदालत के करीब 1000 वकील शामिल हुए.
राजस्थान में कई स्थानों पर शांतिपूर्ण प्रदर्शन आज दूसरे दिन भी जारी रहा. भाजपा विधायक देवी सिंह भाटी और उनके समर्थकों ने अपनी गिरफ्तारियां दी.
इस बीच, शिरोमणि अकाली दल ने हजारे की गिरफ्तारी की कड़ी निंदा करते हुए कहा कि यह कदम लोकतंत्र की हत्या से कुछ कम नहीं है.
जिंद में 16 खाप पंचायतों की एक बैठक में सदस्यों ने उनके आंदोलन के समर्थन में क्रमिक उपवास करने का फैसला किया.
हरियाणा में सर्व खाप महापंचायत ने भी हजारे को अपना समर्थन देने की घोषणा कर दी.
हजारे के समर्थकों एवं भाजपा के कार्यकर्ताओं ने एक प्रभावी लोकपाल विधेयक के लिए समूचे पंजाब, हरियाणा और चंडीगढ़ में प्रदर्शन किया.
‘इंडिया अगेंस्ट करप्शन’ की बिहार इकाई ने पटना में बताया कि इसके सदस्य कल से राज्य में एक व्यापक संपर्क कार्यक्रम शुरू करेंगे.
उत्तर प्रदेश में पुलिस ने 151 लोगों को हिरासत में ले लिया लेकिन बाद में उन्हें रिहा कर दिया गया.
उधर, तमिलनाडु में भारी तादाद में लोगों ने उपवास रखा और चेन्नई के अदयार में 300 से अधिक लोग ‘इंडिया अगेंस्ट करप्शन’ के बैनर तले एकत्र हुए.
उड़ीसा विधानसभा में हंगामे को लेकर सदन की कार्यवाही दो बार स्थगित करनी पड़ गई क्योंकि भाजपा और सत्तारूढ़ बीजू जनता दल के विधायकों ने हजारे के खिलाफ की गई पुलिस कार्रवाई की निंदा की.
लोकपाल विधेयक में न्यायपालिका को नहीं शामिल किए जाने के विरोध में दिल्ली की सभी छह जिला अदालतों के वकीलों ने एक दिन का हड़ताल किया, जिससे 2जी स्पेक्ट्रम मामले की सुनवाई बाधित हुई.
उधर, इंदौर में भाजपा कार्यकर्ताओं ने धरना दिया. उन्होंने तख्तियां ले रखी थी, जिनपर हजारे के खिलाफ पुलिस कार्रवाई की आलोचना की गई थी.
कर्नाटक में हजारों छात्र अपनी कक्षाएं छोड़कर बंेगलूर स्थित फ्रीडम पार्क में एक रैली में उमड़ पड़े. राज्य के पूर्व लोकायुक्त संतोष हेगड़े भी इस धरना में शामिल हुए.
पार्टी प्रमुख एवं राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री एन चंद्रबाबू नायडू ने सिकंदराबाद में महात्मा गांधी की एक प्रतिमा के पास एक धरना का नेतृत्व किया.
तेलगू देशम पार्टी के समर्थकों ने पुलिस कार्रवाई के खिलाफ समूचे आंध्र प्रदेश में प्रदर्शन किया.
हजारे (73) को अलोकतांत्रिक तरीके से गिरफ्तार किए जाने के विरोध में मुंबई के दक्षिणी हिस्से में स्थित आजाद मैदान में प्रदर्शन किया गया.
इसके जरिए समाज के विभिन्न तबके के लोग दिल्ली पुलिस की कार्रवाई के खिलाफ अपनी नाराजगी जाहिर की.
चेन्नई, मुंबई, अहमदाबाद और गोवा सहित अन्य शहरों में लोगों ने मोमबत्तियां जलाकर मार्च निकाला.
प्रतापगढ़ से प्राप्त खबर के मुताबिक कुछ सामाजिक कार्यकर्ताओं ने एक ट्रेन को रोक लिया.
गुजरात के सूरत में प्रदर्शनकारियों ने उधना स्टेशन पर गुजरात एक्सप्रेस को आधे घंटे तक रोके रखा. शहर के वारचा इलाके में स्कूली बच्चों ने हजारे के भ्रष्टाचार विरोधी आंदोलन के समर्थन में मार्च निकाला.
राज्यों की राजधानी से प्राप्त खबरों के मुताबिक राजनीतिक दलों के कार्यकर्ताओं ने विभिन्न राज्यों में रैलियां निकाली, ताकि एक मजबूत लोकपाल विधेयक के लिए दबाव बनाया जा सके.
भ्रष्टाचार के खिलाफ 73 वर्षीय गांधीवादी के आंदोलन के प्रति एकजुटता का प्रदर्शन करने के लिए यह रैली निकाली गई.
दिल्ली में हजारे के सर्मथकों ने देशभक्ति गीत गाये. अपने हाथों में तख्तियां लिए लोगों ने ऐतिहासिक ‘इंडिया गेट’से संसद भवन के नजदीक तक रैली निकाली.
वहीं, कुछ वकील हड़ताल पर रहे जबकि प्रदर्शनकारियों ने दो ट्रेनों को कुछ देर के लिए रोक लिया.
सामाजिक कार्यकर्ता अन्ना हजारे की गिरफ्तारी के विरोध में आज दूसरे दिन भी राष्ट्रव्यापी प्रदर्शन जारी रहा तथा उनके समर्थकों ने धरना दिया, रैलियां निकाली, और मोमबत्ती जलाकर मार्च किया.