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Bhawanipur By Election: प्रचार के आखिरी दिन दिलीप घोष पर हमला, बोले - मेरी हत्या की साजिश थी

भवानीपुर उपचुनाव (Bhawanipur By Election) के लिए 30 सितंबर को वोटिंग होनी है. यहां ममता बनर्जी के सामने बीजेपी ने प्रियंका टिबरेवाल को उम्मीदवार बनाया है.

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दिलीप घोष पर हमले के वक्त भीड़ को पिस्टल दिखाकर हटाता सुरक्षाकर्मी
दिलीप घोष पर हमले के वक्त भीड़ को पिस्टल दिखाकर हटाता सुरक्षाकर्मी
स्टोरी हाइलाइट्स
  • भवानीपुर उपचुनाव के प्रचार का आखिरी दिन
  • बीजेपी ने TMC कार्यकर्ताओं पर लगाया हमले का आरोप

भवानीपुर उपचुनाव (Bhawanipur By Election) के प्रचार के आखिरी दिन भारतीय जनता पार्टी ने ममता बनर्जी की तृणमूल कांग्रेस पार्टी के कार्यकर्ताओं पर हमले के आरोप लगाए हैं. बीजेपी ने कहा कि भवानीपुर में प्रचार के दौरान उनके सीनियर नेता और राष्ट्रीय उपाध्यक्ष दिलीप घोष पर हमला हुआ. एक वीडियो फुटेज में सामने आई है जिसमें दिलीप घोष के सुरक्षाकर्मी पिस्टल दिखाकर कथित हमलावर भीड़ को भगा रहे हैं. ममता बनर्जी को घेरते हुए शुभेन्दु अधिकारी ने सवाल किया है कि ये हिंसा का सिलसिला आखिर कब रुकेगा?

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हमले के बाद दिलीप घोष ने भी राज्य सरकार को घेरा. उन्होंने कहा कि जब जन प्रतिनिधि पर भवानीपुर में हमले हो सकते हैं तो फिर वहां आम नागरिक कैसे सुरक्षित रह सकता है? दिलीप घोष ने आगे दावा किया, 'भवानीपुर में आज मुझे TMC के गुंडों ने मारने की कोशिश की.'

धक्का मुक्की के दौरान दिलीप घोष के दो सुरक्षाकर्मी बंदूक ताने भी दिखाई दिए. ये लोग भीड़ तो तितर-बितर करने के लिए पिस्तौल लहरा रहे थे.

वहीं, शुभेन्दु अधिकारी ने कहा कि मैंने TMC इसी (हिंसा) वजह से छोड़ी थी. जितना रक्तपात TMC करेगी, लोग उतना ही ज्यादा वोट डालने आएंगे. मुझे पूरा भरोसा है कि लोग वोट डालेंगे, लोग अब नहीं डरते.

दिलीप घोष ने ममता बनर्जी के भाई पर मारपीट का भी आरोप लगाया. उन्होंने कहा, 'भवानीपुर में ममता के भाइयों ने पुलिस को ही पीटा है. जहां पुलिस और जनप्रतिनिधियों पर ही हमले हो रहे हैं, वहां आम जनता का क्या हाल होगा? ये और कुछ नहीं बल्कि लोगों को डराने-धमकाने का नया तरीका है.'

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ममता की वजह से हो रहा दोबारा चुनाव - शुभेन्दु अधिकारी

शुभेन्दु अधिकारी ने कहा कि भवानीपुर उपचुनाव ममता द्वारा लोगों पर थोपा गया है. वह बोले कि ऐसे चुनाव तब होता है जब सांसद या विधायक की मौत हो जाए या वह पार्टी बदल ले, जिसकी वजह से उसकी सदस्यता चली जाए. लेकिन विधायक शोभंडेब स्वस्थ हैं, ना ही उन्होंने पार्टी बदली है लेकिन फिर भी उपचुनाव हो रहे हैं. इस चुनाव पर तीन करोड़ करदाताओं का पैसा लग रहा है.

अपने भाषण में शुभेन्दु अधिकारी ने आगे कहा, 'ममता बनर्जी ने मुहर्रम के जुलूस के लिए दुर्गा पूजा के जुलूस पर पाबंदी लगाई थी. गलत चंडी पाठ भी पढ़ा था. आप वोटर्स से अपील है कि अब भवानीपुर को नंदीग्राम बना दीजिए. नंदीग्राम में मैंने ममता को 1956 वोटों से हराया था.'

वहीं बीजेपी नेता दिनेश त्रिवेदी ने कहा कि लोगों से यही अपील है कि वे डरें नहीं और लोकतंत्र के लिए वोट करें. वह बोले कि मुझे यह कहते हुए दुख हो रहा है कि यहां लोकतंत्र नहीं दिखता. अगर होता तो ऐसे हमले नहीं होते.

30 सितंबर को भवानीपुर सीट पर उपचुनाव

बता दें कि 30 सितंबर को भवानीपुर सीट पर उपचुनाव के लिए मतदान होगा. इस सीट से सीएम ममता बनर्जी साल 2011 और साल 2016 में जीत हासिल कर चुकी हैं. इस साल अप्रैल-मई के विधानसभा चुनावों में टीएमसी प्रमुख ममता बनर्जी ने अपनी पारंपरिक सीट भवानीपुर छोड़कर नंदीग्राम से चुनाव लड़ा था जिसके बाद उन्हें हार का सामना करना पड़ा था. ममता बनर्जी को शुभेंदु अधिकारी के हाथों शिकस्त मिली थी. इस सीट से बीजेपी ने प्रियंका टिबरेवाल को उम्मीदवार बनाया है.

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