देश में कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर भयावह हो गई है. मरीजों की संख्या बढ़ रही है. अस्पतालों में बेड नहीं हैं. ऑक्सीजन, दवा, वैक्सीन हर चीज की कमी की खबरें मीडिया में छाई हुई हैं. अंतर्राष्ट्रीय मीडिया और भारत में विपक्ष इसके लिए मोदी सरकार को जिम्मेदार ठहरा रहा है. निशाने पर खुद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और उनके लिए फैसले हैं. पीएम मोदी पर हमले तेज हुए तो उनके बचाव में केंद्र के कई मंत्री और बीजेपी के बड़े नेता एकसाथ मैदान में उतर आए. उनका सहारा बना एक अंग्रेजी वेबसाइट 'द डेली गार्जियन' में छपा एक लेख.
मोदी के मंत्रियों और बीजेपी के कई नेताओं ने इस वेबसाइट में छपे लेख के अंश ट्वीट किए. साथ ही लेख का लिंक भी अपने ट्वीट में शामिल किया. कोशिश ये दिखाने की थी कि जिस समय भारत कोरोना की अभूतपूर्व आपदा का सामना कर रहा है, उस समय प्रधानमंत्री मोदी कड़ी मेहनत कर रहे हैं ताकि संकट से देशवासियों को उबारा जा सके. वे विपक्ष के आरोपों का जवाब देने में समय बर्बाद न कर चुपचाप इस आपदा से लड़ने की रणनीति पर काम कर रहे हैं.
बीजेपी आईटी सेल के हेड अमित मालवीय ने ट्वीट किया, "किसी की मौत बड़ी खबर है, रिकवरी नहीं. क्या हम जानते हैं कि 85% से ज्यादा लोग घर पर ही ठीक हो गए, सिर्फ 5% ऐसे हैं, जिन्हें क्रिटिकल केयर की जरूरत है. लेकिन देश में इस वक्त रिकवरी या डेथ पर बहस नहीं हो रही. बहस इस बात पर हो रही है कि इस महामारी के लिए किसे जिम्मेदार ठहराया जाए."
Death is big news, recovery is not. Do we know that more than 85% people recover without hospitalization and only 5% need critical care. But the larger debate in the country is not about recovery or death: it is about who should be blamed for the pandemic. https://t.co/O3zmOoN935
— Amit Malviya (@amitmalviya) May 11, 2021
केंद्रीय मंत्री किरेन रिजिजू ने आर्टिकल शेयर करते हुए उसकी हेडिंग ट्वीट की, "मैंने अभी देखा पीएम मोदी कड़ी मेहनत कर रहे हैं. विपक्ष की बातों में न फंसें."
I just saw PM MODI HAS BEEN WORKING HARD; DON’T GET TRAPPED IN THE OPPOSITION’S BARBS - Click to see also ☛ https://t.co/eqwxr5s4jQ
— Kiren Rijiju (@KirenRijiju) May 11, 2021
गृह राज्यमंत्री जी. किशन रेड्डी ने आर्टिकल शेयर करते हुए उसका ये हिस्सा ट्वीट किया, "ये वो प्रधानमंत्री हैं जो संकट आने पर चुपचाप काम करते हैं और राजनीतिक बयानों पर प्रतिक्रिया नहीं देते, क्योंकि ये उसका समय नहीं है. पीएम मोदी पर विपक्ष के फर्जी प्रोपेगेंडा में न फंसें.
“Here is a prime minister who tries to work silently when a crisis comes and does not react to political statements since this is not the time to take the bull by the horns.”
— G Kishan Reddy (@kishanreddybjp) May 11, 2021
Don’t get trapped by the opposition’s false propaganda on PM Shri @narendramodi.https://t.co/KdagIBQs1i
संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी ने भी इस आर्टिकल को शेयर करते हुए अमित मालवीय और जी किशन रेड्डी वाली लाइनें ही ट्वीट कीं.
"More than 85% of people recover without hospitalization & only 5% or so need critical hospital care.. Here is a PM who works silently when a crisis comes & does not react to political statements since this is not the time to take the bull by the horns."https://t.co/M8sfgdjl54
— Pralhad Joshi (@JoshiPralhad) May 11, 2021
झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री रघुबर दास ने लेख शेयर करते हुए उसकी हेडिंग ट्वीट की. केंद्रीय मंत्री डॉ. जितेंद्र सिंह ने भी यही किया.
PM MODI HAS BEEN WORKING HARD; DON’T GET TRAPPED IN THE OPPOSITION’S BARBS - The Daily Guardian https://t.co/LVIHHgec2H
— Raghubar Das (@dasraghubar) May 11, 2021
#TheDailyGuardian: PM Sh @NarendraModi has been working hard; don't get trapped in the oppositions's barbs. #IndiaFightsCorona
— Dr Jitendra Singh (@DrJitendraSingh) May 11, 2021
https://t.co/hMWPfvr0CX
उन्हीं की तरह वित्त राज्य मंत्री अनुराग ठाकुर और बीजेपी के राष्ट्रीय प्रवक्ता गोपाल कृष्ण अग्रवाल, मध्य प्रदेश की पूर्व मंत्री अर्चना चिटनीस ने भी लेख की हेडिंग ट्वीट करते हुए उसका लिंक शेयर किया.
— Anurag Thakur (@ianuragthakur) May 11, 2021
PM SHRI @narendramodi JI HAS BEEN WORKING HARD; DON’T GET TRAPPED IN THE OPPOSITION’S BARBS - The Daily Guardian https://t.co/lMOzcNpkmi
— Archana Chitnis (@ChitnisArchana) May 11, 2021
Do read the facts about #IndiaFightsCorona by Shri @SudeshBJP in today’s #TheDailyGaurdian https://t.co/C1y2eGMgZJ
— Gopal Krishna Agarwal (@gopalkagarwal) May 11, 2021
अब गांव बने कोरोना का एपिसेंटर, न स्वास्थ्य सुविधाएं, न सिस्टम को सुध..कैसे संभलेंगे हालात?
क्या लिखा है लेख में
ये आर्टिकल बीजेपी की मीडिया रिलेशन डिपार्टमेंट में संयोजक सुदेश वर्मा ने लिखा है. सुदेश टीवी चैनलों की डिबेट में पार्टी का पक्ष रखते भी दिखते हैं. इससे पहले उन्होंने प्रधानमंत्री मोदी पर एक किताब 'नरेंद्र मोदीः द गेम चेंजर' भी लिखी है. खैर, अखबार में छपे लेख में लिखा है कि "प्रधानमंत्री मोदी के विरोधी महामारी के लिए उन्हें जिम्मेदार ठहरा रहे हैं. कह रहे हैं कि उन्होंने चुनावी रैलियां करने की अनुमति क्यों दी? कुंभ मेला क्यों करने दिया? लॉकडाउन क्यों नहीं लगाया? लेकिन जब राज्यों के मुख्यमंत्री राजनीति करने में व्यस्त थे, तब प्रधानमंत्री मोदी काम कर रहे थे."
लेख कहता है "कोई भी नहीं जानता था कि दूसरी लहर इतनी भयावह होगी तो क्या इसके लिए मोदी को जिम्मेदार ठहराना सही है? सुप्रीम कोर्ट ने 30 अप्रैल को कहा था कि 70 साल में देश में जो हेल्थ इन्फ्रास्ट्रक्चर तैयार किया गया, वो पर्याप्त नहीं था. इस वजह से स्थिति इतनी विकट हुई."
इसमें लिखा गया है, "2014 में जब मोदी प्रधानमंत्री बने तो उन्होंने देश में 14 एम्स खोलने का फैसला लिया. देशभर में 157 मेडिकल कॉलेज खोलने की अनुमति दी. 2014-15 में 215 निजी और 189 सरकारी मेडिकल कॉलेज थे. 2019 में 279 सरकारी और 260 निजी मेडिकल कॉलेज हो गए. 2014 में देश में एमबीबीएस की 50 हजार सीट ही थीं, लेकिन पिछले 6 साल में 30 हजार सीटें बढ़ाई गई हैं."
अखबार में छपे लेख में दावा किया गया है कि इस साल चार बार केंद्र सरकार ने राज्यों को दूसरी लहर आने की चेतावनी जारी की थी. पहली बार जनवरी में, उसके बाद 21 फरवरी, 25 फरवरी और 27 फरवरी को राज्यों को चेतावनी जारी की कि देश में दूसरी लहर आ सकती है. इससे निपटने के इंतजाम किए जाएं. अप्रैल-मई के बीच प्रधानमंत्री मोदी ने 28 बार मीटिंग की कि कैसे कोरोना से निपटा जाए. लेख में लिखा गया है कि जब केंद्र सरकार ने वैक्सीनेशन प्रोग्राम शुरू किया तो विपक्ष ने 'बीजेपी वैक्सीन' बताकर इसका मजाक उड़ाया.
बीजेपी नेताओं-मंत्रियों की मुहिम पर सवाल
ट्विटर पर पीएम मोदी को काम करते दिखाने की बीजेपी के नेताओं और मंत्रियों की मुहिम वाले लेख पर शिवसेना नेता प्रियंका चतुर्वेदी ने सवाल उठाए.
If international media questions us, so what? We will create our own international sounding websites to ensure propaganda continues. pic.twitter.com/YjepcJTo6S
— Priyanka Chaturvedi🇮🇳 (@priyankac19) May 11, 2021
उन्होंने ट्विटर पर बीजेपी के तमाम केंद्रीय मंत्रियों और नेताओं के ट्वीट के स्क्रीनशॉट शेयर करते हुए लिखा, "इंटरनेशनल मीडिया हमसे सवाल करता है तो क्या? प्रोपेगैंडा के लिए हम इंटरनेशनल मीडिया की तरह दिखने वाली वेबसाइट बनाएंगे."
Is it only @KirenRijiju or the entire cabinet who 'just saw Modi has been working hard'? By the way, where does he want us to click? Trust #TheDailyGuardian for your daily diet of 'positivity' and wholesome entertainment! pic.twitter.com/gDSt84PwH6
— Dipankar (@Dipankar_cpiml) May 11, 2021
वहीं, कम्युनिस्ट पार्टी से जुड़े दीपांकर ने किरेन रिजिजू के ट्वीट का स्क्रीनशॉट शेयर करते हुए लिखा, "ये सिर्फ किरेन रिजिजू ही हैं या पूरी कैबिनेट है जिसने 'अभी मोदी को कड़ी मेहनत करते देखा' है? बहरहाल, ये हमसे कहां क्लिक करवाना चाहते हैं? डेली एंटरटेनमेंट और पॉजिटिविटी के लिए द डेली गार्जियन पर भरोसा रखें."
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