कांग्रेस पार्टी में बड़े बदलाव को लेकर लिखा गया वरिष्ठ नेताओं का एक पत्र विवाद का केंद्र बन गया है. सोमवार को इस मसले पर कांग्रेस कार्यसमिति की बैठक में काफी खींचतान देखने को मिली. तीखी बहस की भी खबरें आईं. साथ ही सोनिया गांधी को लिखा गया पत्र लीक करने वाले नेता का पता लगाने तक की बात उठी. करीब सात घंटे चली बैठक के बाद गुलाम नबी आजाद के घर कई बड़े नेता पहुंचे.
दरअसल, सोनिया गांधी को पत्र लिखने वाले नेताओं में गुलाम नबी आजाद का भी नाम है. बैठक से गुलाम नबी आजाद को लेकर भी कई किस्म की खबरें आईं. ये भी कहा गया कि राहुल गांधी ने गंभीर इल्जाम लगाए हैं, जिससे आजाद ने आरोप साबित होने पर इस्तीफे तक की बात कही. हालांकि, बाद में इन सभी बातों का खंडन किया गया. लेकिन जैसे ही बैठक खत्म हुई, गुलाम नबी आजाद के घर कुछ बड़े नेता पहुंचने लगे.
बताया जा रहा है कि आजाद के घर पहुंचने वाले नेताओं में कपिल सिब्बल, शशि थरूर, मुकुल वासनिक और मनीष तिवारी थे. इन सभी नेताओं के नाम उस पत्र पर साइन करने वालों की लिस्ट में भी है जो कांग्रेस लीडरशिपर में बदलाव के लिए लिखा गया था.
गुलाम नबी आजाद के घर इन सभी नेताओं ने उस प्रस्ताव पर चर्चा की, जो CWC बैठक में पास किया गया था. इस प्रस्ताव में सोनिया गांधी को ही अगले AICC सत्र तक कांग्रेस अध्यक्ष पद पर बने रहने पर सहमति जताई गई है, साथ ही सोनिया गांधी को भी संगठन में बदलाव का अधिकार दिया गया है.