प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को अपने संसदीय क्षेत्र वाराणसी का दौरा किया. राजघाट से पीएम ने काशी के लोगों को संबोधित करते हुए कहा कि काशी की भक्ति-शक्ति कोई नहीं बदला सकता है. काशी विश्वनाथ धाम में आने वाले श्रद्धालुओं के लिए सुगम दर्शन की परिकल्पना अब जल्द ही साकार होगी. पीएम ने कहा कि काशी विश्वनाथ धाम परियोजना को अगस्त 2021 तक पूर्ण कर देश के देदीप्यमान प्रतीक के रूप में जनमानस को समर्पित कर दिया जाएगा.
राजघाट से PM मोदी ने कहा कि 100 साल से भी पहले माता अन्नपूर्णा की जो मूर्ति काशी से चोरी हो गई थी, वो फिर वापस आ रही है. माता अन्नपूर्णा एक बार फिर अपने घर लौटकर वापस आ रही हैं. प्रधानमंत्री ने कहा कि हमारे देवी देवताओं की ये प्राचीन मूर्तियां, हमारी आस्था के प्रतीक के साथ ही हमारी अमूल्य विरासत भी हैं. ये बात सही है कि इतना प्रयास अगर पहले किया गया होता, तो ऐसी कितनी ही मूर्तियां, देश को काफी पहले वापस मिल जातीं, लेकिन कुछ लोगों की सोच अलग रही है.
विपक्ष को घेरते हुए पीएम मोदी ने कहा कि हमारे लिए विरासत का मतलब है देश की धरोहर, जबकि कुछ लोगों के लिए विरासत का मतलब होता है, अपना परिवार और अपने परिवार का नाम. हमारे लिए विरासत का मतलब है हमारी संस्कृति, हमारी आस्था. उनके लिए विरासत का मतलब है अपनी प्रतिमाएं, अपने परिवार की तस्वीरें.
पीएम मोदी ने कहा कि आज हम सुधार की बात करते हैं. समाज और व्यवस्था में सुधार के बहुत बड़े प्रतीक तो स्वयं गुरु नानक देव जी ही थे. हमने ये भी देखा है कि जब समाज, राष्ट्रहित में बदलाव होते हैं, तो जाने-अनजाने विरोध के स्वर जरूर उठते हैं. लेकिन जब उन सुधारों की सार्थकता सामने आने लगती है तो सब कुछ ठीक हो जाता है. यही सीख हमें गुरुनानक देवजी के जीवन से मिलती है.