दांत लगवाने के नाम पर चंडीगढ़ के एक डेंटिस्ट को अमेरिका की एक महिला को ठगना महंगा पड़ा है. डॉक्टर द्वारा इलाज के नाम पर ठगी गई महिला ने कोर्ट का दरवाजा खटखटाकर इस लालची डॉक्टर के ही दांत खट्टे कर दिए. इस लालची डॉक्टर पर अब गिरफ्तारी की तलवार लटक रही है.
ठगी का मामला झेल रहा 33 साल का आरोपी डॉक्टर मोहन धवन चंडीगढ़ के सेक्टर 21 में एडवांस डेंटल केयर नाम के अस्पताल का मालिक है. मोहन धवन ने अग्रिम जमानत के लिए जब कोर्ट का दरवाजा खटखटाया तो कोर्ट ने भी मामले की गंभीरता देखते हुए डॉक्टर की अग्रिम जमानत याचिका खारिज कर दी और कहा कि सच्चाई जानने के लिए डॉक्टर को हिरासत में लेकर पूछताछ करना जरूरी है.
मामला अगस्त 2017 का है, जब भारतीय मूल की गर्टरूड डिसूजा 10,500 अमेरिकी डॉलर के डेंटल टूरिज्म पैकेज पर चंडीगढ़ आई थी. डॉक्टर ने इस पैकेज में दांत के इम्प्लांट लगाने के अलावा मरीज को पांच सितारा होटल में ठहरने, वापसी के एयर टिकट और आगरा और शिमला में घूमने की व्यवस्था करने का वादा भी किया था, जो झूठा साबित हुआ.
चंडीगढ़ पुलिस को दी गई अपनी शिकायत में पीड़िता ने बताया था कि उसने डॉक्टर को एक चेक के जरिए सात लाख रुपए अदा किए थे. अस्पताल के प्रबंधक ने उनको आश्वस्त किया था कि अगर उनको अस्पताल की सेवाएं अच्छी नहीं लगेंगी तो उनको पैसा वापस कर दिया जाएगा.
गर्टरूड डिसूजा ने पुलिस को दी अपनी शिकायत में कहा है कि जैसे ही वह अमेरिका वापस पहुंची, दो दिन बाद यानी 24 अगस्त 2017 को मोहन धवन द्वारा लगाए गए डेंटल इम्प्लांट गिर गए.
उन्होंने डॉक्टर से संपर्क करने की कोशिश की तो भी कोई मदद नहीं मिली. वह 25 अगस्त से 30 अगस्त 2017 के बीच डॉक्टर को लगातार फोन करती रही लेकिन डॉक्टर कभी वाईफाई तो कभी दूसरे बहाने बनाकर बचता रहा. उसके बाद उसने गर्टरूड डिसूजा के फोन उठाने बंद कर दिए.
हारकर महिला को अमेरिका में ही अपने दांत ठीक करवाने पड़े, जिस पर 1500 अमेरिकी डॉलर का खर्च आया. उसके बाद अचानक 2 सितंबर 2017 को आरोपी डॉक्टर ने पीड़िता को ईमेल से सूचित किया कि उसने महिला के दांतों के सेट कूरियर से भेज दिए हैं जो पीड़िता को कभी भी नहीं मिले. बाद में जांच से पता चला कि डॉक्टर ने महिला को कोई कूरियर किया ही नहीं था.
19 मार्च 2018 को चंडीगढ़ के सेक्टर 19 पुलिस स्टेशन में दर्ज की गई शिकायत में डिसूजा ने डॉक्टर पर आरोप लगाया है कि उसने बिना उसकी इजाजत के उसकी सर्जरी की. पुलिस ने आरोपी डॉक्टर के खिलाफ आईपीसी की धारा 420, 467, 468 और 471 (ठगी और धोखाधड़ी) के तहत मामला दर्ज किया है.