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AC, LCD, वॉशरूम, किचन... दिल्ली जाने पर अड़े इस किसान ने ट्रॉली को बनाया चलता-फिरता घर

फरीदकोट के कोटकापुरा के गुरबीर सिंह संधू ने अपनी  ट्रॉली को नया रूप दे डाला है. उन्होंने ट्रॉली को एयरकंडिशन रूम बना दिया है, जिसमें आंदोलनरत किसान गर्मियों के समय आराम करेंगे. इस मोडिफाइड ट्रॉली में किचन, बाथरूम, बैंड, ऐसी, एलसीडी की सुविधा मौजूद है.

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फरीदकोट के किसान ने अपनी ट्रॉली को आधुनिक एयरकंडीशन रूम में बदला. (फोटो: आज तक)
फरीदकोट के किसान ने अपनी ट्रॉली को आधुनिक एयरकंडीशन रूम में बदला. (फोटो: आज तक)

​दिल्ली की सीमाएं एक बार फिर सील हो गई हैं, इसके पीछे की वजह है किसान आंदोलन पार्ट टू. स्वामीनाथन आयोग की सिफारिशें लागू करने, एमएसपी गारंटी कानून,​ कर्ज माफी, बिजली बिलों में रियायत, किसानों को पेंशन इत्यादि मुद्दों को लेकर पंजाब के किसान संगठनों ने 'दिल्ली चलो' मार्च का ऐलान किया है. राष्ट्रीय राजधानी की ओर कूच करने के प्रयासों में प्रदर्शनकारी किसान पंजाब-हरियाणा की सीमाओं पर डटे हुए हैं. हरियाणा पुलिस ने पंजाब से लगने वाली अपनी सीमाओं पर किसानों को रोकने के लिए तमाम तैयारियां की हैं, जिनमें डिफेंस वॉल, बैरिकेडिंग्स इत्यादि शामिल हैं. 

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किसान जब भी आगे बढ़ने का प्रयास कर रहे, हरियाणा पुलिस और केंद्रीय बलों के जवान आंसू गैस के गोले, वॉटर कैनन का प्रयोग कर उन्हें रोक दे रहे. वहीं, किसानों ने भी तरह-तरह के उपकरण बॉर्डर पर जमा किए हैं, जिनमें पोक्लेन मशीन, क्रेन, मोडिफाइड ट्रैक्टर इत्यादि शामिल हैं. फरीदकोट के कोटकापुरा के गुरबीर सिंह संधू ने अपनी  ट्रॉली को नया रूप दे डाला है. उन्होंने ट्रॉली को एयरकंडिशन रूम बना दिया है, जिसमें आंदोलनरत किसान गर्मियों के समय आराम करेंगे. इस मोडिफाइड ट्रॉली में किचन, बाथरूम, बैंड, ऐसी, एलसीडी की सुविधा मौजूद है. गुरबीर सिंह संधू के मुताबिक इसे बनाने में करीब 5 से 6 लाख रुपए का खर्च आया है. 

उन्होंने बताया कि ट्रॉली को आधुनिक एयरकंडीशन कमरे में बदलने में 23 दिन लगे. इसमें 10 से 12 लोग आराम कर सकते हैं और जरूर के समय इमरजेंसी एम्बुलेंस के तौर पर भी इसका इस्तेमाल किया जा सकता है. गुरबीर सिंह संधू का कहना है, 'किसानों की मांगें सरकार इतनी जल्दी मानने वाली नहीं है. संघर्ष लंबा भी चल सकता है. प्रदर्शनकारी किसानों को रहने में कोई समस्या न आए इसलिए मैंने ट्रॉली को मोडिफाई करके एयरकंडीशन रूम में तब्दील किया है'. किसान आंदोलन पार्ट वन के समय भी गुरबीर अपनी ट्रॉली लेकर दिल्ली के सिंघू बॉर्डर पर आए थे.

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सरकार ने मंगलवार को बताया कि पंजाब-हरियाणा सीमा पर 1,200 ट्रैक्टर ट्रॉली, 300 कारों, 10 मिनी बसों और छोटे वाहनों के साथ लगभग 14,000 लोग एकत्र हुए हैं. पंजाब एवं हरियाणा उच्च न्यायालय ने 20 फरवरी को प्रदर्शनकारी किसानों की निंदा करते हुए कहा कि ट्रैक्टर ट्रॉलियों का उपयोग राजमार्गों पर नहीं किया जा सकता है. कोर्ट ने अपनी टिप्पणी में कहा कि प्रदर्शनकारी किसान ऐसा करके 'मोटर व्हीकल एक्ट' का उल्लंघन कर रहे हैं. दिल्ली पुलिस ने शहर के टिकरी, सिंघू और गाजीपुर बॉर्डर पर तैनात सुरक्षा कर्मियों को सतर्क रहने का निर्देश दिया है.

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