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पंजाब: बजट से पहले AAP पर विपक्ष का निशाना, कहा- 'भारी कर्ज में डूबा हुआ है राज्य' 

विधानसभा में बजट पेश करने से पहले विपक्ष ने पंजाब की आम आदमी पार्टी सरकार पर निशाना साधा है. बीजेपी का कहना है कि राज्य की वित्तीय स्थिति खराब है. वहीं, कांग्रेस का कहना है कि पंजाब में ये एक फ्लॉप सरकार है. जबकि विपक्ष पर हमला करते हुए वित्त मंत्री ने कहा, 'पिछली अकाली-भाजपा और कांग्रेस सरकारों ने पंजाब पर करीब 3 लाख करोड़ रुपये का कर्ज छोड़ दिया है.'

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पंजाब के सीएम भगवंत मान. (फाइल फोटो)
पंजाब के सीएम भगवंत मान. (फाइल फोटो)

पंजाब के वित्त मंत्री हरपाल चीमा 26 मार्च बुधवार को विधानसभा में बजट पेश करेंगे. इसी बीच सत्तारूढ़ आम आदमी पार्टी को बढ़ते कर्ज को लेकर आलोचनाओं का सामना करना पड़ रहा है, क्योंकि विपक्ष AAP सरकार पर बढ़ती उधारी और दूसरा सबसे ज्यादा कर्ज में डूबा राज्य बनने का आरोप लगा रहा है.

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साल 2022 में राज्य में सत्ता में आने वाली आम आदमी पार्टी (AAP) पर अब 3.78 लाख करोड़ रुपये का कर्ज है, जिससे अरुणाचल प्रदेश के बाद पंजाब दूसरा सबसे अधिक कर्जदार राज्य बन गया है.

केंद्रीय वित्त राज्य मंत्री पंकज चौधरी द्वारा जब से संसद में आंकड़े दिए हैं, तब से पंजाब में विपक्ष बजट से पहले सत्तारूढ़ AAP पर कड़ा प्रहार कर रहा है.

'हमें इस सरकार से बहुत उम्मीदें नहीं हैं'

आजतक से बात करते हुए पंजाब बीजेपी विधायक और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष अश्विनी शर्मा ने कहा, 'पंजाब सरकार विफल साबित हुई है. उन्होंने वित्तीय स्वास्थ्य सुधारने का वादा किया था, लेकिन स्थिति ऐसी है कि राज्य की वित्तीय स्थिति खराब है और वे भारी कर्ज में डूबे हुए हैं. बुधवार को बजट पेश किया जाएगा और सबकी निगाहें इस बात पर होंगी कि क्या वे महिलाओं को 1000 रुपये प्रति माह देने का चुनाव से पहले वादा पूरा करते हैं. हमें इस सरकार से बहुत उम्मीदें नहीं हैं.'

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फ्लॉप है ये सरकार: कांग्रेस विधायक

जालंधर कैंट से कांग्रेस विधायक परगट सिंह ने कहा, 'पंजाब में ये एक फ्लॉप सरकार है. जब वे सत्ता में आए थे तो उन्होंने कहा था कि वे कर्ज को शून्य कर देंगे, लेकिन उन्होंने बहुत ज्यादा कर्ज लिया और आज पंजाब लगभग 3.75 लाख करोड़ रुपये के कर्ज में डूबा हुआ है. हमें लगता है कि इस सरकार में दूरदर्शिता की कमी है और इसके लिए मुफ्तखोरी जिम्मेदार है.'

इस बीच शिरोमणि अकाली दल के विधायक मनप्रीत सिंह अयाली ने कहा, 'मुझे लगता है कि पंजाब को केंद्र से वित्तीय पैकेज की जरूरत है. राज्य सरकार ने वक्त-वक्त पर बड़े-बड़े वादे किए और उन्हें पूरा करने के लिए भारी कर्ज लिया. हमें लगता है कि एक कानून आना चाहिए, जिसमें सरकार अपने वित्तीय संसाधनों के अनुसार वादे करे.'

पिछली सरकारों ने छोड़ा भारी कर्ज: वित्त मंत्री

पंजाब विधानसभा में कर्ज पर बात करते हुए राज्य के वित्त मंत्री हरपाल चीमा ने आजतक से कहा, 'पिछली अकाली-भाजपा और कांग्रेस सरकारों ने पंजाब पर करीब 3 लाख करोड़ रुपये का कर्ज छोड़ दिया है. अकेले इस कर्ज पर ब्याज सालाना 20,000 करोड़ रुपये है जो राज्य के वित्त पर बहुत बड़ा बोझ है. हालांकि, मूलधन चुकाने की कोशिश की जा रही है. लेकिन बजट का एक बड़ा हिस्सा अभी-भी ब्याज चुकाने में लगाया जा रहा है, जिससे राज्य के संसाधनों पर दबाव पड़ रहा है.'

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उन्होंने आगे कहा, 'आज पंजाब इस स्थिति में है, क्योंकि ये भारी कर्ज पिछली सरकारों ने लिए थे. अगर उन्होंने चीजों को व्यवस्थित किया होता तो ये सरकार कर्ज नहीं लेती.'

वादे पर टिकी हैं सबकी निगाहें

बुधवार को पंजाब सरकार अपना बजट पेश करने जा रही है. ऐसे में सबकी निगाहें आप द्वारा चुनाव से पहले की गई घोषणा पर टिकी होंगी, जिसमें उसने पंजाब की महिलाओं को 1000 रुपये प्रतिमाह देने की बात कही थी. हालांकि, 3 साल बीत जाने के बाद भी सरकार ने अभी तक अपना वादा पूरा नहीं किया है और विपक्ष लगातार इस मुद्दे पर सरकार को घेर रहा है.

इसके इतर हरियाणा सरकार ने अपने हालिया बजट में हरियाणा की महिलाओं को 2100 रुपये प्रतिमाह देने के लिए फंड आवंटित किया है. इसके बाद से पंजाब पर अपने वादे को पूरा करने का दबाव है. हालांकि, पंजाब की वित्तीय स्थिति को देखते हुए राज्य को इसके लिए कड़ी मशक्कत करनी होगी.

आपको बता दें कि जब पंजाब में AAP सत्ता में आई थी, उस वक्त राज्य पर 2.92 लाख करोड़ रुपये का कर्ज था और तीन साल बाद राज्य सरकार ने लगभग 90,000 करोड़ रुपये उधार लिए हैं, जिससे ये आंकड़ा 3.78 लाख करोड़ रुपये हो गया है.

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