
जहां एक तरफ सिद्धू मुसेवाला हत्याकांड के मास्टरमाइंड गोल्डी बराड़ के करीबी गैंगस्टरों को पकड़ने के लिए पंजाब पुलिस छापेमारी कर रही है. तो वहीं एक बड़ी खबर सामने आई है कि कनाडा के पीनीपेग सिटी में भारत से फरार गैंगस्टर सुखदूल सिंह उर्फ सुक्खा दुनुके की हत्या हो गई है. आरोपी सुक्खा खालिस्तानी आतंकी अर्शदीप सिंह उर्फ अर्श डाला का राइट हैंड था और एनआईए की वॉटेंड लिस्ट में शामिल था. गुरुवार को किसी ने गोली मारकर उसकी हत्या कर दी है.
सुक्खा कनाडा में बैठकर भारत में अपने गुर्गों के जरिए रंगदारी या उगाही का काम भी करता था. सुखदूल सिंह उर्फ सुक्खा दुनेके ने कनाडा भागने के लिए 2017 में जाली दस्तावेजों के आधार पर पासपोर्ट और पुलिस क्लीयरेंस प्रमाणपत्र प्राप्त किया, जबकि उसके खिलाफ सात आपराधिक मामले दर्ज थे.
पुलिस वालों से मिलीभगत करके उसने कनाडा का वीजा हासिल कर लिया था. डुनेके के खिलाफ भी मामला दर्ज किया गया था. पंजाब पुलिस के 2 कर्मियों पर उसकी मदद करने का आरोप लगा था, बाद में उन्हें मोगा पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया.
वहीं, दूसरी तरफ गैंगस्टर गोल्डी बराड़ के गुर्गों को लेकर पंजाब पुलिस भी सुबह 7 बजे से एक्शन में है. पूरे राज्स में बड़े स्तर पर पंजाब पुलिस छापेमारी कर रही है. दोपहर दो बजे तक यह ऑपरेशन चलाया जाएगा. संदिग्ध व्यक्तियों को राउंडअप करने के आदेश दिए गए हैं. आज यानि गुरुवार शाम 5:00 बजे एडीजीपी को रिपोर्ट सौंपी जाएगी. बता दें, पंजाबी सिंगर सिद्धू मुसेवला हत्याकांड का मास्टरमाइंड है गोल्डी बराड़.
कौन है गोल्डी बराड़?
सतिंदर सिंह उर्फ गोल्डी बराड़ गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई का करीबी है. वह पंजाब में चलाए जा रहे रंगदारी रैकेट में शामिल रहा है. उस पर यूथ कांग्रेस के नेता गुरलाल पहलवान की हत्या में शामिल होने का भी आरोप है. गोल्डी ने 29 मई 2022 को पंजाबी सिंगर और कांग्रेस पार्टी के नेता सिद्धू मूसेवाला की पंजाब के मानसा में हुई हत्या की जिम्मेदारी ली. वह 2021 से कनाडा में रह रहा है और वहां से पंजाब में एक मॉड्यूल के जरिए काम करता है. बराड़ पंजाब के फरीदकोट जिले का मूल निवासी है.
सिद्धू की हत्या के मास्टरमाइंड गैंगस्टर गोल्डी बराड़ ने कनाडा में बैठकर ही पूरी साजिश रची थी. इतना ही नहीं खालिस्तानी आतंकी गुरपतवंत सिंह पन्नू के अलावा लखबीर सिंह उर्फ लांडा, चरणजीत सिंह, उर्फ रिंकू रंधावा; अर्शदीप सिंह, उर्फ अर्श डाला और रमनदीप सिंह उर्फ रमन जज जैसे खूंखार गैंगस्टर ने भी कनाडा की पनाह ले रखी है.
हरदीप सिंह निज्जर की हत्या
इसी साल NIA ने जालंधर में एक हिंदू पुजारी की हत्या के मामले में खालिस्तान टाइगर फोर्स के प्रमुख हरदीप सिंह निज्जर पर 10 लाख रुपये का इनाम घोषित किया था. हालांकि, इसके कुछ दिनों बाद ही जून में निज्जर की कनाडा में गोली मारकर अज्ञात बदमाशों ने हत्या कर दी. निज्जर कनाडा में रह रहा था और भारत में 'सिख फॉर जस्टिस' संगठन के जरिए खालिस्तानी गतिविधियों को बढ़ावा दे रहा था. अब कनाडा के पीएम जस्टिन ट्रूडो ने निज्जर की हत्या के पीछे भारत का हाथ बताया है. हालांकि, भारत ने इन आरोपों को खारिज किया है.
इसके अलावा खालिस्तानी आतंकवादी गुरपतवंत सिंह पन्नू भी कनाडा में खुलेआम घूम रहा है. वह 'सिख फॉर जस्टिस' संगठन चलाता है. पन्नू का मकसद भारत में आतंकवाद फैलाना है. किसान आंदोलन के दौरान उसने कई वीडियो जारी कर लोगों से लाल किले समेत सरकारी इमारतों पर हमला करने के लिए कहा था. पन्नू ने कनाडा में कई जनमत संग्रह भी कराए हैं.
कनाडा में छिपे 7 गैंगस्टर
पिछले दिनों पंजाब पुलिस ने 3 मामलों में 7 ऐसे गैंगस्टर को नामित किया था, जो कनाडा में छिपे हैं, जिसमें पिछले साल मई में मोहाली में खुफिया मुख्यालय पर हमला, 29 मई को सिद्धू मूसेवाला की हत्या और कनाडा के सरे में रिपुदमन सिंह मलिक की हत्या के केस शामिल हैं.
पंजाब पुलिस ने जिन गैंगस्टर का नाम शामिल किया था, उनमें लखबीर सिंह उर्फ लांडा, गोल्डी बराड़, चरणजीत सिंह उर्फ रिंकू रंधावा, अर्शदीप सिंह उर्फ अर्श डाला और रमनदीप सिंह उर्फ रमन जज और गुरपिंदर सिंह उर्फ बाबा डल्ला शामिल हैं. बाबा और सुखा टारगेट किलिंग के मामले में आरोपी हैं. इसके अलावा कनाडा में छिपे गुरविंदर सिंह, सनवर ढिल्लन, सतवीर सिंह वारिंग भी NIA की रडार पर हैं. इस लिस्ट में सुखदूल सिंह उर्फ सुक्खा दुनुके का भी नाम था. लेकिन उसकी गुरुवार को गोली मारकर हत्या कर दी गई है.